Friday, 23 May 2025

सोशल मीडिया पर अफवाहों से सतर्क रहना क्यों जरूरी है और कैसे बचें?

Operation Sindoor :  सोशल मीडिया पर झूठी खबरें फायलाना बहुत ही आसान है। आज का दौर सोशल मीडिया का दौर…

सोशल मीडिया पर अफवाहों से सतर्क रहना क्यों जरूरी है और कैसे बचें?

Operation Sindoor :  सोशल मीडिया पर झूठी खबरें फायलाना बहुत ही आसान है। आज का दौर सोशल मीडिया का दौर है , इस दौर में किसी भी चीज को बड़े ही आसानी से तुरंत फैला दिया जाता है। इसी कड़ी में भारत और पाकिस्तान के बीच हालिया तनाव ने सोशल मीडिया पर अफवाहों और झूठी सूचनाओं की बाढ़ ला दी है। कई बार ये फर्जी खबरें न केवल भ्रम फैलाती हैं, बल्कि जनभावनाओं को भड़काने का भी काम करती हैं।

इस लेख में हम आपको बताएंगे कुछ ऐसे आसान लेकिन प्रभावी उपाय बताएंगे , जिनकी मदद से आप सोशल मीडिया पर अफवाहों से खुद को और दूसरों को
भी बचा सकते हैं।

1. मैसेज को तुरंत साझा न करें

अगर आपके पास कोई ऐसा मैसेज आता है जो डर, गुस्सा या घबराहट पैदा कर सकता है, तो सबसे पहले ठहरें और सोचें। क्या यह खबर विश्वसनीय लगती है? क्या इसका स्रोत स्पष्ट है? किसी भी मैसेज को बिना सोचे-समझे फॉरवर्ड करना गलत जानकारी फैलाने में आपकी भागीदारी बनाता है। इसलिए किसी भी खबर को तुरंत साझा ना करें।

2. स्रोत की जांच करें

किसी भी जानकारी को साझा करने से पहले उसके स्रोत की पुष्टि करें। क्या यह किसी मान्यता प्राप्त समाचार एजेंसी, सरकारी संस्था या विश्वसनीय व्यक्ति द्वारा साझा किया गया है? इंटरनेट पर थोड़ी-सी खोज (Google Search, Fact-Checking Websites ) आपको सच्चाई तक पहुंचा सकती है। इसके अतरिक्त बहुत साड़ी फैक्ट चेकिंग वेबसाइट के जरिए आप इसकी जांच पड़ताल भी कर सकते है।

3. भ्रामक जानकारी की रिपोर्ट करें

अगर आपको किसी मैसेज या पोस्ट की सच्चाई का पता चल जाए और वह अफवाह या भ्रामक सूचना साबित हो, तो उसे नजरअंदाज करने की गलती न करें। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर ऐसे कंटेंट को रिपोर्ट करने का विकल्प दिया जाता है — इसका इस्तेमाल करें ताकि वह पोस्ट ज्यादा लोगों तक न पहुंचे।

4. फॉरवर्डेड मैसेज को संदेह की नजर से देखें

जो भी पोस्ट या मैसेज ‘Forwarded’ टैग के साथ आए, खासतौर पर WhatsApp या Telegram पर, उसे सतर्कता से जांचें। ऐसे संदेशों में अक्सर बिना पुष्टि के दावे किए जाते हैं। ऐसे किसी भी जानकारी पर जल्द ही भरोसा ना करें , और उसे साझा भी ना करें।

5. फोटो और वीडियो की जांच करें

आज – कल अफवाह फैलाने के लिए अक्सर पुरानी तस्वीरों या वीडियो का इस्तेमाल किया जाता है। इसका इस्तेमाल मुख्यत किसी भी घटना के के अतरिक्त किसी व्यक्ति के बारे में झूठ भी फ़ैलाने में इस्तेमाल किया जाता है। आप Google Reverse Image Search या InVID जैसे टूल की मदद से इनकी सच्चाई जांच सकते हैं।

6. लिंक पर क्लिक करने से पहले जांचें

कई बार संदिग्ध खबरों के साथ दिए गए लिंक नकली वेबसाइट्स की ओर ले जाते हैं। इन लिंक को क्लिक करने से पहले ध्यान से URL पढ़ें और देखें कि यह किसी आधिकारिक साइट से संबंधित है या नहीं। आज के दौर में नकली वेबसाइट बनाना बड़ा ही आसान है।

7. अगर शक हो, तो जांच करें

अगर कोई खबर आपको अविश्वसनीय लगती है, तो संभव है कि वह फर्जी ही हो। इस स्थिति में किसी निष्कर्ष पर पहुंचने से पहले हमेशा दो या तीन विश्वसनीय स्रोतों से उस खबर की पुष्टि करें।    Operation Sindoor :

 

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