Rajiv Gandhi death anniversary : राजीव गांधी की तेँतीसवीँ पुण्यतिथि पर राहुल गांधी बेहद इमोशनल हो गए। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपने पिता राजीव गांधी को उनकी पुण्यतिथि पर याद करते हुए सोशल मीडिया X पर एक भावुक संदेश लिखा है। राहुल गांधी ने एक्स पर अपने पिता के साथ एक बचपन की तस्वीर भी शेयर की है। इस तस्वीर के साथ उन्होंने लिखा है, “पापा आपके सपने, मेरे सपने, आपकी आकांक्षाएं मेरी जिम्मेदारियां, आपकी यादें आज और हमेशा दिल में सदा” । इस तस्वीर में राहुल गांधी अपने पिता पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के साथ किसी राजनीतिक यात्रा में जाते हुए दिख रहे हैं और साथ ही इसमें पार्टी के कई नेता भी नजर आ रहे हैं।
पापा,
आपके सपने, मेरे सपने,
आपकी आकांक्षाएं, मेरी ज़िम्मेदारियां।आपकी यादें, आज और हमेशा, दिल में सदा। pic.twitter.com/lT8M7sk7dS
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) May 21, 2024
Rajiv Gandhi death anniversary
1991 में आज ही के दिन आतंकवाद की भेंट चढ़े थे राजीव गांधी
तमिलनाडु के श्री पेरंबदूर में 21 मई 1991 को एक चुनावी रैली के दौरान आत्मघाती हमले में राजीव गांधी की हत्या कर दी गई थी । उनकी हत्या एक महिला द्वारा की गई थी जो अपने शरीर पर बम लगाकर आई थी और उसने इस बम से खुद को उड़ा दिया जिसमें राजीव गांधी की भी मौत हो गई। वह अपनी कमर में बम बांध कर आई थी और राजीव गांधी की पैर छूने के लिए झुकी और अपने कमर में लगे बम का बटन दबा दिया इसके बाद हुए विस्फोट में राजीव गांधी समेत 18 लोगों की मौत हो गई थी।
राजीव गांधी भारत के सबसे युवा प्रधान मंत्री थे
41 साल की उम्र में, राजीव गांधी भारत के सबसे युवा प्रधान मंत्री थे और शायद दुनिया में सबसे कम उम्र के निर्वाचित सरकार प्रमुखों में से एक थे। उनकी मां, इंदिरा गांधी, जब 1966 में पहली बार प्रधान मंत्री बनीं, तब उनसे आठ साल बड़ी थीं। उनके प्रसिद्ध दादा, जवाहरलाल नेहरू, 58 वर्ष के थे, जब उन्होंने स्वतंत्र भारत के पहले प्रधान मंत्री के रूप में अपनी 17 साल की लंबी पारी शुरू की थी। राजनीति में उनकी रुचि नहीं थी। उनके सहपाठियों के अनुसार, उनकी किताबों की अलमारियाँ दर्शन, राजनीति या इतिहास पर नहीं, बल्कि विज्ञान और इंजीनियरिंग पर पुस्तकों से भरी रहती थीं। उन्हें पश्चिमी और हिंदुस्तानी शास्त्रीय संगीत के साथ-साथ आधुनिक संगीत भी पसंद था। अन्य रुचियों में फोटोग्राफी और शौकिया रेडियो शामिल थे। लेकिन 1980 में एक हवाई दुर्घटना में संजय की मौत ने सब कुछ बदल दिया। कई आंतरिक और बाहरी चुनौतियों से घिरे श्री गांधी पर अपनी मां की मदद के लिए राजनीति में प्रवेश करने का दबाव बढ़ गया। उन्होंने पहले तो इन दबावों का विरोध किया लेकिन बाद में उनके तर्क के आगे झुक गये। उन्होंने अपने भाई की मृत्यु के कारण हुए संसद के उप-चुनाव में यूपी के अमेठी से जीत हासिल की, यह निर्वाचन क्षेत्र भारी अंतर से उनके पास वापस आया, जो एक राष्ट्रीय रिकॉर्ड बन गया।Rajiv Gandhi death anniversary
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने भी राजीव गांधी को याद किया
कांग्रेस के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने भी राजीव गांधी को याद कर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की है। Rajiv Gandhi death anniversary पर उन्होंने एक्स पर लिखा है 21वीं सदी के आधुनिक भारत के भारतीय सूचना क्रांति के जनक, पंचायती राज सशक्तिकरण के सूत्रधार एवं शांति व सद्भाव के पुरोधा पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न राजीव गांधी जी के बलिदान दिवस पर उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि। भारत को एक सुदृढ़ और सशक्त राष्ट्र बनाने में उनके उल्लेखनीय योगदान को सदैव याद किया जाएगा।