1984 Anti Sikh Riots: कांग्रेस नेता Sajjan Kumar पर सरस्वती विहार केस में आरोप तय
भारत
चेतना मंच
07 Dec 2021 06:39 PM
नई दिल्ली : 1984 के सिख दंगा (1984 Anti Sikh Riots) मामले में पूर्व कांग्रेस नेता सज्जन कुमार (Sajjan Kumar) नई मुश्किल में फंस गए हैं. दिल्ली की एक अदालत ने पूर्व कांग्रेस नेता सज्जन कुमार के खिलाफ दो लोगों की हत्या के मामले मे आरोप तय कर दिए हैं. 1984 के सिख दंगों के दौरान दिल्ली के सरस्वती विहार इलाके में सरदार जसवंत सिंह और सरदार तरुण दीप सिंह की हत्या हुई थी.
एडिशनल सेशन जज एमके नागपाल ने सज्जन कुमार (Sajjan Kumar) के खिलाफ हत्या और दंगा भड़काने के मामले में आरोप तय किए है. अदालत ने आईपीसी की धारा 147, 149, 148, 302, 308, 323, 395, 397, 427, 436, 440 के तहत दंगा, हत्या और डकैती के अपराधों के तहत सज्जन कुमार के खिलाफ आरोप तय किए हैं.
गौरतलब है कि सज्जन कुमार सिख दंगों के ही एक मामले में अदालत से दोषी साबित होने के बाद सजा भुगत रहे हैं. मृतक के परिवार के सदस्यों ने आरोप लगाया था कि कुमार के नेतृत्व में एक भीड़ ने 1 नवंबर, 1984 को दो लोगों को जिंदा जला दिया था. उन्होंने आरोप लगाया कि कुमार ने "उग्र भीड़ को उकसाया था". शिकायतकर्ताओं ने यह भी आरोप लगाया कि भीड़ ने उनके घर में भी आग लगा दी थी.
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07 Dec 2021 06:39 PM
नई दिल्ली : 1984 के सिख दंगा (1984 Anti Sikh Riots) मामले में पूर्व कांग्रेस नेता सज्जन कुमार (Sajjan Kumar) नई मुश्किल में फंस गए हैं. दिल्ली की एक अदालत ने पूर्व कांग्रेस नेता सज्जन कुमार के खिलाफ दो लोगों की हत्या के मामले मे आरोप तय कर दिए हैं. 1984 के सिख दंगों के दौरान दिल्ली के सरस्वती विहार इलाके में सरदार जसवंत सिंह और सरदार तरुण दीप सिंह की हत्या हुई थी.
एडिशनल सेशन जज एमके नागपाल ने सज्जन कुमार (Sajjan Kumar) के खिलाफ हत्या और दंगा भड़काने के मामले में आरोप तय किए है. अदालत ने आईपीसी की धारा 147, 149, 148, 302, 308, 323, 395, 397, 427, 436, 440 के तहत दंगा, हत्या और डकैती के अपराधों के तहत सज्जन कुमार के खिलाफ आरोप तय किए हैं.
गौरतलब है कि सज्जन कुमार सिख दंगों के ही एक मामले में अदालत से दोषी साबित होने के बाद सजा भुगत रहे हैं. मृतक के परिवार के सदस्यों ने आरोप लगाया था कि कुमार के नेतृत्व में एक भीड़ ने 1 नवंबर, 1984 को दो लोगों को जिंदा जला दिया था. उन्होंने आरोप लगाया कि कुमार ने "उग्र भीड़ को उकसाया था". शिकायतकर्ताओं ने यह भी आरोप लगाया कि भीड़ ने उनके घर में भी आग लगा दी थी.
