नीट यूजी 2025 का सिलेबस जारी, कैसे करें तैयारी

Neet dr
Neet UG 2025
locationभारत
userचेतना मंच
calendar30 Nov 2025 02:16 PM
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Neet UG 2025 : मेडिकल लाइन में जाने का प्रयास कर रहे विद्यार्थियों के लिए नीट की परीक्षा पास करना जरूरी होता है। इस परीक्षा को लाखों छात्र देते हैं। वैसे भी चाहे छात्र हों या उनके माता-पिता, हर किसी की इच्छा डाक्टर या इंजीनियर बनने की होती है। डाक्टर बनने के लिए नीट की परीक्षा पास करना जरूरी होता है। मेडिकल में प्रवेश चाहने वाले विद्यार्थियों के लिए राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी ने नीट यूजी 2025 का सिलेबस जारी कर दिया है। इस परीक्षा में शामिल होने वाले कैंडिडेट नीट यूजी की आधिकारिक वेबसाइट neet.nta.nic.in और nta.ac.in पर जाकर सिलेबस को डाउनलोड कर सकते हैं। सिलेबस नेशनल मेडिकर काउंसिल की वेबसाइट पर भी उपलब्ध है। परीक्षार्थी की सुविधा के लिए यहां स्टेप्स बताए गए है जिसके जरिए आसानी से सिलेबस डाउनलोड कर सकते हैं।

सिलेबस कर सकते हैं डाउनलोड

मेडिकल प्रवेश के लिए नीट यूजी 2024 के सिलेबस में चार विषय शामिल हैं, जिनमें भौतिकी, रसायन विज्ञान, वनस्पति विज्ञान और प्राणीशास्त्र है। राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी ने ने 17 दिसंबर को नीट यूजी 2025 के लिए विषयवार पाठ्यक्रम जारी किया था। नीट यूजी 2025 का सिलेबस राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग की आधिकारिक वेबसाइट nmc.org.in या NEET UG की आधिकारिक वेबसाइट neet.nta.nic.in  से डाउनलोड किया जा सकता है। राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी की ओर से जारी आधिकारिक नोटिफिकेशन के अनुसार सिलेबस को अंडर ग्रेजुएट मेडिकल एजुकेशन बोर्ड और राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग की ओर से फाइनल किया गया है। अब परीक्षार्थियों के लिए परीक्षा की तैयारी में काफी आसानी होगी।

नीट यूजी का सिलेबस ऐसे करें डाउनलोड

सबसे पहले परीक्षार्थी राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग की आधिकारिक वेबसाइट nmc.org.in या NEET UG पर जाएं। उसके बाद होम पेज पर दिए गए नीट यूजी 2025 सिलेबस लिंक पर क्लिक करें। अब पीडीएफ के रूप में सिलेबस आपकी स्क्रीन पर आ जाएगा। उसके बाद उसे चेक करके डाउनलोड करें। यह हमेशा ध्यान रखें कि सिलेबस को हमेशा अधिकारिक वेबसाइट से ही डाउनलोड करें। ताकि परीक्षार्थियों को किसी प्रकार की परेशानी न हो।

परीक्षा किस मोड में होगी

हालांकि अभी तक परीक्षा किस मोड में ली जाएगी इसपर विचार चल ही रहा है। फिर भी यह मानकर चलें कि नीट यूजी 2025 की परीक्षा का आयोजन आॅनलाइन मोड में किया जा सकता है। इस पर अंतिम फैसला आना बाकी है, जिसके आते ही परीक्षार्थियों को इसकी सूचना दे दी जाएगी। इससे पहले 2024 की यह परीक्षा विवादों में रही। ऐसे में आगामी परीक्षा में कोई भी समस्या न हो इसलिए शिक्षा मंत्रालय की ओर से परीक्षा को सीबीटी मोड में कराए जाने की योजना है। सीबीटी मोड में परीक्षा होने पर पेपर लीक जैसी घटनाओं पर काफी हद तक लगाम लगाई जा सकेगी। नीट यूजी 2025 रजिस्ट्रेशन और परीक्षा की डेट भी नेशनल टेस्टिंग एजेंसी द्वारा जल्द ही जारी कर दिया जाएगा। परीक्षा से संबंधिक अधिक जानकारी के लिए अभ्यर्थी एनटीए की आधिकारिक वेबसाइट पर विजिट कर सकते हैं।

नीट यूजी का किया गया सिलेबस जारी

नीट यूजी की परीक्षा की तैयारी कर रहे छात्रों के लिए खुशखबरी है कि राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी ने नीट यूजी 2025 का सिलेबस जारी कर दिया है। परीक्षा में शामिल होने वाले कैंडिडेट नीट यूजी की आधिकारिक वेबसाइट neet.nta.nic.in और nta.ac.in पर जाकर सिलेबस को डाउनलोड कर सकते हैं। नीट यूजी 2025 का सिलेबस नेशनल मेडिकल काउंसिल की वेबसाइट पर भी उपलब्ध है। परीक्षार्थी यहां बताए गए स्टेप्स के जरिए आसानी से सिलेबस डाउनलोड करके अपनी तैयारी सिलेबस के हिसाब से कर सकते हैं।

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शिक्षा मंत्रालय के नए नियम, 5वीं और 8वीं कक्षा के विद्यार्थियों के लिए महत्वपूर्ण बदलाव

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Education
locationभारत
userचेतना मंच
calendar23 Dec 2024 06:35 PM
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Education : शिक्षा मंत्रालय ने 5वीं और 8वीं कक्षा के विद्यार्थियों के लिए नए नियमों की घोषणा की है, जिसके तहत अगर छात्र वार्षिक परीक्षा में असफल हो जाते हैं, तो उन्हें फेल किया जा सकता है। इसके बाद उन्हें दो महीने के भीतर पुनः परीक्षा का अवसर दिया जाएगा। अगर छात्र इस परीक्षा में भी सफल नहीं होते हैं, तो उन्हें अगली कक्षा में प्रमोट नहीं किया जाएगा।

