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हाथरस हादसे के बाद फरार हुए सत्संग वाले ‘भोले बाबा’, पुलिस लौटी खाली हाथ

UP News

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Stampede in Hathras Uttar Pradesh : उत्तर प्रदेश के हाथरस में ‘भोले बाबा’ के सत्संग के दौरान भगदड़ मचने से जो दर्दनाक हादसा हुआ उसने पूरे देश को झकझोर कर दिया। सत्संग के दौरान कई लोगों ने अपने परिजनों को खो दिया। जहां कुछ समय पहले  महिलाएं, बच्चे और बुजर्ग भोले बाबा का प्रवचन सुनने में लीन थे वहीं हादसे के बाद जमीन पर लाशें बिछ गई। महिलाओं, बच्चों और बुजुर्गों के शव देखकर रूह कांप उठी। हर तरफ परिजनों को खोने की चीख पुकार मच रही थी। बताया जा रहा है कि इस हादसे में 121 जिन्दगियों ने आंखें मूंद ली है वहीं कई लोग बुरी तरह से घायल हो गए हैं।

‘भोले बाबा’ हुए फरार

खबरों की मानें तो हाथरस हादसे के बाद बाबा नारायण हरि उर्फ साकार विश्व हरि ‘भोले बाबा’ मैनपुरी के बिछवां में अपने राम कुटीर चैरिटेबल ट्रस्ट आश्रम में पहुंचे थे। उत्तर प्रदेश पुलिस शाम होते-होते सत्संग वाले ‘भोले बाबा’ की तलाश में उनके मैनपुरी आश्रम पहुंची और राम कुटीर चैरिटेबल ट्रस्ट में सर्च ऑपरेशन अभियान चलाया। लेकिन वहां भोले बाबा नहीं मिले। मैनपुरी के डीएसपी सुनील कुमार सिंह ने बताया कि, ‘हमें परिसर के अंदर बाबा नहीं मिले। वह यहां नहीं हैं।’ आपकी जानकारी के लिए बाते दें कि आज (3 जून) उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ हाथरस जाएंगे और हासदे वाले स्थान का दौरा करेंगे।

कौन है सत्संग वाले भोले बाबा?

हादसे के बाद का मंजर देख लोगों के पैरों तले जमीन खिसक गए। आलम कुछ यूं था कि अस्पताल के फर्श पर लोगों के शव बिखरे पड़े थे और उनके परिजन बिलख-बिलख कर रो रहे थे। बता दें सत्संग वाले भोले बाबा का असली नाम सूरजपाल है और वह कासगंज जिले के बहादुर नगर के मूल निवासी हैं। सूरजपाल ने 1990 के दशक के अंत में एक पुलिसकर्मी के रूप में अपनी नौकरी छोड़ दी और आध्यात्मिकता की ओर रुख किया। भोले बाबा ने ‘सत्संग’ आयोजित करना शुरू कर दिया। सूरजपाल उर्फ भोले बाबा की कोई संतान नहीं है और वह अपनी पत्नी को भी अपने साथ ‘सत्संग’ में ले जाते हैं। बहादुर नगर में आश्रम स्थापित करने के बाद भोले बाबा की प्रसिद्धि गरीबों और वंचित वर्गों के बीच तेजी से बढ़ी और लाखों लोग उनके अनुयायी बन गए। जानकारी के मुताबिक हाथरस हादसा  उस समय हुआ जब कार्यक्रम खत्म होते ही श्रद्धालुओं ने भोले बाबा की एक झलक पाने की कोशिश की। श्रद्धालु बाबा के चरणों के आसपास से कुछ मिट्टी भी इकट्ठा करना चाहते थे। इस दौरान जब स्वयंसेवकों ने लोगों को रोकने की कोशिश की तो भगदड़ मची जिससे कई जिन्दगियां हादसे के चपेट में आ गई।

हादसे को लेकर सीएम योगी ने क्या कहा?

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाथरस हादसे में दुख जताते हुए कहा है कि, जनपद हाथरस की दुर्भाग्यपूर्ण दुर्घटना में हुई जनहानि अत्यंत दुःखद एवं हृदय विदारक है। मेरी संवेदनाएं शोक संतप्त परिजनों के साथ हैं। संबंधित अधिकारियों को राहत एवं बचाव कार्यों के युद्ध स्तर पर संचालन और घायलों के समुचित उपचार हेतु निर्देश दिए हैं।  ADG आगरा और कमिश्नर अलीगढ़ के नेतृत्व में टीम गठित कर दुर्घटना के कारणों की जांच के निर्देश भी दिए हैं। प्रभु श्री राम से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्माओं को अपने श्री चरणों में स्थान तथा घायलों को शीघ्र स्वास्थ्य लाभ प्रदान करें।

घटनास्थल का दौरा करेंगें CM योगी

आगे योगी ने आगे कहा, यह हादसा है या साजिश, सरकार इस पूरे घटनाक्रम की तह में जाकर पता लगाएगी। इस हादसे के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी, चाहे वह कोई भी हो। यूपी सरकार ने हाथरस हादसे में मृतकों के परिजनों को ₹2-2 लाख तथा घायलों को ₹50-50 हजार की आर्थिक सहायता देने के निर्देश दिए हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाथरस की दुर्घटना में जान गंवाने वाले प्रत्येक मृतक के परिजनों के लिए पीएमएनआरएफ से 2 लाख रुपये और घायलों के लिए 50,000 रुपये की अनुग्रह राशि का ऐलान किया है।

हाथरस हादसा : हर तरफ लाशों को देख कांप उठी रूह, मच रही थी चीख-पुकार

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