Supreme Court : किसी मंत्री के बयान को अप्रत्यक्ष रूप से सरकार से जोड़ा नहीं जा सकता : न्यायालय

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The statement of a minister cannot be indirectly linked to the government: Court
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calendar28 Nov 2025 09:42 PM
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नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने कहा कि सामूहिक जिम्मेदारी के सिद्धांत को लागू करने के बावजूद, किसी मंत्री द्वारा दिए गए बयान को अप्रत्यक्ष रूप से सरकार के साथ नहीं जोड़ा जा सकता।

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न्यायमूर्ति एसए नजीर की अगुवाई वाली पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने मंगलवार को कहा कि संविधान के अनुच्छेद 19(2) के तहत उल्लेखित पाबंदियों के अलावा स्वतंत्र अभिव्यक्ति के खिलाफ कोई अतिरिक्त पाबंदी लागू नहीं की जा सकती। पीठ में न्यायमूर्ति बीआर गवई, न्यायमूर्ति एएस बोपन्ना और न्यायमूर्ति वी. रामसुब्रमण्यम भी शामिल हैं।

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पीठ ने कहा कि सामूहिक जिम्मेदारी के सिद्धांत को लागू करने के बावजूद किसी मंत्री द्वारा दिए गए बयान को अप्रत्यक्ष रूप से सरकार के साथ नहीं जोड़ा जा सकता, फिर भले ही वह बयान राज्य के किसी मामले को लेकर हो या सरकार की रक्षा करने वाला हो। न्यायालय ने कहा कि अनुच्छेद 19(1) के तहत मौलिक अधिकार का प्रयोग राज्य के अलावा अन्य व्यवस्था के खिलाफ भी किया जा सकता है। पीठ में शामिल न्यायमूर्ति बी वी नागरत्ना ने एक अलग आदेश लिखा। उन्होंने कहा कि भाषण और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता बेहद आवश्यक अधिकार है ताकि नागरिकों को शासन के बारे में अच्छी तरह जानकारी हो।

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उन्होंने कहा कि नफरत फैलाने वाला भाषण असमान समाज का निर्माण करते हुए मूलभूत मूल्यों पर प्रहार करता है और विविध पृष्ठभूमियों, खासतौर से ‘‘हमारे ‘भारत’ जैसे देश के’’, नागरिकों पर भी प्रहार करता है।

Rajsthan News : राष्ट्रपति मुर्मू ने राजभवन में संविधान पार्क का लोकार्पण किया

यह फैसला इस सवाल पर आया है कि क्या किसी सार्वजनिक पदाधिकारी के भाषण और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के अधिकार पर पाबंदियां लगायी जा सकती हैं ? देशदुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमेंफेसबुकपर लाइक करें याट्विटरपर फॉलो करें।
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Rajsthan News : राष्ट्रपति मुर्मू ने राजभवन में संविधान पार्क का लोकार्पण किया

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locationभारत
userचेतना मंच
calendar26 Nov 2025 01:20 PM
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Rajsthan News : जयपुर। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने यहां राजभवन में नवनिर्मित संविधान पार्क का मंगलवार को लोकार्पण किया। राजस्थान की दो दिवसीय यात्रा पर पहुंचीं राष्ट्रपति मुर्मू ने संविधान पार्क की पट्टिका का अनावरण तथा पार्क का उद्घाटन किया।

