Telangana News: तेलंगाना में राहुल गांधी ने 6 गारंटियां देने की बात कहकर फूंका चुनावी बिगुल !

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Telangana New
locationभारत
userचेतना मंच
calendar29 Nov 2025 11:24 PM
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Telangana News : तेलंगाना में कांग्रेस की हुई मेगा रैली में राहुल गांधी ने मंच से 6 गारंटीयों की घोषणा करते हुए एक तरह से चुनावी बिगुल फूँक दिया है । गारंटी में सबसे पहले महिलाओं के लिए ढाई हजार रुपए प्रतिमाह और गैस सिलेंडर के लिए 500 प्रति माह देने की गारंटी प्रमुख है । राहुल गांधी ने रैली में तेलंगाना की BRS पार्टी को घेरते हुए उसे "बीजेपी रिश्तेदार समिति " कह डाला । राहुल गांधी ने कहा कि चुनाव जीतने के तुरंत बाद यह 6 गारंटी लोगों के लिए तत्काल लागू की जाएगी । राहुल गांधी ने BRS पार्टी पर हमला बोलते हुए कहा कि तेलंगाना में सरकारी एजेंसियां विपक्षी नेताओं के पीछे पड़ी रहती हैं जबकि तेलंगाना के मुख्यमंत्री चंद्रशेखर राव और AIAIM के नेताओं का भ्रष्टाचार मोदी सरकार को नजर नहीं आता है। राहुल गांधी ने कहा कि BRS "बीजेपी रिश्तेदार समिति" है और शायद यही वजह है कि पार्टी ने लोकसभा में कई मुद्दों पर बीजेपी का समर्थन किया है चाहे वह कृषि कानून की बात हो, जीएसटी या फिर राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति का चुनाव इसमें BRS ने हमेशा बीजेपी की मदद की है। Telangana News

जनता को चुनावी चाकलेट या बड़ा दांव ?

राहुल गांधी ने कहा कि यह 6 सुरक्षा की गारंटी लोगों को दी जाएंगी और सरकार बनने के बाद कैबिनेट के पहले फैसले से ही गारंटी लोगों को मिलना शुरू हो जाएगी, इस गारंटी में 1 इंदिरा अम्मा इनदलू योजना जिसके अंतर्गत जिनके पास मकान नहीं है उन्हें मकान बनाने के लिए 5 लाख की राशि दी जाएगी ,साथ ही तेलंगाना राज्य के निर्माण के लिए संघर्ष करने वाले लोगों को ढाई सौ स्क्वायर यार्ड का मकान दिया जाएगा । 2 महालक्ष्मी गारंटी योजना के अंतर्गत महिलाओं को ढाई हजार रुपए प्रतिमाह दिए जाएंगे और गैस सिलेंडर के लिए 500 रुपए और साथ ही बस में यात्रा भी फ्री रहेगी 3 तीसरी गारंटी के रूप में गृह ज्योति योजना होगी जिसके अंतर्गत 200 यूनिट फ्री बिजली सभी घरों के लिए दी जाएगी 4चौथी गारंटी के रूप में युवा विकासम योजना है जिसमें युवाओं को कॉलेज और उच्च शिक्षा हासिल करने के लिए 5 लाख रुपए तक की आर्थिक सहायता दी जाएगी। वृद्ध जनों को 4000 मासिक पेंशन दी जाएगी और 5 पांचवी गारंटी के तौर पर 10 लाख रुपए की राजीव आरोग्य श्री बीमा योजना है जो लोगों को हासिल होगी। 6 छठी गारंटी रेथू भरोसा के अंतर्गत 15000 किसानों को दिए और 12000 खेतिहर मजदूरों को सालाना दिए जाएंगे कांग्रेस नेताओं ने कहा कि इससे पहले कर्नाटक में भी चुनाव से पहले पार्टी ने पांच गारंटी देने की बात कही थी और चुनाव जीतने के बाद यह वादा पूरा कर दिया गया । कांग्रेस पार्टी अपने वादे पूरे करती है। Telangana News

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PM Vishwakarma Yojana 2023:विश्वकर्मा जयंती पर शिल्पियों को 13,000 करोड़ की"पीएम विश्वकर्मा" योजना का तोहफा

