पॉक्सो एक्ट में आरोपी चाचा को 20 साल की सजा, 6 साल पहले भतीजी के साथ किया था दुराचार




Lucknow News : उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में एक प्रसिद्ध डॉक्टर से रंगदारी मांगने का मामला सामने आया है। गैस्ट्रोलॉजिस्ट डॉक्टर मनीष टंडन को बदमाश ने गुमनाम पत्र भेजकर पांच लाख रुपये की रंगदारी मांगी है। पैसे न देने पर जान से मारने की धमकी भी दी गई है। बता दें कि डॉ. मनीष का चौक के पाटा नाले पर क्लीनिक है। धमकी से डरे सहमे डॉक्टर ने 3 महीने बीत जाने के बाद शिकायत की। चौक थाना पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर ली। हालाकिं रंगदारी मांगे जाने के मामले में डॉक्टर कुछ भी बोलने को तैयार नहीं है। फिलहाल पुलिस मामले की जांच पड़ताल कर रही है।
लखनऊ के चौक थाना प्रभारी चौक केके तिवारी ने बताया कि ठाकुरगंज में रहने वाले गैस्ट्रोलॉजिस्ट डॉ. मनीष टंडन को एक गुमनाम पत्र देकर 5 लाख रुपये की रंगदारी मांगी गई है। रुपये न देने पर जान से मारने की धमकी भी दी गई थी। तीन महीने पहले आये इस पत्र पर डॉ. मनीष ने चौक कोतवाली में एफआईआर दर्ज करायी है। फिलहाल इस पूरे पुलिस मामले की जांच कर रही है। वहीं पत्र भेजकर धमकी देने वाले का पता लगाने का भी प्रयास कर रही है।
गैस्ट्रोलॉजिस्ट डॉ. मनीष टंडन को गुमनाम पत्र भेजकर पाँच लाख की रंगदारी मांगने का मामला सामने आया है। यहां ठाकुरगंज नेपियर रोड पार्ट-1 पर डॉ. मनीष टंडन का चौक में पाटा नाला के पास सुभाष चन्द्र बोस कॉम्पलेक्स में क्लीनिक है। उन्होंने तहरीर में लिखा है कि 5 जुलाई को एक लिफाफा उनकी क्लीनिक पर आया था। इसमें एक पत्र रखा था, जिसमें पांच लाख रुपये की रंगदारी मांगी गई थी। मांग पूरी न होने पर मारने की धमकी दी गई थी। चौक कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया है।
Lucknow News : उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में एक प्रसिद्ध डॉक्टर से रंगदारी मांगने का मामला सामने आया है। गैस्ट्रोलॉजिस्ट डॉक्टर मनीष टंडन को बदमाश ने गुमनाम पत्र भेजकर पांच लाख रुपये की रंगदारी मांगी है। पैसे न देने पर जान से मारने की धमकी भी दी गई है। बता दें कि डॉ. मनीष का चौक के पाटा नाले पर क्लीनिक है। धमकी से डरे सहमे डॉक्टर ने 3 महीने बीत जाने के बाद शिकायत की। चौक थाना पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर ली। हालाकिं रंगदारी मांगे जाने के मामले में डॉक्टर कुछ भी बोलने को तैयार नहीं है। फिलहाल पुलिस मामले की जांच पड़ताल कर रही है।
लखनऊ के चौक थाना प्रभारी चौक केके तिवारी ने बताया कि ठाकुरगंज में रहने वाले गैस्ट्रोलॉजिस्ट डॉ. मनीष टंडन को एक गुमनाम पत्र देकर 5 लाख रुपये की रंगदारी मांगी गई है। रुपये न देने पर जान से मारने की धमकी भी दी गई थी। तीन महीने पहले आये इस पत्र पर डॉ. मनीष ने चौक कोतवाली में एफआईआर दर्ज करायी है। फिलहाल इस पूरे पुलिस मामले की जांच कर रही है। वहीं पत्र भेजकर धमकी देने वाले का पता लगाने का भी प्रयास कर रही है।
गैस्ट्रोलॉजिस्ट डॉ. मनीष टंडन को गुमनाम पत्र भेजकर पाँच लाख की रंगदारी मांगने का मामला सामने आया है। यहां ठाकुरगंज नेपियर रोड पार्ट-1 पर डॉ. मनीष टंडन का चौक में पाटा नाला के पास सुभाष चन्द्र बोस कॉम्पलेक्स में क्लीनिक है। उन्होंने तहरीर में लिखा है कि 5 जुलाई को एक लिफाफा उनकी क्लीनिक पर आया था। इसमें एक पत्र रखा था, जिसमें पांच लाख रुपये की रंगदारी मांगी गई थी। मांग पूरी न होने पर मारने की धमकी दी गई थी। चौक कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया है।

UP News : उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से एक बड़ी खबर सामने आ रही है। खबर यह है कि इजराइल और हमास के बीच चल रहे युद्ध को लेकर किसी भी शख्स ने सोशल मीडिया पर कोई भी टिप्पणी की तो उस व्यक्ति को सीधे जेल की हवा खानी पड़ सकती है। यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने साफ निर्देश दिए हैं कि इजराइल और हमास के युद्ध को लेकर भारत द्वारा उठाए जा रहे कदम को लेकर यदि कोई व्यक्ति किसी भी तरह की टिका टिप्पणी करता है तो उस व्यक्ति के खिलाफ सख्त एक्शन लिया जाएगा।