पुरानी व्यवस्था में बदलाव

पहले की नीति के तहत, 8वीं कक्षा तक छात्रों को बिना परीक्षा के अगली कक्षा में प्रमोट कर दिया जाता था, चाहे वे परीक्षा में पास हों या नहीं। यह व्यवस्था वर्ष 2010-2011 से लागू हुई थी, जब 5वीं और 8वीं कक्षा की बोर्ड परीक्षा को समाप्त कर दिया गया था। हालांकि, इस व्यवस्था का परिणाम यह रहा कि स्कूली शिक्षा के स्तर में गिरावट आई और इसके कारण 10वीं और 12वीं कक्षा की बोर्ड परीक्षाओं के परिणाम भी प्रभावित हुए।

नए नियम का प्रभाव

नई नीति के तहत राज्य सरकारों को अब यह अधिकार दिया गया है कि वे 5वीं और 8वीं कक्षा के लिए बोर्ड परीक्षा आयोजित करवा सकें। यह आदेश शिक्षा मंत्रालय के स्कूल शिक्षा और साक्षरता विभाग द्वारा जारी किया गया है और इसे ‘निशुल्क अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार संशोधन नियम 2024’ के रूप में पहचाना जाएगा। इस नए नियम का पालन सरकारी राजपत्र में प्रकाशित होने के बाद तुरंत लागू हो गया है।

विशेषज्ञों की राय

नई शिक्षा नीति के अंतर्गत प्राथमिक शिक्षा और उच्च शिक्षा में कई बदलाव हो रहे हैं, जिसका उद्देश्य छात्रों के अध्ययन स्तर में सुधार और शैक्षिक गुणवत्ता को बढ़ावा देना है। विशेषज्ञों का मानना है कि इस बदलाव के माध्यम से छात्रों को अपने अध्ययन में गंभीरता से काम करने का अवसर मिलेगा, जिससे शिक्षा के स्तर में सुधार होगा।

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UGC की नई गाइडलाइन, अब छात्रों को मिलेगी बेहतर सुविधाएं

MK
UGC Guideline
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calendar30 Nov 2025 07:03 PM
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UGC Guideline : विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (University Grants Commission) ने भारतीय उच्च शिक्षा प्रणाली में सुधार के लिए 'ग्रेजुएट डिग्री और पोस्ट ग्रेजुएट डिग्री रेगुलेशन, 2024' का ड्राफ्ट तैयार किया है। इस गाइडलाइन का उद्देश्य छात्रों के लिए शिक्षा में लचीलापन और नए अवसर प्रदान करना है, ताकि वे अपनी शिक्षा को बेहतर तरीके से अनुकूलित कर सकें।

द्विवार्षिक प्रवेश की सुविधा

यूजीसी द्वारा किए गए सबसे महत्वपूर्ण बदलावों में से एक द्विवार्षिक प्रवेश (Biennial admission) की सुविधा है। इसके तहत, उच्च शिक्षा संस्थान (HEI) यदि सक्षम हैं, तो वे छात्रों को दो बार प्रवेश देने की व्यवस्था कर सकते हैं—जुलाई/अगस्त और जनवरी/फरवरी में। यह कदम छात्रों के लिए अधिक लचीलापन और अवसर पैदा करेगा, जिससे वे अपनी शिक्षा की गति को अपनी सुविधानुसार निर्धारित कर सकेंगे।

ड्यूल डिग्री कार्यक्रमों का प्रस्ताव

नई गाइडलाइन के तहत छात्रों को एक ही समय में दो ग्रेजुएट या पोस्ट ग्रेजुएट कार्यक्रमों में दाखिला लेने की स्वतंत्रता दी गई है। यह पहल छात्रों को विभिन्न विषयों में कौशल विकसित करने का अवसर देती है और समग्र शिक्षा की दिशा में एक कदम आगे बढ़ाती है।

विभिन्न क्षेत्रों में प्रवेश की स्वतंत्रता

एक अन्य महत्वपूर्ण बदलाव यह है कि छात्र अपनी पिछली शिक्षा या विषय की सीमा के बिना किसी भी यूजी या पीजी कार्यक्रम में प्रवेश ले सकते हैं, बशर्ते वे संबंधित प्रवेश परीक्षा में सफलता प्राप्त करें। इससे छात्रों के लिए शिक्षा की बाधाओं को समाप्त करने का प्रयास किया गया है और वे अपनी रुचि के क्षेत्र में बेहतर अध्ययन कर सकते हैं।

संस्थान को मिलेंगी नई नीतियां बनाने की स्वतंत्रता

नई गाइडलाइन के तहत क्रेडिट की आवश्यकताएं भी सरल बनाई गई हैं। छात्रों को अपनी मुख्य विषय में कम से कम 50 फीसदी क्रेडिट हासिल करना होगा, जबकि बाकी क्रेडिट स्किल डेवलपमेंट, अप्रेंटिसशिप या बहु-विषयक अध्ययन से पूरा किए जा सकते हैं। यह छात्रों को अधिक लचीलापन प्रदान करेगा और उन्हें विविध प्रकार के कौशल सीखने का अवसर मिलेगा। नई गाइडलाइन के तहत उच्च शिक्षा संस्थान अपनी उपस्थिति नीतियां निर्धारित करने के लिए स्वतंत्र होंगे। ये नीतियां राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) 2020 के अनुसार होंगी, जिससे छात्रों को अधिक समायोजन और लचीलापन प्राप्त होगा।

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