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PM Vishwakarma Yojana 2023
locationभारत
userचेतना मंच
calendar02 Dec 2025 12:31 AM
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PM Vishwakarma Yojana 2023: मीना कौशिक। विश्वकर्मा पूजा पर केंद्र सरकार देश भर के ग्रामीण और शहरी क्षेत्र के पारंपरिक विश्वकर्मा शिल्पियों को समृद्ध करने के लिए पीएम विश्वकर्म योजना का उत्कृष्ट तोहफा देने जा रही है। यह ऐसा पहला मौका है जिसमें देश के ग्रामीण और शहरी सभी पारंपरिक शिल्पी पीएम विश्वकर्म योजना के अंतर्गत अपने शिल्प और जीवन को समृद्ध कर सकेंगे। यह व्यापक योजना 13000 करोड़ की लागत से देश भर के पारंपरिक शिल्पियों के हुनर को समृद्ध करके उद्यम का रूप दे सकेंगी। उनको अपनी खास पहचान मिलेगी उन्हें प्रधानमंत्री विश्वकर्मा पहचान पत्र प्रमाण पत्र ,औजारों की किट के साथ-साथ, आर्थिक सहायता और वित्तीय लोन भी प्राप्त होगा। जानकारी के मुताबिक इस वित्तीय वर्ष में 30 लाख से अधिक पारंपरिक विश्वकर्मा शिल्पीयों को समृद्ध बनाने का लक्ष्य रखा गया है और इसके लिए वित्त मंत्रालय के बीच गहन बैठक हो चुकी है। प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी विश्वकर्मा जयंती के अवसर पर 17 सितंबर, 2023 को  दिल्ली के द्वारका स्थित इंडिया इंटरनेशनल कन्वेंशन एंड एक्सपो सेंटर पर "पीएम विश्वकर्मा" नाम से एक नई योजना का शुभारंभ कर रहे हैं। PM Vishwakarma Yojana 2023 का 18 शिल्प श्रेणीयों के साथ व्यापक दायरा पीएम विश्वकर्मा योजना के तहत वित्त मंत्रालय की जानकारी के अनुसार इस वित्तीय मौजूदा वर्ष में लगभग तीन लाख से अधिक लाभार्थी 18 श्रेणीयों में इस योजना का लाभ ले सकेंगे। स्थानीय पारंपरिक विश्वकर्मा शिल्पियों को मिलेगी खास पहचान पीएम विश्वकर्मा प्रमाण-पत्र और पहचान-पत्र के माध्यम से विश्‍वकर्माओं को मान्यता प्रदान की जाएगी। विश्वकर्माओं को कौशल उन्नयन के लिए ऋण सहायता और प्रशिक्षण भी दिया जाएगा। एक हफ्ते से भी कम के प्रशिक्षण पर यह वित्तीय सहायता लोन के रूप में मामूली ब्याज दर पर मिलेगी। इनका पंजीकरण भी पोर्टल पर मुक्त किया जाएगा। सांस्कृतिक विरासत को समृद्ध बनाने का मकसद.. इस योजना का मकसद देश भर में छोटे से छोटे पारंपरिक और कुशल शिल्पीयों को उसकी खास पहचान देना और समृद्ध बनाना है। प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना अब भारत के हस्त शिल्पियों को खास पहचान देगी। और अब वह प्रशिक्षण और राष्ट्रीय विश्वकर्मा मंच पोर्टल के जरिए एक समृद्ध उद्यम स्थापित करके समृद्ध भारत का हिस्सा होंगे।उल्लेखनीय है प्रधानमंत्री का पारंपरिक शिल्प में लगे लोगों को सहायता प्रदान करने पर निरंतर ध्‍यान केन्द्रित रहा है। यह फोकस न केवल कारीगरों और शिल्पकारों को आर्थिक रूप से सहायता प्रदान करने बल्कि स्थानीय उत्पादों, कला और शिल्प के माध्यम से सदियों पुरानी परंपरा, संस्कृति और विविध विरासत को जीवित और समृद्ध बनाए रखने की इच्छा से भी प्रेरित है। PM Vishwakarma Yojana 2023 योजना का प्रारूप... पीएम विश्वकर्मा को 13,000 करोड़ रुपये के परिव्यय के साथ केंद्र सरकार द्वारा पूरी तरह से वित्त पोषित किया जाएगा। इस योजना के तहत, बायोमेट्रिक आधारित पीएम विश्वकर्मा पोर्टल का उपयोग करके सामान्य सेवा केंद्रों के माध्यम से विश्वकर्माओं का निःशुल्क पंजीकरण किया जाएगा। उन्हें पीएम विश्वकर्मा प्रमाण पत्र और पहचान-पत्र, मूलभूत और