Up News : इस माफिया सरगना की बोलती थी तूती, अब बना भीगी बिल्ली

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Former Bahubali MLA Vijay Mishra of Bhadohi Gyanpur Assembly
locationभारत
userचेतना मंच
calendar29 Nov 2025 06:44 AM
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UP News : भदोही (उत्तर प्रदेश)। एक ऐसा बाहुबली, जिसका सिक्का एक दो जिलों में नहीं, बल्कि पूरे पूर्वांचल में चलता था। उसके सामने ‘खाकी’ नतमस्तक रहती थी। कल वही माफिया सरगना एमपी एमएलए कोर्ट में भीगी बिल्ली बना हुआ था। देखने वाले कह रहे थे कि यही तो कानून व भगवान का न्याय है। अपने कर्मों की सजा एक दिन सबको मिलती है। चाहे देर से ही क्यों ना मिले।

Up News :

भदोही ज्ञानपुर विधानसभा के पूर्व बाहुबली विधायक विजय मिश्र को कल एमपी एमएलए कोर्ट ने आर्म्स एक्ट के एक मामले में 11 साल बाद दो साल की सजा सुनाई। उस पर 15 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। बताते चलें कि विजय मिश्र पर 2009 में अपना रिवाल्वर एवं राइफल जमा न करने के मामले में थाना गोपीगंज में एक मुकदमा उस समय के तत्कालीन प्रभारी निरीक्षक कपिल त्रिपाठी ने दर्ज कराया था। कल आगरा जेल में निरुद्ध विजय मिश्र को भारी सुरक्षा व्यवस्था के बीच ज्ञानपुर के एमपी एमएलए कोर्ट में पेश किया गया, जहां पर न्यायिक अधिकारी साधना गिरि की अदालत में विजय मिश्र को 2 साल 6 महीने की सजा सुनाई गई। सजा सुनाए जाने के वक्त उसकी पत्नी एवं पूर्व जिला पंचायत पूर्व एमएलसी राम लली मिश्रा एवं उनके कई अन्य रिश्तेदार कोर्ट के बाहर मौजूद रहे।

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बताते हैं कि एक समय था, जब विजय मिश्र के सामने खाकी के लोग सलामी मारते थे। आज वही खाकी के लोग विजय मिश्र के लिए जी का जंजाल बन गए हैं। सत्ता बदलते ही विजय मिश्र की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। पूर्व विधायक विजय मिश्र के ऊपर पूर्व सांसद गोरख नाथ पांडे के भाई रामेश्वर पांडे की हत्या, सिपाही सूर्यमणि मिश्रा की हत्या, पूर्व मंत्री राकेश धर त्रिपाठी के भाई डॉक्टर धरणीधर त्रिपाठी की हत्या सहित दर्जनभर से अधिक लोगों की हत्या का आरोप एवं उसके मुकदमे न्यायालयों में विचाराधीन हैं। सजा सुनाए जाने के बाद जब विजय मिश्र कोर्ट से बाहर निकला तो उसका चेहरा लटका रहा, लेकिन उसके बावजूद उसने वहां मौजूद अपनी पत्नी राम लली मिश्रा से बातचीत की। सजा सुनाए जाने के बाद पूरे जिले में उसके विरोधियों में खुशी की लहर दौड़ गई। एक समय में विजय मिश्र की पूरे जनपद के साथ सटे हुए जिलों में भी तूती बोलती थी। ज्ञानपुर विधानसभा सीट से 4 बार विधायक विजय मिश्र आज मुकदमों में वांछित आगरा जेल में निरुद्ध है। हाल ही में विजय मिश्र की बेटे की निशानदेही पर गोपीगंज थाना क्षेत्र के माफी स्थित पेट्रोल पंप से पुलिस ने अवैध हथियार बरामद किया था। विजय मिश्र, उसका भतीजा, पूर्व ब्लाक प्रमुख उसका पोता विकास मिश्र सहित दर्जनभर से अधिक लोग प्रदेश के अलग-अलग जेलों में बंद हैं।
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Ghaziabad News : अंजाम तक पहुंचने को तैयार देश की पहली रैपिड रेल परियोजना : आरके सिंह

