स्वर कोकिला के नाम से मशहूर भारत रत्न लता मंगेशकर पंचतत्व में विलीन हो गई हैं । थल सेना, वायु सेना और जल सेना ने मिलकर लता मंगेशकर को सलामी दी । बता दें 92 वर्षीय लता मंगेशकर(Lata Mangeshkar) पिछले 29 दिनों से मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में इलाज चल रहा था, लेकिन रविवार की सुबह उन्होंने अस्पताल में ही अंतिम सांस ली है। उनके निधन की खबर ने न सिर्फ देश बल्कि पूरे विश्व को स्तब्ध कर दिया है। चारों तरफ शोक की लहर दौड़ पड़ी है। 30 हजार से अधिक गानों को अपनी सुरीली आवाज दे चुकीं लता मंगेशकर (Lata Mangeshkar)आज पंचतत्व में विलीन हो गई। लता जी के निधन पर 2 दिन का राष्ट्रीय शोक रहेगा। देशभर में झंडा आधा झुका रहेगा।
अपने आखिरी पलों में पिता के गाने सुन रही थीं लता
लता मंगेशकर (Lata Mangeshkar)की जिंदगी पर किताब लिखने वाले हरीश भिमानी ने लता जी (Lata Ji)के आखिरी पलों के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि लता जी के भाई हृदयनाथ मंगेशकर(Hriday Mangeshkar) ने लता (Lata)के आखिरी दो दिनों की बात साझा की थी। दो दिन पहले लता जी होश में थीं। वे वेंटिलेटर पर अपने पिता के गाने सुन रही थीं। उन्होंने अस्पताल में ईयरफोन मंगवाए थे।
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