उन्नत प्रशिक्षण से जुड़े कौशल उन्नयन, 15,000 रुपये का टूलकिट प्रोत्साहन, 5 प्रतिशत की रियायती ब्याज दर पर 1 लाख रुपये (पहली किश्त) और 2 लाख रुपये (दूसरी किश्त) तक संपार्श्विक-मुक्त ऋण सहायता, डिजिटल लेन देन के लिए प्रोत्साहन और विपणन सहायता के माध्यम से मान्यता प्रदान की जाएगी । पारंपरिक कौशल के गुणवत्ता में आएगा सुधार... इस योजना का उद्देश्य गुरु-शिष्य परंपरा या अपने हाथों और औजारों से काम करने वाले विश्वकर्माओं द्वारा पारंपरिक कौशल के परिवार-आधारित प्रथा को सुदृढ़ बनाना और पोषित करना है। पीएम विश्वकर्मा का मुख्य फोकस कारीगरों और शिल्पकारों के उत्पादों और सेवाओं की पहुंच के साथ-साथ गुणवत्ता में सुधार करना और यह सुनिश्चित करना है कि वे घरेलू और वैश्विक मूल्य श्रृंखलाओं के साथ एकीकृत हों। इस योजना से स्थानीय स्तर पर पारंपरिक छोटे-छोटे कार्य करने वाले शिल्पियों की गुणवत्ता में का सुधार आएगा क्योंकि उन्हें प्रशिक्षण का भी मौका मिलेगा और अपने बने उत्पादों को बेचने के लिए एक अच्छा मंच भी मिलेगा PM Vishwakarma Yojana 2023 कौन होगा लाभार्थी. पीएम विश्वकर्मा के अंतर्गत अठारह पारंपरिक शिल्पों को शामिल किया जाएगा। इनमें बढ़ई; ,नौका निर्माता, शस्‍त्रसाज; लोहार;हथौड़ा और टूल किट निर्माता;ताला बनाने वाला; सुनार; कुम्हार; मूर्तिकार, पत्थर तोड़ने वाला; मोची (जूता/जूता कारीगर); राजमिस्त्री; टोकरी/चटाई/झाड़ू निर्माता/कॉयर बुनकर; गुड़िया और खिलौना निर्माता (पारंपरिक); ) नाई; माला बनाने वाला; धोबी; दर्जी; और मछली पकड़ने का जाल बनाने वाला शामिल हैं। गुड़िया बनाने वाले से लेकर मूर्तिकार तक सभी को मिलेगा पीएम विश्वकर्मा योजना का लाभ... हमारे देश की सांस्कृतिक विरासत में युवा महिला पुरुष सभी अपने स्थानीय संसाधनों से गुड़िया बनाने ,दरी चटाई बनाने, बड़े-बड़े बिल्डिंग बनाकर राजमिस्त्री का काम करने ,मछली पकड़ने,  फैशनेबल कपड़े बनाने का काम करते हैं या फिर बस मोती धागा से लेकर माला बनाने, गुड़िया बनाने, मूर्ति बनाने का काम करते हैं।  हस्तशिल्प में तमाम विविधता के साथ अपार संभावनाएं हैं और इन संभावनाओं को प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना के तहत पारंपरिक कौशल को समृद्ध बनाकर नए भारत में उल्लेखनीय स्थान मिलेगा ।  मंत्रालयों की कर ली गई है बैठक... विश्वकर्मा’ (PM Vishwakarma) योजना को लागू करने के लिए राज्यों, सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों (PSB) और राज्य स्तरीय बैंकर्स समिति (SLBC) के वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक कर ली गई है. इस योजना का मकसद पारंपरिक कारीगरों (Artisans) और शिल्पकारों (Caftsman) की मदद करना है और इसकी कुल राशि 13,000 करोड़ रुपये है. PM Vishwakarma Yojana 2023 तीन मंत्रालयों का खास योगदान और इसे तीन मंत्रालयों – एमएसएमई (MSME), स्किल डेवलपमेंट (Skill Development) और वित्त मंत्रालय (Finance Ministry) द्वारा लागू किया जाएगा. मात्र 5 दिन के प्रशिक्षण पर विश्वकर्मा शिल्पी ले सकेंगे वित्तीय सहायता लोन.. योजना के तहत कुशल कामगारों को उनका स्किल बढ़ाने के लिए 4-5 दिन का प्रशिक्षण दिया जाएगा. इसके बाद वे लोन लेने के पात्र होंगे. अधिकारीयों ने बताया , चालू वित्त वर्ष में हमने 30 लाख लाभार्थियों को लोन देने का लक्ष्य रखा है. योजना के तहत विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों पर ध्यान दिया जाएगा।

