New Delhi News : भलस्वा डेयरी हत्याकांड का मुख्य आरोपी गिरफ्तार





Delhi News: नई दिल्ली। दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने रविवार को उप राज्यपाल वी के सक्सेना पर बेबुनियादी आधार पर 244 प्रधानाचार्यों की नियुक्ति रोकने का आरोप लगाया।
इससे एक दिन पहले सक्सेना ने सरकारी स्कूलों में प्रधानाचार्यों और उप शिक्षा अधिकारियों के 126 पदों को बहाल करने की मंजूरी दे दी थी जो पिछले दो साल से अधिक समय से खाली पड़े हुए थे।
सिसोदिया ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि उन्होंने सेवा विभाग पर असंवैधानिक रूप से नियंत्रण कर लिया है। 370 पद खाली पड़े हैं और इन 370 में से 126 को एलजी साहब ने मंजूरी दे दी है। बाकी के लिए उन्होंने हमसे एक अध्ययन कराने के लिए कहा है। मैं एलजी साहब से पूछना चाहता हूं : ये स्कूल उप-प्रधानाचार्यों की मदद से चल रहे हैं। हम किसी प्रधानाचार्य की व्यवहार्यता पर अध्ययन कैसे करा सकते हैं?
उन्होंने कहा कि वह इस मामले पर सक्सेना को पत्र भी लिखेंगे लेकिन उन्होंने उपराज्यपाल से बेबुनियादी आधार पर बाकी के पदों पर नियुक्ति न रोकने का अनुरोध किया।
उप मुख्यमंत्री ने कहा कि यह असंवेदनशील तथा दुर्भाग्यपूर्ण है। एलजी साहब, कृपया इसका मजाक न बनाइए। अगर सेवा विभाग का नियंत्रण दिल्ली सरकार के पास होता तो ये पद बहुत पहले ही भर जाते। अगर अध्ययन की आवश्यकता है तो आप इस पर अध्ययन करा सकते हैं कि उपराज्यपाल की आवश्यकता है या नहीं।
दिल्ली एनसीआरकी खबरों से अपडेट रहने लिएचेतना मंचके साथ जुड़े रहें।
देश-दुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमें फेसबुकपर लाइक करें या ट्विटरपर फॉलो करें।
Delhi News: नई दिल्ली। दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने रविवार को उप राज्यपाल वी के सक्सेना पर बेबुनियादी आधार पर 244 प्रधानाचार्यों की नियुक्ति रोकने का आरोप लगाया।
इससे एक दिन पहले सक्सेना ने सरकारी स्कूलों में प्रधानाचार्यों और उप शिक्षा अधिकारियों के 126 पदों को बहाल करने की मंजूरी दे दी थी जो पिछले दो साल से अधिक समय से खाली पड़े हुए थे।
सिसोदिया ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि उन्होंने सेवा विभाग पर असंवैधानिक रूप से नियंत्रण कर लिया है। 370 पद खाली पड़े हैं और इन 370 में से 126 को एलजी साहब ने मंजूरी दे दी है। बाकी के लिए उन्होंने हमसे एक अध्ययन कराने के लिए कहा है। मैं एलजी साहब से पूछना चाहता हूं : ये स्कूल उप-प्रधानाचार्यों की मदद से चल रहे हैं। हम किसी प्रधानाचार्य की व्यवहार्यता पर अध्ययन कैसे करा सकते हैं?
उन्होंने कहा कि वह इस मामले पर सक्सेना को पत्र भी लिखेंगे लेकिन उन्होंने उपराज्यपाल से बेबुनियादी आधार पर बाकी के पदों पर नियुक्ति न रोकने का अनुरोध किया।
उप मुख्यमंत्री ने कहा कि यह असंवेदनशील तथा दुर्भाग्यपूर्ण है। एलजी साहब, कृपया इसका मजाक न बनाइए। अगर सेवा विभाग का नियंत्रण दिल्ली सरकार के पास होता तो ये पद बहुत पहले ही भर जाते। अगर अध्ययन की आवश्यकता है तो आप इस पर अध्ययन करा सकते हैं कि उपराज्यपाल की आवश्यकता है या नहीं।
दिल्ली एनसीआरकी खबरों से अपडेट रहने लिएचेतना मंचके साथ जुड़े रहें।
देश-दुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमें फेसबुकपर लाइक करें या ट्विटरपर फॉलो करें।