Omicron: इन 5 वजहों से भारत में बढ़ रहा है तीसरी लहर का खतरा!

Omicron in India
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locationभारत
userचेतना मंच
calendar02 Dec 2025 01:27 AM
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ये संकेत कुछ कहते हैं यूरोपीय देश कनाडा (Canada) में पहली बार लगातार पांच दिनों से कोरोना (Corona) संक्रमितों की संख्या ने पिछले सारे रिकॉड तोड़ दिए हैं। केवल 24 दिसंबर को ही 20 हजार से ज्यादा लोगों के संक्रमित होने की पुष्टि हुई है।

कोरोना (Corona) के नए वैरिएंट को लेकर कनाडा (Canada) में लोग किस कदर भयभीत हैं इसका अंदाजा अस्पतालों के बाहर लग रही लंबी कतारों से लगाया जा सकता है। कनाडा में जांच करने की क्षमता से कहीं ज्यादा लोग आरटीपीसीआर टेस्ट (RT PCR Test) के लिए पहुंच रहे हैं। सरकार को लोगों से अपील करनी पड़ी है कि वे एंटीजन टेस्ट (Antigen Test) कराएं।

स्वास्थ्य कर्मियों को बिना छुट्टी के काम करना पड़ा रहा है और वे कई-कई घंटे अतिरिक्त काम कर रहे हैं। ओमिक्रॉन (Omicron) के बारे में दुनिया भर के डॉक्टर इस बात से सहमत हैं कि यह चेचक (Measles) के बाद यह सबसे तेजी से फैलने वाला वायरस है।

हमें कनाडा से क्या लेना देना? कनाडा की ये खबरें इसलिए क्योंकि, पहली या दूसरी लहर आने से पहले भारत में लोग यही सोच रहे थे कि कोरोना (Corona), यूरोप जैसे अमीर देशों में फैलने वाला वायरस है। हमें कुछ नहीं होने वाला।

इस लापरवाही का नतीजा पहली लहर में ज्यादा गंभीर नहीं हुआ क्योंकि, 2020 में कठोर लॉकडाउन (Lockdown) के चलते वायरस का संक्रमण देश के कुछ हिस्सों में ही सिमट कर रह गया। इस उत्साह में सरकार ने टीकाकरण (Vaccination) में देरी की। बंगाल और यूपी जैसे बड़े राज्यों में विधान सभा और पंचायत के चुनाव कराए गए। बड़ी-बड़ी जनसभाएं और सार्वजनिक रैलियां हुईं।

इसके बाद आई कोरोना की दूसरी लहर। इसने महामारी से सबसे बुरी तरह प्रभावित देशों की सूची में भारत को दूसरे नंबर पर लाकर खड़ा कर दिया। अब, केवल अमेरिका हमसे आगे है।

गांव, कस्बों, छोटे शहरों से लेकर देश की राजधानी दिल्ली तक में लोग ऑक्सीजन की कमी के चलते अस्पताल और सड़कों पर दम तोड़ रहे थे। नदियों में लाशें उफनाने लगीं, कब्रिस्तानों में जगह कम पड़ने लगी, श्मसान घाटों पर शव जलाने के लिए लक​ड़ियां कम पड़ गईं।

सरकार ने किया एक अच्छा काम इस भयावह मंजर के बाद सरकार की आंख खुली और टीकाकरण (Vaccination) पर ध्यान गया। 24 दिसंबर तक देश में एक सौ इकतालिस करोड़ (1,41,02,50,280) से ज्यादा टीके लगाए जा चुके हैं।

प्रतिदिन 50 से 60 लाख टीके लग रहे हैं। रोजाना लगभग 15 से 20 लाख लोग टीका लगवाने के लिए रजिस्ट्रेशन करवा रहे हैं और दस लाख से ज्यादा कोरोना टेस्ट भी हो रहे हैं। भारत सरकार के टीकाकरण (Vaccination) अभियान की उत्तर प्रदेश हाईकोर्ट (High Court) तक ने तारीफ की है।

कनाडा दे रहा है एक संकेत अब एक बार फिर से परीक्षा की घड़ी आ गई है। कनाडा का उदाहरण इसी बात का संकेत है कि भारत में किसी भी वक्त तीसरी लहर (Third Wave) आ सकती है। देश के अधिकतर राज्यों में कोरोना (Corona) के नए वैरियंट, ओमिक्रॉन (Omicron) ने दस्तक दे दी है। संक्रमण तेजी से फैल रहा है और हर बार की तरह इस बार भी इसकी शुरुआत दिल्ली, मुंबई जैसे बड़े शहरों में हुइ है।

