Republic Day 2022: भारत में हर साल 26 जनवरी को हर्ष और उल्लास के साथ गणतंत्र दिवस मनाया जाता है। जनपथ, नई दिल्ली में शानदार परेड का आयोजन होता है।
इसके साथ देश के विभिन्न हिस्सों में राष्ट्रीय ध्वज फहराया जाता है। तो चलिए जानते है “Republic Day: गणतंत्र दिन का महत्व क्या है और कैसे मनाया जाता है गणतंत्र दिवस?”
गणतंत्र दिवस का महत्व (Significance of The Republic Day)
15 अगस्त 1947 को भारत को ब्रिटिश शासन से स्वतंत्रता मिलने के बाद, डॉ. बी. आर.आंबेडकर की अध्यक्षता में एक मसौदा समिति द्वारा एक नया संविधान तैयार किया गया था।
26 जनवरी 1950 को भारतीय संविधान लागू हुआ, जिसने भारत को एक स्वतंत्र गणराज्य देश के अस्तित्व की घोषणा की।
गणतंत्र दिवस स्वतंत्र और व्यक्तिगत भारत की सही भावना का प्रतीक है। त्योहार के महत्वपूर्ण प्रतीकों में सैन्य उपकरण, राष्ट्रीय ध्वज और सैन्य उपकरणों की प्रदर्शनी शामिल है।
कैसे मनाया जाता है गणतंत्र दिवस?
गणतंत्र दिवस पूरे भारत में बड़े हर्ष और उल्लास के साथ मनाया जाता है। “गणतंत्र दिन (Republic Day)” स्वतंत्र भारत के संविधान का सम्मान करने का दिन है। स्कूलों और कॉलेजों में राष्ट्रीय ध्वज फहराना नियमित है।
भारत के स्वतंत्रता संग्राम को याद करने के लिए पुरे भारत में सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। नई दिल्ली में, इंडिया गेट पर भारत के राष्ट्रपति द्वारा राष्ट्रीय ध्वज फहराया जाता है।
परेड का संचालन भारतीय राष्ट्रपति द्वारा किया जाता है और इसकी व्यवस्था रक्षा मंत्रालय द्वारा की जाती है।
इस परेड में अपने सैन्य कौशल को प्रदर्शित करने के अलावा, यह आयोजन भारत की विविध संस्कृति को भी बढ़ावा देता है।
यह आयोजन देश के लिए अपने प्राणों की आहुति देने वाले शहीदों को भी श्रद्धांजलि देता है। इंडिया गेट पर अमर जवान ज्योति पर रिंगलेट लगाकर भारत के प्रधानमंत्री शहीदों को सम्मानित करते हैं।
इसके बाद 21 तोपों की सलामी दी जाती है, फिर राष्ट्रीय ध्वज फहराने के बाद राष्ट्रगान भी होता है। बहादुर सैनिकों को परमवीर चक्र, अशोक चक्र और वीर चक्र के रूप में पुरस्कार प्रदान किए जाता हैं।
नैसर्गिक विपत्ति के समय साहस का प्रदर्शन करने वाले बच्चों और आम नागरिकों को भी पुरस्कारों से सम्मानित किया जाता है।
इसके बाद भारत की सैन्य शक्ति का प्रदर्शन पूरी दुनिया को कराया जाता है। सशस्त्र बलों, पुलिस दल और राष्ट्रीय कैडेट कोर द्वारा मार्च-पास्ट भी किया जाता है, जिसमें भारत के राष्ट्रपति विभिन्न रेजिमेंट द्वारा सलामी दी जाती हैं।
परेड का अंत तब होता है जब, भारतीय वायु सेना के लड़ाकू विमान जनपथ पर आकाश में अपना अनोखा कर्तब दिखाते है।
गणतंत्र दिवस परेड का लाइव वेबकास्ट TV और इंटरनेट पर हर साल उन लाखों लोगों के लिए उपलब्ध कराया जाता है जो, दिल्ली परेड देखने दिल्ली नहीं आ सकते।
हालांकि अपेक्षाकृत छोटे पैमाने पर, सभी राज्यों की राजधानियों में भी गणतंत्र दिन पर समारोह आयोजित किए जाते हैं, जहां राज्य के राज्यपाल भारत का तिरंगा झंडा फहराते हैं।
जिला मुख्यालयों, उप-विभाग, तालुकाओं और पंचायतों में भी गणतंत्र दिन पर समारोह आयोजित किए जाते हैं।
सभी समारोहों के बाद ‘बीटिंग द रिट्रीट (Beating The Retreat)‘ होता है जो, आधिकारिक तौर पर गणतंत्र दिवस उत्सव के अंत को दर्शाता है।
26 से 29 तारीख तक हर शाम दिल्ली स्थित सभी महत्वपूर्ण सरकारी भवनों को चमकदार रोशनी, और लाइटिंग से सजाया जाता है।
गणतंत्र दिवस के तीसरे दिन 29 जनवरी की शाम को बीटिंग द रिट्रीट समारोह आयोजित किया जाता है। इस समारोह में, ड्रमर प्रदर्शन भी किया जाता हैं जिसे, ड्रमर कॉल के रूप में जाना जाता है।
बैंड एक लोकप्रिय मार्शल धुन सारे जहां से अच्छा बजाते हुए रिटर्न मार्च करते हैं।
इसके बाद ठीक शाम 6 बजे, राष्ट्रीय ध्वज को उतारा जाता है, और राष्ट्रगान गाया जाता है, जिससे गणतंत्र दिवस (Republic Day) समारोह औपचारिक रूप से समाप्त हो जाता है।