आपको बता दें कि आगामी 15 अक्टूबर से नवरात्रि पर्व शुरु होने जा रहा है। इसके बाद अन्य पर्व भी मनाए जाने हैं। ऐसे में सीएम योगी आदित्यनाथ ने यूपी के सभी जिलों के डीएम से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बैठक की। इस बैठक में सीएम मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी जिलों के अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिये हैं कि इजराइल-हमास युद्ध में भारत सरकार के विचारों के विपरीत किसी भी तरह की गतिविधि न होने पाए।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इजरायल-फिलिस्तीन विवाद का जिक्र करते हुए पुलिस अधिकारियों को सतर्क रहने के निर्देश दिए और कहा कि सभी पुलिस कप्तान अपने क्षेत्र में धर्मगुरुओं से तत्काल संवाद स्थापित करें। इस प्रकरण में भारत सरकार के विचारों के विपरीत किसी तरह की गतिविधि स्वीकार नहीं की जाएगी। सोशल मीडिया हो अथवा धर्मस्थल, कहीं से भी किसी भी प्रकार का उन्मादी बयान / वक्तव्य जारी न होने पाए। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया पर टिप्पणी करने वाले लोगों पर विशेष नजर रखी जाए और जो लोग सोशल मीडिया या अन्य माध्यमों से किसी भी तरह की टिप्पणी कर रहे हैं तो उनके खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएं। जरुरत पड़े तो जेल भेजने से भी पीछे न हटा जाए।
आपको बता दें कि विगत सप्ताह इजरायली फोर्स और हमास के बीच युद्ध शुरू होने के बाद देश में ज्यादातर लोग सोशल मीडिया पर दो धड़ों में बंट गए हैं। अधिकांश लोग इजरायल पर भारत सरकार के कदम के साथ है जबकि कुछ लोगों ने हमास जैसे आतंकी संगठन के हमले का समर्थन किया है। 9 अक्टूबर को अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के सैकड़ों छात्रों ने फिलिस्तीन के समर्थन में कैंपस में प्रदर्शन किया था।
UP News : उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से एक बड़ी खबर सामने आ रही है। खबर यह है कि इजराइल और हमास के बीच चल रहे युद्ध को लेकर किसी भी शख्स ने सोशल मीडिया पर कोई भी टिप्पणी की तो उस व्यक्ति को सीधे जेल की हवा खानी पड़ सकती है। यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने साफ निर्देश दिए हैं कि इजराइल और हमास के युद्ध को लेकर भारत द्वारा उठाए जा रहे कदम को लेकर यदि कोई व्यक्ति किसी भी तरह की टिका टिप्पणी करता है तो उस व्यक्ति के खिलाफ सख्त एक्शन लिया जाएगा।
आपको बता दें कि आगामी 15 अक्टूबर से नवरात्रि पर्व शुरु होने जा रहा है। इसके बाद अन्य पर्व भी मनाए जाने हैं। ऐसे में सीएम योगी आदित्यनाथ ने यूपी के सभी जिलों के डीएम से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बैठक की। इस बैठक में सीएम मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी जिलों के अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिये हैं कि इजराइल-हमास युद्ध में भारत सरकार के विचारों के विपरीत किसी भी तरह की गतिविधि न होने पाए।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इजरायल-फिलिस्तीन विवाद का जिक्र करते हुए पुलिस अधिकारियों को सतर्क रहने के निर्देश दिए और कहा कि सभी पुलिस कप्तान अपने क्षेत्र में धर्मगुरुओं से तत्काल संवाद स्थापित करें। इस प्रकरण में भारत सरकार के विचारों के विपरीत किसी तरह की गतिविधि स्वीकार नहीं की जाएगी। सोशल मीडिया हो अथवा धर्मस्थल, कहीं से भी किसी भी प्रकार का उन्मादी बयान / वक्तव्य जारी न होने पाए। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया पर टिप्पणी करने वाले लोगों पर विशेष नजर रखी जाए और जो लोग सोशल मीडिया या अन्य माध्यमों से किसी भी तरह की टिप्पणी कर रहे हैं तो उनके खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएं। जरुरत पड़े तो जेल भेजने से भी पीछे न हटा जाए।
आपको बता दें कि विगत सप्ताह इजरायली फोर्स और हमास के बीच युद्ध शुरू होने के बाद देश में ज्यादातर लोग सोशल मीडिया पर दो धड़ों में बंट गए हैं। अधिकांश लोग इजरायल पर भारत सरकार के कदम के साथ है जबकि कुछ लोगों ने हमास जैसे आतंकी संगठन के हमले का समर्थन किया है। 9 अक्टूबर को अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के सैकड़ों छात्रों ने फिलिस्तीन के समर्थन में कैंपस में प्रदर्शन किया था।