Monday, 2 December 2024

‘Agnipath’ : सर्वोच्च अदालत का बड़ा फैसला, अग्निपथ से जुड़े सभी मामले दिल्ली हाईकोर्ट ट्रांसफर

New Delhi : नई दिल्ली। भारत सरकार (Government of India) की सेना में नई भर्ती योजना ‘अग्निपथ’ (Agnipath) को चुनौती…

‘Agnipath’ : सर्वोच्च अदालत का बड़ा फैसला, अग्निपथ से जुड़े सभी मामले दिल्ली हाईकोर्ट ट्रांसफर

New Delhi : नई दिल्ली। भारत सरकार (Government of India) की सेना में नई भर्ती योजना ‘अग्निपथ’ (Agnipath) को चुनौती देने वाली याचिकाओं (Petitions) पर मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में सुनवाई हुई। दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने अग्निपथ योजना से जुड़े सभी मामलों को दिल्ली हाईकोर्ट (Delhi High Court) में ट्रांसफर करने के आदेश दिए हैं।

सेना में भर्ती के लिए केंद्र सरकार की अग्निपथ योजना के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में तीन याचिकाएं दाखिल की गई थीं। उनमें इस योजना पर फिलहाल रोक लगाने की मांग की गई थी। याचिकाकर्ताओं ने ये भी मांग की थी कि जो सेना की नौकरी पाने की प्रक्रिया में हैं, उन पर ये योजना लागू नहीं की जानी चाहिए।

केंद्र ने 21 जून को सुप्रीम कोर्ट में एक कैविएट अर्जी दाखिल कर रक्षा बलों के लिए अग्निपथ भर्ती योजना को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सरकार का पक्ष भी सुनने की मांग की है। इसमें अपील की गई है कि उसका पक्ष सुने बिना कोई आदेश न दिया जाए। गौरतलब है कि एक वादी द्वारा यह सुनिश्चित करने के लिए एक कैविएट आवेदन दायर किया गया है कि उसका पक्ष सुने बिना उसके खिलाफ कोई प्रतिकूल आदेश पारित नहीं किया जाए। केंद्र की अधिसूचना को रद्द करने की मांग करने वाली जनहित याचिका अधिवक्ता एमएल शर्मा ने दायर की थी, जिसमें कहा गया था कि यह योजना अवैध और असंवैधानिक है।

अग्निपथ योजना के तहत थलसेना में भर्ती प्रक्रिया जहां एक जुलाई से शुरू हो गई, वहीं वायुसेना में इससे पहले 24 जून, जबकि नौसेना में 25 जून से शुरू हो गई। इस भर्ती में 17.5 वर्ष से 21 वर्ष तक के उम्मीदवार शामिल हो सकेंगे। हालांकि, इस साल के लिए आयु सीमा बढ़ाकर 23 साल कर दी गई है। यह भर्ती चार सालों के लिए होगी। इसके बाद परफॉर्मेंस के आधार पर 25 फीसदी कर्मियों को वापस से रेगुलर कैडर के लिए नामांकित किया जाएगा।

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