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Country's first rapid rail project ready to reach its end : RK Singh
locationभारत
userचेतना मंच
calendar02 Dec 2025 02:25 AM
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Ghaziabad News : गाजियाबाद। दिल्ली से मेरठ के बीच देश की पहली रैपिड रेल परियोजना अब अपने अंजाम तक पहुंचने वाली है। मेक इन इंडिया के तहत तैयार हो रही इस रैपिड रेल कॉरिडोर का पहला चरण साल-2023 के आखिर तक पूरा कर आम लोगों के लिए खोलने की योजना तैयार की गई है। इस कॉरिडोर के लिए सात स्टेशनों के चारों तरफ 1.5 किलोमीटर के दायरे में आवासीय और व्यावसायिक गतिविधियों की मंजूरी दी गई है। जीडीए ने इस क्षेत्र को मिश्रित भू-उपयोग घोषित किया है। इस बाबत गाजियाबाद के जिलाधिकारी एवं जीडीए उपाध्यक्ष आरके सिंह की मौजूदगी में जीडीए सभागार में आरआरटीएस के अधिकारियों ने प्रजेंटेशन दिया। अब आरआरटीएस इस क्षेत्र का जोनल प्लान बनाने का काम शुरू करेगा, ताकि आगे की योजना तैयार हो सके।

Ghaziabad News :

गाजियाबाद के जिलाधिकारी एवं जीडीए उपाध्यक्ष आरके सिंह ने बताया कि पिछले दिनों शासन ने रैपिड रेल कारिडोर के लिए ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलपमेंट (टीओडी) पॉलिसी जारी की थी। इस पालिसी का जीडीए के नियोजन अनुभाग ने अध्ययन किया। उन्होंने बताया कि शासन ने पूर्व में ही रैपिड रेल कारिडोर की लाइन के दोनों तरफ 500-500 मीटर और स्टेशन के 1.5 किमी तक के दायरे में मिक्स लैंड यूज की योजना बनाई थी। इस क्षेत्र के लिए शासन स्तर से टीओडी पॉलिसी जारी करने के बाद नियोजन अनुभाग ने इस पालिसी का अध्ययन कर लिया है। टीओडी पालिसी के तहत आरआरटीएस को रैपिड रेल के इस क्षेत्र की योजना बनाने के लिए कहा गया था। उन्होंने बताया कि आरआरटीएस के अधिकारियों ने अपनी प्रजेंटेशन दी, जिसमें इस क्षेत्र का आवासीय व व्यावसायिक गतिविधियों का संचालन करने की पूरी जानकारी दी गई है।

Ghaziabad News :

जीडीए के उपाध्यक्ष आरके सिंह ने बताया कि देश की पहली रैपिड रेल का काम लगभग पूरा होने को है। रैपिड रेल में मुसाफिरों के लिए बहुत ही शानदार सुविधा उपलब्ध होगी। देश की पहली रैपिड रेल का निर्माण गुजरात स्थित एलस्टॉम कारखाने में हुआ है। इसकी बुनियाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 8 मार्च 2019 को रखी थी। इस परियोजना पर 30,274 करोड़ रुपये की लागत आने का अनुमान है। आरके सिंह ने बताया कि रैपिड रेल की दिल्ली से मेरठ के बीच लंबाई 82 किलोमीटर है। इसके माध्यम से दिल्ली से मेरठ के बीच की दूरी को सिर्फ 50 मिनट में नापा जा सकता है। उन्होंने उम्मीद जताई कि इससे प्रतिदिन 8 लाख से अधिक मुसाफिरों को फायदा होगा। पहले चरण में गाजियाबाद के साहिबाबाद स्टेशन से दुराई डिपो तक रेपिड रेल को दौड़ाने की कोशिशें तेज कर दी गई हैं। श्री सिंह ने बताया कि साहिबाबाद से दुराई तक 17 किलोमीटर के पहले चरण का काम साल-2023 के अंत पूरा कर आम लोगों के लिए खोल दिया जाएगा। इस ट्रेन को आधुनिक तकनीकी से तैयार किया गया है, जिससे मुसाफिरों को सुखद एहसास होगा।
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Congress President Election : कौन बनेगा कांग्रेस का अध्यक्ष, जानते हैं क्या कहते हैं वास्तु शास्त्री

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mallikarjun kadge and shashi tharoor
locationभारत
userचेतना मंच
calendar30 Nov 2025 11:12 AM
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[caption id="attachment_38029" align="alignnone" width="164"]डॉ. सुमित्रा अग्रवाल डॉ. सुमित्रा अग्रवाल[/caption] डॉ. सुमित्रा अग्रवाल इंटरनेशनल वास्तु अकादमी कोलकाता Congress President Election :  हर व्यक्ति महत्वकांक्षी होता है और जीवन में भौतिक उब्लब्धियों को पाना चाहता है। सत्ता और पद की लड़ाई युगों युगों से चली आ रही है। कोई विजयी होता है और कोई एक दो नम्बरों से पीछे रह जाता है। जय माला से लेकर सारे सुख सुविधाएं, सुर्खियों में नाम, इतिहास में अमर विजय हो जाते हैं, मात्र एक अंक से दो नंबर पर रहने वाले को देश और दुनिया भुला देता है। अब भला अव्वल आने में जब फायदा ही फायदा है तो इस दौड़ में भला कोई क्यों न भागे।

