International Film Festival of India : आईएफएफआई (International Film Festival of India) भारतीय सिनेमा जगत का सबसे बड़ा महोत्सव है। वर्ष 2022 में होने वाले इस महोत्सव के 53वें संस्करण की सभी तैयारियां गोवा में पूरी हो चुकी हैं। राष्ट्रीय फ़िल्म विकास निगम तथा सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय, भारत सरकार ने मिल कर उन सभी फिल्मों की सूची को जारी कर दिया है जिन्हें इस महोत्सव के दौरान प्रदर्शित किया जाएगा। इस भव्य समारोह का आयोजन नवंबर माह की 20 से 28 तारीख़ के मध्य किया जायेगा।
International Film Festival of India:
कौन सी फ़िल्में इस वर्ष समारोह का हिस्सा रहेंगी?
कला, ऊर्जा, फ़िल्म तथा संस्कृति के इस शानदार समागम में 79 देशों की 280 फ़िल्में शामिल होने जा रहीं हैं। इस समारोह को दो भागों में बांटते हुए आधिकारिक वर्ग ने यह पुष्टि की है कि भारत की 25 फीचर फ़िल्में और 20 नॉन-फीचर फ़िल्में “इंडियन पैनोरमा” में प्रदर्शित की जाएंगी। वहीं अन्य 183 फिल्में इंटरनेशनल श्रेणी का हिस्सा रहेंगी। इस वर्ष के अंतराष्ट्रीय फ़िल्म महोत्सव में फ्रांस को फोकस कंट्री के रूप में चुना गया है।
भारतीय सिनेमा वर्ग में फीचर फिल्मों की शुरुआत हदीनेलेन्तु से की जायेगी। फीचर फिल्मों की इस श्रेणी में कई अन्य प्रसिद्ध फ़िल्में जैसे कि मेजर, सिया, द कश्मीर फाइल्स एवं RRR भी शामिल हैं। वहीं नॉन- फीचर फिल्मों की शुरुआत द शो मस्ट गो ऑन से होगी। इस समारोह में फ़िल्मी जगत से जुड़ी हुई कई नामचीन हस्तियों को श्रद्धांजलि भी दी जाएगी जिन्होंने अपनी श्रेष्ठ कला से फ़िल्म जगत को नयी ऊंचाईयों पर पहुँचाया। पंडित बिरजू महाराज़, लता मंगेशकर, बप्पी लाहिरी, भूपिंदर सिंह आदि को उनके विशिष्ट योगदान के लिए याद किया जायेगा।
कौन रहेगा इस फ़िल्म के पुरुस्कार निर्णायक मंडल का सदस्य?
देश- विदेश की शीर्ष फिल्मों को चुन कर ज्यूरी गोल्डन एवं सिल्वर पिकॉक पुरस्कार प्रदान के लिए विनोद गनात्रा को इस निर्णायक मण्डल का सदस्य मंजूर किया गया है। यह उनका 95वां अवसर है जब वे किसी ज्यूरी का हिस्सा बनेंगे।
International Film Festival of India :
युवाओं के लिए क्यों ख़ास है इस वर्ष का अंतराष्ट्रीय फ़िल्म महोत्सव?
गौरतलब है कि कोविड महामारी के चलते दो वर्ष यह आयोजन एक ऑनलाइन मोड में किया गया था किन्तु इस वर्ष यह पूर्ण रूप से फिजिकल मोड में आयोजित किया जा रहा है। इस अंतराष्ट्रीय फ़िल्म महोत्सव में युवाओं को 50 घण्टे के भीतर एक शार्ट फ़िल्म बनाने का भी अवसर दिया जाएगा। इस प्रतियोगिता में भाग लेने के लिए देश भर के युवाओं ने आवेदन किया किन्तु उनमें से 75 को ही चुना गया है। इस कार्यक्रम को एक विशेष नाम ” क्रिएटिव माइंडस ऑफ़ टुमारो” से जाना जायेगा। बेस्ट शार्ट फ़िल्म को चुनने का दायित्व दिग्गज फिल्मेकर मनीरत्नम को प्रदान किया गया है।
राज्य स्तरीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री डॉ. एल मुरुगन ने यह घोषणा की है कि इस वर्ष स्पेनिश फ़िल्म डायरेक्टर करलोस सौरा को प्रख्यात सत्यजीत रे पुरुस्कार से सम्मानित किया जायेगा। यह पुरुस्कार किसी ऐसे व्यक्ति को प्रदान किया जाता है जिन्होंने वैश्विक स्तर पर सिनेमा जगत में अहम योगदान दिया है।