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International Democracy Day- इंटरनेशनल डेमोक्रेसी डे 2023 की थीम है ये, जाने इस दिन का इतिहास व महत्व

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locationभारत
userचेतना मंच
calendar01 Dec 2025 10:28 PM
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International Democracy Day- डेमोक्रेटिक होना हर देश चाहता है क्यूंकि ये हमें अधिकार देता है अपने विचारों को व्यक्त करने का। डेमोक्रेसी में हम आजाद होते हैं, हम अपने नेता को खुद चुन सकते हैं। बचपन से हम सभी डेमोक्रेसी की एक परिभाषा पढ़ते आ रहे हैं कि ये एक ऐसी सरकार है जो कि, 'By the people, for the people और of the people' होती है। लेकिन क्या आप में से कोई ये जानता है कि डेमोक्रेसी डे कब और क्यों मनाया जाता है? आज हम आपको इस आर्टिकल में डेमोक्रेसी डे के बारे में ही बताने जा रहे हैं।

डेमोक्रेसी डे कब मनाया जाता है?

हर साल 15 सितंबर को इंटरनेशनल डेमोक्रेसी डे (International Democracy Day) मनाया जाता है। इसको मनाने के लिए 2007 में संयुक्त राष्ट्र महासभा ने एक प्रस्ताव पारित किया गया था। इस दिन को मनाने के पीछे मुख्य उद्देश्य है लोगों को लोकतंत्र के बारे में जागरूक करना। इस दिन लोगों को याद दिलाया जाता है लोकतंत्र की क्या महत्ता है। आज के समय में बहुत से ऐसे लोग मौजूद हैं जो लोकतंत्र के सिद्धांत को तोड़ना चाहते हैं और इसे खत्म कर देना चाहते हैं मगर इसके बिना फिर हम आजाद नहीं रह पाएंगे। अभी हमारे पास विचारों को व्यक्त करने की स्वंतत्रता है, शिक्षा का अधिकार है, अपना नेता चुनने का अधिकार है। ऐसे में सभी को लोकतंत्र के कॉन्सेप्ट को स्वीकार कर लेना चाहिए।

History Of International Democracy: इंटरनेशनल डेमोक्रेसी डे का इतिहास;-

8 नवंबर 2007 में लोकतंत्र की घटना को और मजबूत करने के लिए तथा उसे मोटिवेट करने के लिए संयुक्त राष्ट्र महासभा में एक प्रस्ताव पारित किया गया था। इसी को बाद में 15 सितंबर को इंटरनेशनल डेमोक्रेसी डे (International Democracy Day) के रूप में जाना जाने लगा। इसके अंतर्गत कानूनों और मानव के मानवाधिकार की रक्षा हमेशा की जाती है।

International Democracy Day 2023 Theme: इंटरनेशनल डेमोक्रेसी डे 2023 की थीम;-

हर साल इस विशेष दिन की कोई न कोई थीम निर्धारित की जाती है। इस साल इस विशेष दिन की थीम है -'Empowering the Next Generation' जिसका शाब्दिक अर्थ है 'अगली पीढ़ी को सशक्त बनाना '। संयुक्त राष्ट्र के मुताबिक इस थीम का उद्देश्य युवाओं को लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं में शामिल होने के लिए प्रोत्साहित करना है, ताकि वे अपनी आवाज़ सुन सकें और एक बेहतर राष्ट्र का निर्माण कर सके।

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