Work from Home: केंद्र की ‘वर्क फार्म होम’ कानून लाने की तैयारी,
भारत
चेतना मंच
02 Dec 2025 02:43 AM
राष्ट्रीय ब्यूरो,नईदिल्ली। कोरोना वायरस (Corona) महामारी के चलते देश में ‘वर्क फ्रॉम होम’(Work From Home) संस्कृति की काम करने की एक नई परम्परा शुरू हुई है। जिसके चलते लोग घर से ही अपने कार्यालय के तमाम कार्य बाहर निकलने का जोखिम उठाए बगैर कर रहे हैं। हालांकि अभी यह नियोक्ता की मर्जी पर है कि वह यह सुविधा दे अथवा नहीं। लेकिन सरकार अब इसको लेकर कानून बनाने जा रही है।
सूत्रों के अनुसार,वर्क फ्रॉम होम को लेकर कुछ विकल्पों पर विचार किया जा रहा है। जिसमें कर्मचारियों के लिए काम के घंटे तय करना और घर से काम करने के चलते बिजली और इंटरनेट के उपयोग के लिए उनके द्वारा किए गए अतिरिक्त खर्चों का भुगतान शामिल है। एक शीर्ष अधिकारी ने कहाकि भारत में वर्क फ्रॉम होम को नियम के दायरे में लाने की चर्चा शुरू हो गई है। जिसे आगे चलकर औपचारिक रूप से कानूनी दर्जा दे दिया जाएगा। इसके लिए एक सलाहकार समिति भी बनाई गई है। जिसमें एक कंसलटेंसी कंपनी को भी शामिल किया जा रहा है। जो भविष्य में महामारी जैसे हालात में कैसे काम किया जा सकेगा,उसे निर्धारित करने और हितधारकों को इससे होने वाले लाभ को तय करने में मदद करेगी। बतादें कि दुनिया के कई अन्य देश इस तरह के कानून बनाने की तैयारी कर रहे हैं। वहीं पूर्तगाल में कानून प्रभावी हो गया है।
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चेतना मंच
02 Dec 2025 02:43 AM
राष्ट्रीय ब्यूरो,नईदिल्ली। कोरोना वायरस (Corona) महामारी के चलते देश में ‘वर्क फ्रॉम होम’(Work From Home) संस्कृति की काम करने की एक नई परम्परा शुरू हुई है। जिसके चलते लोग घर से ही अपने कार्यालय के तमाम कार्य बाहर निकलने का जोखिम उठाए बगैर कर रहे हैं। हालांकि अभी यह नियोक्ता की मर्जी पर है कि वह यह सुविधा दे अथवा नहीं। लेकिन सरकार अब इसको लेकर कानून बनाने जा रही है।
सूत्रों के अनुसार,वर्क फ्रॉम होम को लेकर कुछ विकल्पों पर विचार किया जा रहा है। जिसमें कर्मचारियों के लिए काम के घंटे तय करना और घर से काम करने के चलते बिजली और इंटरनेट के उपयोग के लिए उनके द्वारा किए गए अतिरिक्त खर्चों का भुगतान शामिल है। एक शीर्ष अधिकारी ने कहाकि भारत में वर्क फ्रॉम होम को नियम के दायरे में लाने की चर्चा शुरू हो गई है। जिसे आगे चलकर औपचारिक रूप से कानूनी दर्जा दे दिया जाएगा। इसके लिए एक सलाहकार समिति भी बनाई गई है। जिसमें एक कंसलटेंसी कंपनी को भी शामिल किया जा रहा है। जो भविष्य में महामारी जैसे हालात में कैसे काम किया जा सकेगा,उसे निर्धारित करने और हितधारकों को इससे होने वाले लाभ को तय करने में मदद करेगी। बतादें कि दुनिया के कई अन्य देश इस तरह के कानून बनाने की तैयारी कर रहे हैं। वहीं पूर्तगाल में कानून प्रभावी हो गया है।
Corona: देश को जल्द ही मिल जाएंगे कोरोना के दो और स्वदेशी टीके!
omicron को लेकर डॉक्टरों ने दी सलाह.