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लोकार्पण के बाद राष्ट्रपति ने संविधान पार्क का अवलोकन भी किया। इस अवसर पर राज्यपाल कलराज मिश्र, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, विधानसभा अध्यक्ष सी.पी. जोशी उनके साथ थे। पार्क के वास्तुकार अनूप बरतरिया ने उन्हें पार्क के बारे में जानकारी दी। राजस्थान देश का पहला ऐसा राज्य बन गया है जहां आमजन में संवैधानिक जागरुकता लाने के लिए राजभवन में संविधान उद्यान स्थापित किया गया है। पार्क में प्रतिमाओं, मॉडल और चित्रों आदि के माध्यम से संविधान के निर्माण से लेकर कार्यान्वयन तक की यात्रा को प्रदर्शित किया गया है। इससे पहले राष्ट्रपति ने राजभवन में स्थापित मयूर स्तम्भ, फ्लैग पोस्ट, गांधी प्रतिमा एवं महाराणा प्रताप की अपने घोड़े चेतक के साथ विश्रान्ति मुद्रा में स्थापित प्रतिमा का अवलोकन किया। राष्ट्रपति के रूप में मुर्मू की यह पहली राजस्थान यात्रा है। इससे पहले जयपुर हवाईअड्डे के स्टेट हैंगर में पहुंचने पर राज्यपाल और मुख्यमंत्री ने उनकी अगवानी की। यहां से मुर्मू शहर में स्थित अमर जवान ज्योति पहुंचीं और वहां अमर शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की।

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National News : भारत के पास डाटा और प्रौद्योगिकी बहुतायत में, विज्ञान को बुलंदियों पर पहुंचाने की ताकत : मोदी

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India has abundance of data and technology, the power to take science to great heights: Modi
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calendar30 Nov 2025 11:27 AM
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नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि 21वीं सदी के भारत के पास डाटा और प्रौद्योगिकी बहुतायत में हैं। इन दोनों में भारत के विज्ञान को बुलंदियों पर पहुंचाने की ताकत है।

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नागपुर के तुकड़ोजी महाराज विश्वविद्यालय में मंगलवार को आयोजित 108वीं भारतीय विज्ञान कांग्रेस (आईएससी) को वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि विज्ञान के क्षेत्र में भारत तेजी से विश्व के शीर्ष देशों में शामिल हो रहा है। अगले 25 वर्षों में भारत जिस ऊंचाई पर होगा, उसमें भारत की वैज्ञानिक शक्ति की बड़ी भूमिका होगी। मोदी ने कहा कि आज का भारत जिस ‘वैज्ञानिक एप्रोच’ के साथ आगे बढ़ रहा है, उसके नतीजे भी दिख रहे हैं।

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उन्होंने कहा कि विज्ञान के क्षेत्र में भारत तेजी से विश्व के शीर्ष देशों में शामिल हो रहा है। 2015 तक हम 130 देशों के ग्लोबल इनोवेशन इंडेक्स में 81वें नंबर पर आते थे, लेकिन 2022 में हम 40वें नंबर पर पहुंच गए हैं। मोदी ने कहा कि भारत में विज्ञान भारत को आत्मनिर्भर बनाने वाला होना चाहिए।

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पीएम मोदी ने कहा कि 21वीं सदी में हमारे पास दो चीजें बहुतायत में हैं, पहली डाटा और दूसरी प्रौद्योगिकी। इन दोनों में भारत के विज्ञान को बुलंदियों पर पहुंचाने की ताकत है। अगले 25 वर्षों में भारत जिस ऊंचाई पर होगा, उसमें भारत की वैज्ञानिक शक्ति की बड़ी भूमिका है। उन्होंने कहा कि विज्ञान के प्रयास, बड़ी उपलब्धियों में तभी बदल सकते हैं, जब वह प्रयोगशाला से निकलकर जमीन तक पहुंचें। जब उसका प्रभाव ग्लोबल से लेकर ग्रासरूट तक हो, जब उसका विस्तार जर्नल्स से लेकर जमीन तक हो, जब उससे बदलाव रिसर्च से होते हुए रियल लाइफ में दिखने लगे।

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उन्होंने कहा कि आज देश की सोच केवल यह नहीं है कि विज्ञान के जरिए महिला सशक्तीकरण करें, बल्कि महिलाओं की भागीदारी से विज्ञान का भी सशक्तीकरण करें। इस वर्ष के आईएससी का मुख्य विषय ‘महिला सशक्तीकरण के साथ सतत विकास के लिए विज्ञान और प्रौद्योगिकी’ है।