पहलगाम हमले के बाद अमेरिका ने जारी की चेतावनी




National News : जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए कायराना आतंकी हमले ने पूरे देश को झकझोर दिया है। इस घटना के बाद देशभर से प्रतिक्रियाएं आ रही हैं, लेकिन इस बार मुस्लिम समुदाय की आवाज़ अलग और बुलंद है। भोपाल में मुस्लिम समाज के लोगों ने आतंकवाद के खिलाफ खुलकर प्रदर्शन किया और पाकिस्तान को करारा जवाब देने की मांग की।
भोपाल के पुराने शहर में स्थित एक प्रमुख मस्जिद के सामने मुस्लिम समुदाय ने विशाल प्रदर्शन किया।
'आतंकवाद मुर्दाबाद' और 'पाकिस्तान हाय-हाय' जैसे नारे गूंजे।
प्रदर्शनकारियों ने आतंकी हमले के विरोध में आतंकवाद का पुतला जलाया।
प्रदर्शन में शामिल लोगों ने सरकार से मांग की कि भारत-पाक सीमा खोली जाए।
उन्होंने कहा, "सरकार हमें इजाजत दे, हम सरहद पर जाकर आतंकियों से सीधा मुकाबला करेंगे।"
यह संदेश दिया गया कि मुस्लिम समुदाय न केवल आतंकवाद के खिलाफ है, बल्कि देश की रक्षा के लिए अपनी जान भी देने को तैयार है।
प्रदर्शनकारियों का कहना था कि अब सिर्फ बातचीत और निंदा से कुछ नहीं होगा।
"सेना लाहौर में नाश्ता करे" जैसे बयान आक्रोश का प्रतीक बने।
मुस्लिम समाज चाहता है कि पाकिस्तान के खिलाफ ठोस सैन्य कार्रवाई की जाए।
प्रदर्शनकारियों ने कहा कि पहले की तरह सर्जिकल स्ट्राइक से बात नहीं बनेगी।
उन्होंने यह तक कह दिया कि अब समय आ गया है जब तिरंगा लाहौर में लहराया जाए।
यह प्रदर्शन इस बात का प्रमाण है कि भारत का मुस्लिम समाज देश के साथ खड़ा है।
उन्होंने कहा, "हमारी नस्ल शहादत वाली है, हम आतंकवाद को जड़ से खत्म करना चाहते हैं।"
उन्होंने सरकार से अपील की कि वे अल्पसंख्यक समुदाय की इस भावना को समझें और उन्हें आतंकवाद के खिलाफ योगदान देने का अवसर दें।
प्रदर्शन में यह भी मांग की गई कि आतंकवादियों को कोर्ट-कचहरी की बजाय चौराहे पर गोली मार दी जाए।
उन्होंने कहा कि देश की रक्षा के लिए किसी भी हद तक जाने को तैयार हैं। National News :
National News : जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए कायराना आतंकी हमले ने पूरे देश को झकझोर दिया है। इस घटना के बाद देशभर से प्रतिक्रियाएं आ रही हैं, लेकिन इस बार मुस्लिम समुदाय की आवाज़ अलग और बुलंद है। भोपाल में मुस्लिम समाज के लोगों ने आतंकवाद के खिलाफ खुलकर प्रदर्शन किया और पाकिस्तान को करारा जवाब देने की मांग की।
भोपाल के पुराने शहर में स्थित एक प्रमुख मस्जिद के सामने मुस्लिम समुदाय ने विशाल प्रदर्शन किया।
'आतंकवाद मुर्दाबाद' और 'पाकिस्तान हाय-हाय' जैसे नारे गूंजे।
प्रदर्शनकारियों ने आतंकी हमले के विरोध में आतंकवाद का पुतला जलाया।
प्रदर्शन में शामिल लोगों ने सरकार से मांग की कि भारत-पाक सीमा खोली जाए।
उन्होंने कहा, "सरकार हमें इजाजत दे, हम सरहद पर जाकर आतंकियों से सीधा मुकाबला करेंगे।"
यह संदेश दिया गया कि मुस्लिम समुदाय न केवल आतंकवाद के खिलाफ है, बल्कि देश की रक्षा के लिए अपनी जान भी देने को तैयार है।
प्रदर्शनकारियों का कहना था कि अब सिर्फ बातचीत और निंदा से कुछ नहीं होगा।
"सेना लाहौर में नाश्ता करे" जैसे बयान आक्रोश का प्रतीक बने।
मुस्लिम समाज चाहता है कि पाकिस्तान के खिलाफ ठोस सैन्य कार्रवाई की जाए।
प्रदर्शनकारियों ने कहा कि पहले की तरह सर्जिकल स्ट्राइक से बात नहीं बनेगी।
उन्होंने यह तक कह दिया कि अब समय आ गया है जब तिरंगा लाहौर में लहराया जाए।
यह प्रदर्शन इस बात का प्रमाण है कि भारत का मुस्लिम समाज देश के साथ खड़ा है।
उन्होंने कहा, "हमारी नस्ल शहादत वाली है, हम आतंकवाद को जड़ से खत्म करना चाहते हैं।"
उन्होंने सरकार से अपील की कि वे अल्पसंख्यक समुदाय की इस भावना को समझें और उन्हें आतंकवाद के खिलाफ योगदान देने का अवसर दें।
प्रदर्शन में यह भी मांग की गई कि आतंकवादियों को कोर्ट-कचहरी की बजाय चौराहे पर गोली मार दी जाए।
उन्होंने कहा कि देश की रक्षा के लिए किसी भी हद तक जाने को तैयार हैं। National News :
