प्रोटीन बढ़ाओ, वजन घटाओ, जानिए आपकी फिटनेस के लिए कितना प्रोटीन है सही

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calendar01 Dec 2025 11:35 AM
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Health tips : प्रोटीन को अक्सर केवल जिम जाने वाले या मेहनत करने वालों के लिए जरूरी माना जाता है, लेकिन हकीकत में यह हर व्यक्ति के लिए महत्वपूर्ण है। हर दिन शरीर के वजन के प्रति किलोग्राम 0.8 ग्राम प्रोटीन की आवश्यकता होती है। यह न केवल मसल्स बनाने में मदद करता है, बल्कि ओवरऑल हेल्थ मेंटेन रखने के लिए भी जरूरी है।

सही प्रोटीन की मात्रा

प्रोटीन का सेवन वजन घटाने में खास भूमिका निभा सकता है। इसके पीछे कई वैज्ञानिक कारण हैं: भूख पर नियंत्रण: प्रोटीन का सेवन पेट भरा हुआ महसूस कराता है। यह हार्मोन घ्रेलिन (ghrelin) को कम करता है और पेप्टाइड YY (PYY) को बढ़ाता है, जो भूख को नियंत्रित करता है। प्रोटीन का सेवन खाने की इच्छा को कम करता है, जिससे अतिरिक्त कैलोरी खाने से बचा जा सकता है। मेटाबॉलिज्म में सुधार: प्रोटीन पचाने के लिए शरीर को ज्यादा मेहनत करनी पड़ती है। इसे डायटरी इंड्यूस्ड थर्मोजेनेसिस कहते हैं। फैट और कार्बोहाइड्रेट की तुलना में, प्रोटीन को पचाने में तीन गुना अधिक कैलोरी बर्न होती है। मसल्स मेंटेन करना: डाइटिंग के दौरान शरीर फैट के साथ मसल्स भी बर्न करता है। प्रोटीन का सेवन मसल्स को मेंटेन करने में मदद करता है। यह शरीर की कुल कैलोरी बर्न करने की क्षमता को बनाए रखता है। कैलोरी की खपत में कमी: प्रोटीन खाने से पेट भरा हुआ महसूस होता है, जिससे कम कैलोरी लेने की जरूरत पड़ती है। यह फैट और कार्बोहाइड्रेट्स के मुकाबले ज्यादा संतोषजनक होता है। फैट बर्न में मददगार: उच्च प्रोटीन डाइट शरीर के फैट को तेजी से जलाने में मदद कर सकती है। खासकर कम कार्बोहाइड्रेट और हाई प्रोटीन डाइट इस प्रक्रिया को तेज करती है।

प्रोटीन के मुख्य स्रोत

पशु आधारित: मांस, मछली, अंडे, दूध। पौधों से प्राप्त: दालें, छोले, सोया, टोफू, क्विनोआ, नट्स।

सेहतमंद रहने के लिए क्या करें?

बैलेंस डाइट अपनाएं: केवल प्रोटीन ही नहीं, बल्कि कार्बोहाइड्रेट्स और फैट भी शामिल करें। डाइट को बैलेंस रखना जरूरी है ताकि सभी पोषक तत्व मिल सकें। रेगुलर एक्सरसाइज करें: ताकत बढ़ाने वाली एक्सरसाइज और कार्डियो वेट लॉस में मददगार हैं। एक्सरसाइज और प्रोटीन का सही संतुलन वजन घटाने को आसान बना सकता है। वजन कम करना हो या मसल्स गेन करना, प्रोटीन हर लिहाज से फायदेमंद है। यह भूख को कंट्रोल करता है, मेटाबॉलिज्म बढ़ाता है, और मसल्स लॉस रोकता है। सही मात्रा में प्रोटीन के साथ बैलेंस डाइट और नियमित एक्सरसाइज को अपनाकर आप फिट और स्वस्थ जीवन जी सकते हैं। Health tips

