Rajasthan News : चंबल नदी में डूबने से एक महिला सहित दो श्रद्धालुओं की मौत, पांच लापता

Chambal
Two devotees including a woman died due to drowning in Chambal river, five missing
locationभारत
userचेतना मंच
calendar01 Dec 2025 09:43 PM
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जयपुर। राजस्थान के करौली जिले के मंडरायल थाना क्षेत्र में शनिवार को मध्य प्रदेश से कैला देवी के दर्शन करने जा रहे सात श्रद्धालु चंबल नदी में डूब गए।

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पुलिस अधीक्षक नारायण लाल टोगस ने बताया कि मध्य प्रदेश के शिवपुरी जिले के दो परिवारों के 17 लोग शनिवार सुबह करौली के कैलादेवी के दर्शन के लिये चंबल नदी को पार कर थे। उन्होंने बताया कि पानी के बहाव के कारण गहराई में जाने से सात लोग डूब गये, वहीं, 10 लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया है। उन्होंने बताया कि चंबल नदी में डूबे सात लोगों में से दो के शव बरामद कर लिये गये हैं, जबकि पांच लोगों की तलाश जारी है। नदी में मिले शवों की शिनाख्त देवकीनंदन और कल्लो के रूप में की गई है।

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Political : जेपीसी की मांग पर कोई समझौता संभव नहीं : रमेश

करौली के जिलाधिकारी अंकित कुमार ने बताया कि मध्य प्रदेश से 17 लोग कैलादेवी मेले में भाग लेने के लिये आ रहे थे। चंबल नदी पार करते समय बहाव की वजह से वो लोग उसमें बह गये। उसमें से 10 लोगों को जिंदा बचा लिया गया है। दो शवों को नदी से निकाल लिया गया है, जबकि अन्य पांच लापता लोगों की तलाश के लिये बचाव अभियान जारी है। मंडायल थाने के पुलिस उपनिरीक्षक जगदीश ने बताया कि लापता पांच लोगों की तलाश के अभियान में गोताखोरों के दल के साथ साथ स्थानीय ग्रामीण और अन्य लोगों की मदद ली जा रही है। देश विदेशकी खबरों से अपडेट रहने लिएचेतना मंचके साथ जुड़े रहें। देशदुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमेंफेसबुकपर लाइक करें याट्विटरपर फॉलो करें।
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Political : जेपीसी की मांग पर कोई समझौता संभव नहीं : रमेश

Ramesh
No compromise is possible on the demand of JPC : Ramesh
locationभारत
userचेतना मंच
calendar30 Nov 2025 05:44 AM
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नई दिल्ली। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने शनिवार को कहा कि संसद में गतिरोध को खत्म करने के लिए कोई बीच का रास्ता नहीं है। अडाणी समूह से जुड़े मामले में संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) के गठन की विपक्ष की मांग पर कोई समझौता नहीं हो सकता। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी के माफी मांगने का सवाल ही नहीं उठता।

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जयराम रमेश ने एक साक्षात्कार में कहा कि सरकार विपक्ष के 16 दलों के जेपीसी की मांग करने से बौखला गई है। इसलिए वह ‘3डी अभियान : डिस्टॉर्ट (विकृत करना), डिफेम (बदनाम करना) और डाइवर्ट (ध्यान भटकाना)’ में लगी है। रमेश ने आरोप लगाया कि विपक्ष की जेपीसी के गठन की मांग से ध्यान भटकाने के लिये भारतीय जनता पार्टी राहुल गांधी से माफी की मांग कर रही है, जबकि राहुल गांधी ने कुछ ऐसा नहीं कहा है, जैसा कि सत्तापक्ष बता रहा है।

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इस बयान से एक दिन पहले, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को कहा था कि अगर विपक्ष वार्ता के लिए आगे आए, तो संसद में जारी मौजूदा गतिरोध को दूर किया जा सकता है। उन्होंने कहा था कि अगर विपक्ष ‘दो कदम आगे बढ़ाए’ तो सरकार उससे भी ‘दो कदम आगे बढ़ेगी’। यह पूछे जाने पर कि संसद में गतिरोध खत्म करने के लिए कोई बीच का रास्ता निकल सकता है, तो कांग्रेस महासचिव ने कहा कि मैं कोई बीच का रास्ता नहीं देखता, क्योंकि जेपीसी की हमारी मांग को लेकर कोई समझौता नहीं हो सकता तथा राहुल गांधी की माफी का भी सवाल नहीं उठता।