भारत
चेतना मंच
07 Dec 2021 05:25 PM
नई दिल्ली (राष्ट्रीय ब्यूरो)। कोरोना के खिलाफ भारत की अनुसंधान और तैयारियां लगातार तेज होती जा रही हैं। आने वाले दिनों में जल्द ही देश को दो और स्वदेशी टीकों के आपात इस्तेमाल की मंजूरी हासिल हो जाएगी। यह जानकारी केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने सोमवार को लोकसभा में दी।
नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ फार्मास्यूटिकल एजुकेशन एंड रिसर्च(संशोधन) विधेयक 2021 के पारित होने के बाद उन्होंने कहाकि दोनों स्वदेशी टीकों के तीसरे व अंतिम चरण के आंकड़े जमा कर दिए गए हैं। परीक्षण को पूरा कर लिया गया है। उम्मीद है कि दोनों नए टीकों का डेटा और परीक्षण पूरी तरह सफल होगा। ये दोनों कंपनियां भारतीय हैं। इससे जुड़े सभी शोध और निर्माण भी देश में ही किए गए हैं। सरकार की मदद से भारतीय वैज्ञानिकों ने सिर्फ 9 महीनों में कोविड-19 वैक्सीन को विकसित कर लिया गया। उन्होंने कहाकि सरकार ने देश में 51 एपीआई(सक्रिय फार्मास्यूटिकल सामग्री) के निर्माण को सुनिश्चित करने के लिए 14,000 करोड़ रुपए की उत्पादक लिंक्ड प्रोत्साहन योजना को मंजूरी दी है। भाजपा के अनुराग शर्मा ने इस पर असहमति जताते हुए कहाकि फार्मा कंपनियां पिछले कई सालों से विकास की ओर बढ़ रही हैं। उन्होंने कहाकि इन संस्थानों में आयुर्वेद चिकित्सा पर भी अनुसंधान को बढ़ावा दिया जाना चाहिए।
भारत
चेतना मंच
07 Dec 2021 05:25 PM
नई दिल्ली (राष्ट्रीय ब्यूरो)। कोरोना के खिलाफ भारत की अनुसंधान और तैयारियां लगातार तेज होती जा रही हैं। आने वाले दिनों में जल्द ही देश को दो और स्वदेशी टीकों के आपात इस्तेमाल की मंजूरी हासिल हो जाएगी। यह जानकारी केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने सोमवार को लोकसभा में दी।
नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ फार्मास्यूटिकल एजुकेशन एंड रिसर्च(संशोधन) विधेयक 2021 के पारित होने के बाद उन्होंने कहाकि दोनों स्वदेशी टीकों के तीसरे व अंतिम चरण के आंकड़े जमा कर दिए गए हैं। परीक्षण को पूरा कर लिया गया है। उम्मीद है कि दोनों नए टीकों का डेटा और परीक्षण पूरी तरह सफल होगा। ये दोनों कंपनियां भारतीय हैं। इससे जुड़े सभी शोध और निर्माण भी देश में ही किए गए हैं। सरकार की मदद से भारतीय वैज्ञानिकों ने सिर्फ 9 महीनों में कोविड-19 वैक्सीन को विकसित कर लिया गया। उन्होंने कहाकि सरकार ने देश में 51 एपीआई(सक्रिय फार्मास्यूटिकल सामग्री) के निर्माण को सुनिश्चित करने के लिए 14,000 करोड़ रुपए की उत्पादक लिंक्ड प्रोत्साहन योजना को मंजूरी दी है। भाजपा के अनुराग शर्मा ने इस पर असहमति जताते हुए कहाकि फार्मा कंपनियां पिछले कई सालों से विकास की ओर बढ़ रही हैं। उन्होंने कहाकि इन संस्थानों में आयुर्वेद चिकित्सा पर भी अनुसंधान को बढ़ावा दिया जाना चाहिए।