सर्दियों में होंठ फटने की परेशानी से पाएं छुटकारा, अपनाएं ये घरेलू और आयुर्वेदिक नुस्खे

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सर्दियों में होंठ फटने की परेशानी से पाएं छुटकारा, अपनाएं ये घरेलू और आयुर्वेदिक नुस्खे

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Self Care Tips
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userचेतना मंच
calendar01 Dec 2025 04:19 PM
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Self Care Tips : सर्दियों के मौसम में ठंडी हवाओं और शुष्क वातावरण के कारण होंठ अक्सर फटने, सूखने और दरारों का शिकार हो जाते हैं। इस समय हवा और वातावरण में नमी की कमी हो जाती है, जिससे होंठों की त्वचा पर प्रभाव पड़ता है और वह सूखने लगती है। इस समस्या से बचने के लिए कई घरेलू और आयुर्वेदिक उपाय हैं, जिनका उपयोग करके आप अपने होंठों को मुलायम और स्वस्थ बना सकते हैं।

घरेलू उपाय

घी या मक्खन: घी और मक्खन दोनों ही त्वचा के लिए अत्यंत फायदेमंद होते हैं। सर्दियों में रात को सोने से पहले थोड़ा घी या मक्खन होंठों पर लगाएं। यह एक प्राकृतिक मॉइस्चराइजर की तरह काम करता है और होंठों को नमी प्रदान करता है। शहद: शहद एक प्राकृतिक हाइड्रेटिंग एजेंट है और इसमें एंटीबैक्टीरियल गुण भी होते हैं। शहद को सीधे होंठों पर लगाएं और कुछ समय बाद धो लें। इससे होंठ मुलायम रहते हैं और स्वस्थ बने रहते हैं। नारियल तेल: नारियल तेल में एंटीऑक्सिडेंट्स और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं जो फटे और सूखे होंठों को ठीक करने में मदद करते हैं। इसे दिन में कई बार होंठों पर लगाएं। एलोवेरा जेल: एलोवेरा जेल होंठों की सूजन और जलन को कम करता है। इसका ठंडक देने वाला गुण होंठों को राहत देता है और उन्हें फटने से बचाता है। पानी: दिन में पर्याप्त पानी पीने से शरीर में नमी बनी रहती है, जिससे होंठों के फटने की समस्या कम होती है।

आयुर्वेदिक उपाय

तिल तेल: आयुर्वेद में तिल का तेल बहुत फायदेमंद माना गया है। यह होंठों को गहरी नमी देता है और फटी त्वचा को ठीक करता है। सर्दियों में नियमित रूप से तिल के तेल का उपयोग करें। बादाम तेल: बादाम तेल में विटामिन E और एंटीऑक्सिडेंट्स होते हैं जो होंठों को मुलायम बनाते हैं और ठंड से बचाते हैं। इसे रात को सोने से पहले होंठों पर लगाएं। गुलाब जल: गुलाब जल में ठंडक और नमी देने के गुण होते हैं। इसे रुई से होंठों पर लगाएं, जिससे होंठ हाइड्रेटेड रहेंगे और सूजन भी कम होगी। नीम का तेल: नीम का तेल एंटीबैक्टीरियल और एंटीफंगल गुणों से भरपूर होता है, जो फटे होंठों में संक्रमण के खतरे को कम करता है और उन्हें स्वस्थ बनाता है। कपूर और सरसों का तेल: कपूर और सरसों के तेल का मिश्रण होंठों को नमी और आराम प्रदान करता है। कपूर की ठंडक होंठों की जलन को कम करती है, जबकि सरसों का तेल त्वचा को मुलायम बनाता है। यह एक प्रभावी आयुर्वेदिक उपचार है। इन उपायों को अपनाकर आप सर्दियों में भी अपने होंठों को मुलायम और स्वस्थ रख सकते हैं।

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सर्दी के दस्तक देते ही बच्चे होने लगते हैं बीमार, जानें ठंड से बचने का सही तरीका