Congress President Election :

आजकल एक बहुचर्चित मुद्दा है कि कांग्रेस का अगला प्रेसिडेंट कौन बनेगा। शशि थरूर अपने आप में दिग्गज हैं और मल्लिकार्जुन खड़गे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता। अंक विद्या पर आधारित दोनों के टकराव की गणना:

मल्लिकर्जुन खड़गे:

अंक विद्या की मानें तो मल्लिकार्जुन के जीवनकाल में विकास की दिशा में, भौतिक दुनिया में सफलता की सीढ़ी चढ़ते चले जायेंगे। ये बहुत महत्वकांक्षी और लक्ष्य-उन्मुख होते हैं। एक उत्कृष्ट प्रबंधक हैं, क्योंकि परियोजनाओं की योजना बना सकते हैं। आरंभ कर सकते हैं और उन्हें पूरा कर सकते हैं। बहुत भरोसेमंद और दृढ़निश्चयी हैं। इनकी ज्यादातर सफलता, चरित्र को आंकने की क्षमता के कारण आती है। इनका जीवन पथ अंक 8 भौतिक संतुष्टि पर केंद्रित हैं। शक्तिशाली, आत्मविश्वासी और भौतिक रूप से सफलता दिलाता है। खड़गे बहुत स्वतंत्र, सशक्त और प्रतिस्पर्धी होने के लिए उपयुक्त हैं। खड़गे दिनचर्या व्यावहारिक, वास्तविक मामलों में यकीन रखते हैं, और सपनों और दर्शन के लिए अपेक्षाकृत समय जाया नहीं करते हैं। संतोषजनक जगह बनाने के लिए महत्वाकांक्षाओं, संगठनात्मक क्षमता और अपने कुशल दृष्टिकोण का उपयोग करते हैं। इनकी अधिकांश चिंताओं में पैसा और उस शक्ति की सीख शामिल है, जो इनके उचित इस्तेमाल के साथ आती है। यह जीवन पथ भौतिक सफलता की संगत के रूप में सबसे अधिक चिंतित और स्थिति की इच्छा वाला अंक है। ये व्यापारिक दुनिया में या प्रयास के अन्य प्रतिस्पर्धी क्षेत्रों में प्रतिस्पर्धा के लिए अच्छी तरह से सुसज्जित हैं।

शशि थरूर:

अंक गणना के हिसाब से शशि थरूर की जीवनकाल में विकास की दिशा जिम्मेदारी, प्रेम और संतुलन की अधिक भावना की ओर है। इनका अंक इनको जीवन में विकास दिलाता है। ये अंक थरूर को अधिक सहायक, कर्तव्यनिष्ठ और किसी भी प्रकार की असंगत स्थिति को सुधारने और संतुलित करने में सक्षम बनाता है। वृद्ध, युवा, बीमार या वंचितों के साथ काम करने के लिए इनमें स्वाभाविक प्रवृत्ति है। थरूर मिलनसार और दूसरों की सहायता करने वाले हैं। इनका अंक इनको समझ की गहराई तो देता ही है, साथ ही बहुत सहानुभूति, दया और उदारता भी देता है। थरूर के जीवन पथ का अंक 6 ये इंगित करता है कि इनके स्वभाव में बहुत प्रमुख जिम्मेदारी की एक मजबूत भावना है। आदर्शवादी हैं। सलाहकार, सेवा और हमेशा मौजूद रहना आपके स्वाभाव में है। यह उदाहरण और जिम्मेदारी ग्रहण करने से नेतृत्व से संबंधित जीवन पथ है, और यह अंक इन्हें दायित्व का बोझ उठाने और हमेशा मदद के लिए तैयार करता है। बुद्धि, संतुलन और समझ इस जीवन पथ की आधारशिला हैं। इनकी असाधारण बुद्धि और दूसरों की समस्याओं को समझने की क्षमता कम उम्र से ही शुरू हो जाती है, जिससे ये पीढ़ी के अंतर को आसानी से पार कर सकते हैं और जीवन में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। ये स्वेच्छा से अपने उचित हिस्से से अधिक भार वहन करते हैं और आवश्यकता पड़ने पर हमेशा मौजूद रहते हैं। इस वर्ष की दशाओं पर अगर गौर करें तो दोनों ही दिग्गज की दशाएं इलेक्शन में विजेता की तरफ इंगित नहीं कर रही हैं। ये इलेक्शन गत वर्ष होने से शशि थरूर ही विजेता होते। अभी की स्थिति और प्यथागोरीन अंक विद्या के आधार पर मल्लिकर्जुन खड़गे की गणना शशि थरूर से ज्यादा बलवान है।