भारत में पहली लहर के पहले, सख्त लॉकडाउन लगने के कारण कोरोना का संक्रमण बड़े शहरों या देश के कुछ हिस्सों में ही भयावह रूप दिखा सका। दूसरी लहर की आशंका के बावजूद हरिद्वार में कुंभ, पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव और यूपी में पंचायत चुनाव कराये गए। इन घटनाओं ने दूसरी लहर की भूमिका तैयार की जिसका नतीजा पूरे देश को भुगतना पड़ा।

इन 5 चीजों से है भारत को खतरा कोरोना के नए वैरिएंट, ओमिक्रॉन (Omicron) ने अपना रूप दिखाना शुरू कर दिया है। इसकी संक्रमण दर अब तक के किसी भी वैरिएंट की तुलना में कहीं ज्यादा है। आशंका जताई जा रही है कि तीसरी लहर से भारत में सबसे ज्यादा नुकसान होगा।

1. इसकी कई वजहे हैं। पहली, भारत में टीकाकरण (Vaccination) के चलते लोग यह मान कर चल रहे हैं कि उन्हें अब कुछ नहीं होगा। जबकि, विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) से लेकर दुनिया भर के डॉक्टर लगातार यह कह रहे हैं कि टीकाकरण कोरोना के फैलने पर लगाम नहीं लगाता।

2. दूसरी वजह, नेताओं का रवैया। दो महीने से भी कम समय में यूपी जैसे बड़े राज्य और कई अन्य राज्यों में विधानसभा चुनाव (Vidhan Sabha Election 2022) होने वाले हैं। प्रधानमंत्री सहित हर राजनीतिक दल के नेता बड़ी-बड़ी चुनावी सभाएं और रैलियां कर रहे हैं। कोई भी रैली सुपर स्प्रेडर इवेंट (Super Spreader Event) बन सकती है और जंगल में आग की तरह कोराना को पूरे देश में फैला सकती है। इस खतरे को देखते हुए उत्तर प्रदेश हाईकोर्ट ने चुनाव आयोग (Election Commission) और प्रधानमंत्री से चुनावी सभाओं पर रोक और चुनाव टालने की अपील की है।

3. तीसरी वजह, आमतौर पर दिसंबर का आखिरी सप्ताह नए साल की तैयारियों और छुट्टियों का मौसम होता है। लोगों ने बड़े पैमाने पर घुमने-फिरने और जश्न का कार्यक्रम बना रखा है। ऐसे आयोजन इंसानों की तरह कोरोना को भी बेहद पसंद हैं क्योंकि, यहां उसे पनपने और फलने-फूलने का सुनहरा मौका मिलता है।

4. चौथी वजह, देश में वैसे तो कोराना ​टेस्टिंग की सुविधा का बड़े पैमाने पर विकास हुआ है लेकिन, ओमिक्रॉन (Omicron) का पता लगाने के लिए यह सुविधा पर्याप्त नहीं है। इस नए वैरिएंट के संक्रमण की पहचान के लिए जीनोम सिक्वेसिंग (Genome Sequencing) की सुविधा युक्त लैब की आवश्यकता होती है। भारत ही नहीं, दुनिया के ज्यादातर देशों में इस सुविधा की कमी को ओमिक्रॉन (Omicron) के फैलने की बड़ी वजह माना जा रहा है।

5. पांचवीं वजह, पिछले दो साल से लगातार महामारी का डर बना हुआ है। इसके चलते लोगों में महामारी (Pandemic) के प्रति चलताऊ रवैया घर करने लगा है। शुरुआत में मास्क, हाथ धुलने और सामाजिक दूरी को लेकर जो सजगता थी, वह भी कम हुई है।

उम्मीद बंधाने वाला एक आंकड़ा हमें नहीं भूलना चाहिए कि इस महामारी ने पिछले दो साल में लगभग 28 करोड़ लोगों को अपनी चपेट में लिया है और 54 लाख से ज्यादा लोगों की इससे मौत हुई है। मौत का आंकड़ा भले ही दो प्रतिशत से भी कम है लेकिन, महामारी (Pandemic) से होने वाले अन्य नुकसान की कोई कीमत नहीं लगाई जा सकती।

निराशा के इस दौर में भी इस बात से उम्मीद बंधती है कि ओमिक्रॉन (Omicron) से संक्रमित लोगों के अस्पताल में भर्ती होने और इससे होने वाली मौतों की संख्या, डेल्टा वैरिएंट (Delta Variant) की तुलना में 50 से 70% तक कम है।

हालांकि, इस बात को भी नजरअंदाज नहीं करना चाहिए कि अभी यह वैरिएंट शुरुआती दौर में है और डेटा का आधार बेहद छोटा है। यह तो आने वाला वक्त ही बताएगा कि ओमिक्रॉन कितना जानलेवा है।