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locationभारत
userचेतना मंच
calendar04 Dec 2024 10:11 PM
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Health Tips : सर्दियों के मौसम में बच्चों को ठंड से बचाने के लिए मां अक्सर उन्हें कई परतों में कपड़े पहना देती हैं। हालांकि ऐसा करना हमेशा सही नहीं होता। सही परतों और कपड़ों के चयन से बच्चों को ठंड से बचाया जा सकता है। आइए जानें कि सर्दियों में बच्चों को कैसे गर्म और सुरक्षित रखा जा सकता है।

बच्चों को लेयरिंग में कपड़े पहनाने का सही तरीका

सर्दियों में लेयरिंग एक सामान्य उपाय है, लेकिन कपड़ों का सही चयन बेहद जरूरी है।
  1. हल्के और मुलायम कपड़े चुनें: भारी कपड़ों के बजाय हल्के और मुलायम परतों का उपयोग करें।
  2. परतों की सही संख्या: अमेरिकन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स के अनुसार, बच्चे को एक परत अधिक पहनाएं, जितनी वयस्क पहनते हैं।
  3. वाटरप्रूफ बाहरी परत: बाहर जाते समय बाहरी कपड़ों को वाटरप्रूफ रखें ताकि बच्चे को सूखा और गर्म रखा जा सके।

सिर, गर्दन और हाथों को ढ़ककर रखें

  1. टोपी और दस्ताने पहनाएं: बच्चे के सिर और कानों को ठंडी हवा से बचाने के लिए टोपी पहनाएं।
  2. मिट्टेंस और गर्म मोजे: हाथ और पैर को गर्म रखने के लिए मिट्टेंस और मोजे का उपयोग करें।
  3. वाटरप्रूफ जूते: ठंडी और गीली जगहों पर बच्चों को वाटरप्रूफ जूते पहनाएं।

बच्चे को गर्मी के लक्षणों पर ध्यान दें

बहुत ज्यादा कपड़े पहनाने से बच्चे को गर्मी लग सकती है, जो असुविधा और स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकती है।
  1. गर्मी के संकेत: सिर, गर्दन, या पीठ का गीला होना, त्वचा का गर्म होना, कान का लाल होना, या चिड़चिड़ापन।
  2. कपड़ों की परतें कम करें: यदि बच्चा गर्म महसूस कर रहा है, तो तुरंत कपड़ों की परतें कम करें।

बच्चे को सोने के समय सही कपड़े पहनाएं

  1. हल्के ऊनी या फ्लीस कपड़े: सोने के लिए हल्के और आरामदायक कपड़े पहनाएं।
  2. हल्के ब्लैंकेट का उपयोग करें: भारी कंबल के बजाय हल्के और मुलायम ब्लैंकेट का इस्तेमाल करें।
  3. अत्यधिक परतों से बचें: ज्यादा कपड़े पहनाने से खुजली या घुटन हो सकती है।

खेलते समय बच्चों पर ध्यान दें

बच्चे खेलते समय काफी एक्टिव रहते हैं, जिससे उनके शरीर का तापमान स्वाभाविक रूप से बढ़ता है।
  1. गर्म कपड़ों की ज्यादा जरूरत नहीं: खेलते वक्त बच्चे को भारी कपड़े पहनाने से बचें।
  2. थर्मल जैकेट चुनें: बच्चे की गतिविधियों और बाहरी तापमान के हिसाब से जैकेट पहनाएं।
सर्दियों में बच्चों को ठंड से बचाना जरूरी है, लेकिन सही कपड़े और परतों का चयन करना और उनके व्यवहार पर ध्यान देना अधिक महत्वपूर्ण है। उन्हें ज्यादा कपड़े पहनाने के बजाय हल्के, आरामदायक और गर्म रखने वाले कपड़े चुनें। बच्चे की गतिविधियों और जरूरतों को समझते हुए उनकी देखभाल करें। Health Tips

क्यों कुछ लोग खाकर भी रहते हैं पतले और कुछ बिना खाए ही हो जाते हैं मोटे?

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