दवा नहीं, लेकिन यह रास्ता तो है भले ही हमारे पास इस बीमारी की कोई दवा नहीं है लेकिन, पिछले दो साल का अनुभव ही सबसे बड़ी सीख है। यह अनुभव हमें बताता है कि कोरोना (Corona) को भीड़, लापरवाही, टीकाकरण (Vaccination) की धीमी गति और इंसानों का अति-आत्मविश्वास बेहद पसंद है। जब-जब और जहां-जहां ये चीजें बढ़ती हैं, कोरोना वहां भयानक तांडव मचाता है।

इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) ने कहा है कि जान है तो जहान है। यह बात सही भी है क्योंकि, ज़िंदगी रही तो, चुनाव और जश्न तो कभी भी किए जा सकते हैं।

- संजीव ​श्रीवास्तव

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Immunity Booster Foods- खाने में ये चीजें शामिल करके दें ओमिक्रोन को मात, बढ़ेगी ताकत

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locationभारत
userसुप्रिया श्रीवास्तव
calendar29 Nov 2025 07:59 AM
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Immunity Booster Foods- पिछले दो सालों में विश्व में कोरोना वायरस के चलते बहुत ही मुश्किल हालात देखने को मिले है। अब इस वायरस का नया वेरिएंट ओमिक्रॉन (Omicron Variant) एक बार फिर चिंता का विषय बन रहा है। हालांकि अभी स्थिति नियंत्रण में है, लेकिन रोजाना जिस तरह से नए मामले सामने आ रहे हैं इससे यह तो तय है कि अगर ध्यान नहीं दिया गया तो स्थिति नियंत्रण से बाहर हो सकती है। इस नए वेरिएंट और फैल रहे अन्य संक्रमण से बचने के लिए बाहरी बचाव करने के साथ-साथ अंदर से भी खुद को मजबूत बनाना उतना ही आवश्यक है। क्योंकि अगर शरीर की इम्युनिटी पावर मजबूत होती है तो बीमारियां हमारे शरीर को नुकसान नहीं पहुंचा सकती। शरीर की इम्यूनिटी पावर को मजबूत बनाने के लिए खानपान पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता होती है। इस समय जब बीमारियों का एक दौर सा चल रहा है ऐसे में अपनी इम्यूनिटी पावर को मजबूत करने के लिए आपको रोजाना अपने खाने में शामिल करनी चाहिए यह चीजें -

1. पपीता (Papaya)-

पपीता बहुत ही पौष्टिक गुणों वाला फल होता है जिसमें विटामिन सी की भरपूर मात्रा पाई जाती है। यह पाचन तंत्र को मजबूत बनाने का काम करता है। इसके साथ ही इस में पाए जाने वाले पोटेशियम, मैग्नीशियम और फोलेट तत्व शरीर को अंदर से मजबूत बनाने का काम करते हैं। इसमें एंटी इंफ्लेमेटरी गुण पाया जाता है जो शरीर के इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाने का काम करता है।

2. हल्दी (Turmeric)-

हल्दी एक ऐसा मसाला है जो हर रसोई घर में पाया जाता है। हल्दी का इस्तेमाल सिर्फ मसाले के रूप में नहीं किया जाता बल्कि यह हमारा डॉक्टर भी है। मांसपेशियों को मजबूत बनाने के साथ-साथ या हमारे इम्यून सिस्टम को भी मजबूत बनाता है। सर्दियों के मौसम में हल्दी वाला दूध पीना बहुत ही लाभदायक होता है। हल्दी वाले दूध का रोजाना सेवन करने से सर्दी खांसी जैसी समस्याएं दूर रहती है। इसमें एंटीवायरल गुण पाए जाते हैं, जो बीमारियों को दूर रखने में सहायक होते हैं।

3. बादाम (Almond)-

बादाम में विटामिन ई की भरपूर मात्रा पाई जाती है। इसमें एंटी ऑक्सीडेंट गुण पाए जाते हैं। यह सर्दी खांसी जैसी समस्याओं को दूर करने में सहायक होती है। बादाम शरीर को गर्म रखने का काम करता है, सर्दियों में रोजाना इसका सेवन काफी लाभदायक साबित होता है।

4. लाल शिमला मिर्च (Red Capsicum)-

लाल शिमला मिर्च में प्रचुर मात्रा में विटामिन सी व बीटा कैरोटीन पाया जाता है। यह इम्यूनिटी को मजबूत करने के साथ-साथ स्किन और आंखों के लिए भी बहुत ही लाभदायक होता है। इसमें पाया जाने वाला लाइकोपीन तत्व शरीर को कई बीमारियों से बचाने में सहायक होता है।

5. पालक (Spinach)-

पालक में आयरन की भरपूर मात्रा पाई जाती है। इसके अतिरिक्त इसमें पाए जाने वाले तत्वों में कैल्शियम, सोडियम, क्लोरीन, फास्फोरस, खनिज लवण, प्रोटीन, आदि मुख्य हैं। इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाने के साथ-साथ इसको सेवन से शरीर को लगभग सारे पोषक तत्व मिल जाते हैं। सर्दियों के मौसम में पालक का सेवन बहुत ही लाभकारी होता है।

6. विटामिन C से भरपूर फलों एवं सब्जियों का सेवन-

विटामिन सी शरीर में सफेद रक्त कोशिकाओं को बनाने का काम करता है। इसका सेवन करने से इम्यूनिटी पावर मजबूत होती है और शरीर इंफेक्शन से लड़ने के लिए तैयार रहता है। शरीर को विटामिन सी की भरपूर मात्रा मिलती रहे इसके लिए संतरा, अमरूद, आंवला नीबू, बेरी इत्यादि विटामिन सी से भरपूर फलों का सेवन करते रहना चाहिए।

7.मछली (Fish)-

मछली में भरपूर मात्रा में ओमेगा 3 फैटी एसिड पाया जाता है, जो शरीर की इम्यूनिटी पावर को मजबूत बनाने का काम करता है। यह सर्दी जुकाम जैसी समस्याओं को दूर करने में सहायक होता है। सर्दियों के मौसम में चिकन का सेवन भी काफी लाभदायक होता है इसमें पाया जाने वाला विटामिन B6 शरीर में लाल रक्त कोशिकाओं का निर्माण करता है।

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Omicron Update- उत्तराखंड और हरियाणा में भी नए वेरिएंट की दस्तक, पूरे देश में लगातार बढ़ रहे मामले

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उत्तराखंड और हरियाणा में पहला मामला आया सामने
locationभारत
userसुप्रिया श्रीवास्तव
calendar23 Dec 2021 04:04 PM
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Omicron Update- कोरोना वायरस के नए वेरिएंट ओमिक्रोन (Omicron Variant) ने अब उत्तराखंड (Uttarakhand) और हरियाणा (Hariyana) राज्य में भी दस्तक दे दी है। पूरे देश में नए वेरिएंट के संक्रमितो की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है। अब तक देश भर में ओमिक्रॉन (Omicron) के 238 मामले सामने आ चुके हैं।

हरियाणा और उत्तराखंड में सामने आया ओमिक्रॉन का पहला केस -

धीरे- धीरे पूरे देश में अपने पैर पसार रहा ओमिक्रॉन वेरिएंट (Omicron) अब उत्तराखंड (Uttarakhand) और हरियाणा (Hariyana) में भी दस्तक दे चुका है। बुधवार को इन दोनो राज्यों में ओमिक्रॉन (Omicron) का पहला केस दर्ज किया गया। उत्तराखंड की स्वास्थ्य महानिदेशक (Director General of Health) तृप्ति बहुगुणा (Tripti Bahuguna) के मुताबिक कावली रोड देहरादून (Dehradun) की रहने वाली एक महिला 8 दिसंबर को स्कॉटलैंड (Scotland) से लौट के आई है। दिल्ली एयरपोर्ट (Delhi Airport) पर जब उसका आरटीपीसीआर (RTPCR) किया गया तो उसमें नेगेटिव रिपोर्ट आई इसके बाद वह कार से अपने माता पिता के साथ देहरादून (Dehradun) चली गई। कुछ दिन बाद जब फिर से उसका टेस्ट किया गया तो उसमें वह पॉजिटिव पाई गई। रिपोर्ट के आने के बाद महिला को होम आइसोलेशन में रख दिया गया है। जबकि उसके माता-पिता का भी टेस्ट किया जाना है। स्वास्थ्य महानिदेशक बहुगुणा ने जिला निगरानी इकाई को आदेश दिया है कि महिला से होम आइसोलेशन के नियमों का सख्ती से पालन करवाया जाए।

क्या कहते हैं देश के विभिन्न राज्यों के आंकड़े?

ओमिक्रॉन वेरिएंट (Omicron Variant) के मामले धीरे धीरे देश के लगभग हर राज्य में सामने आ रहे हैं। देश की राजधानी दिल्ली (Delhi) में अब तक 57 केस दर्ज किए जा चुके हैं। महाराष्ट्र (Maharashtra) में 65, तेलंगाना (Telangana) में 24, गुजरात (Gujarat) में 23, राजस्थान (Rajasthan) में 22, कर्नाटक (Karnataka) में 19 मामले सामने आ चुके हैं। बुधवार को गुजरात में 9 नए केस दर्ज किए गए। विदेश से आने वाले पर्यटकों में खासतौर से इसका संक्रमण देखा जा रहा है। देशभर में लगातार बढ़ रहे कैसे चिंता का विषय है। जिस तरह से लोग लापरवाह हो रहे हैं, और कोविड प्रोटोकॉल का पालन नहीं कर रहे हैं, यह आगे आने वाले समय में मुसीबत की वजह बन सकता है।

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