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कांग्रेस नेता ने कहा कि जेपीसी से जुड़ी विपक्ष की वाजिब मांग से ध्यान भटकाने के लिए भाजपा माफी की मांग कर रही है, लेकिन माफी किसलिए मांगें? उन्होंने ऐसा कुछ नहीं कहा है। मुझे लगता है कि 16 विपक्षी पार्टियों ने मिलकर जेपीसी की मांग की है, उससे सरकार बौखलाई गई है, इसलिए उन्होंने ‘3डी दुष्प्रचार अभियान’ शुरू किया है।

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रमेश ने दावा किया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने चीन, जापान, दक्षिण कोरिया और कुछ अन्य देशों में भारत के विपक्ष की आलोचना की और राजनीतिक मुद्दे उठाए। अगर किसी को माफी मांगनी चाहिए, तो प्रधानमंत्री को मांगनी चाहिए। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने कहा, राहुल गांधी ने जो कहा है, वो रिकॉर्ड का मामला है। राहुल गांधी ने हस्तक्षेप शब्द का इस्तेमाल नहीं किया है। उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा है कि भारत के मामलों को आंतरिक रूप से हल करना है, उन्होंने यह भी कहा है कि भारतीय लोकतंत्र दुनिया के लिए सौगात है। भाजपा सांसद निशिकांत दुबे की राहुल गांधी की लोकसभा सदस्यता रद्द करने की मांग के बारे में पूछे जाने पर रमेश ने कहा कि यह धमकी देने की कोशिश है। उन्होंने यह भी कहा कि संसद की प्रक्रिया होती है, उसके तहत सब होगा। रमेश ने सवाल किया कि राहुल गांधी को सदन में बोलने का मौका क्यों नहीं मिला? संसद में विपक्ष को बोलने नहीं दिया जाता, लेकिन गतिरोध के लिए विपक्ष को जिम्मेदार ठहराने का प्रयास होता है, ताकि छवि खराब की जाए। संसद में गतिरोध के लिए सिर्फ और सिर्फ सत्ता पक्ष जिम्मेदार है। देश विदेशकी खबरों से अपडेट रहने लिएचेतना मंचके साथ जुड़े रहें। देशदुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमेंफेसबुकपर लाइक करें याट्विटरपर फॉलो करें।
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CBSE : सीबीएसई की चेतावनी : एक अप्रैल से पहले शैक्षणिक सत्र शुरू न करें स्कूल

Cbse
CBSE's warning: Schools should not start academic session before April 1
locationभारत
userचेतना मंच
calendar01 Dec 2025 10:06 AM
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नई दिल्ली। केन्द्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने स्कूलों को चेतावनी दी है कि वे शैक्षणिक सत्र एक अप्रैल से पहले शुरू न करें। इससे छात्रों में चिंता और थकान का खतरा पैदा होता है। सीबीएसई की यह चेतावनी कई स्कूलों द्वारा शैक्षणिक सत्र शुरू करने के बाद आयी है, खासकर कक्षा 10 और 12 के लिए।

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सीबीएसई सचिव अनुराग त्रिपाठी ने एक आधिकारिक आदेश में कहा कि यह गौर किया गया है कि कुछ संबद्ध स्कूलों ने अपना शैक्षणिक सत्र वर्ष में कुछ जल्दी शुरू कर दिया है। कम समयसीमा में पूरे वर्ष के पाठ्यक्रम को पूरा करने का प्रयास करने से छात्रों के लिए जोखिम उत्पन्न होता है, जो चिंता और थकान का सामना कर सकते हैं। बोर्ड ने कहा कि शैक्षणिक सत्र को पहले से शुरू करने से छात्रों को पाठ्येतर गतिविधियों के लिए पर्याप्त समय नहीं मिलता, जैसे कि कौशल सीखना, नैतिक शिक्षा, स्वास्थ्य एवं शारीरिक शिक्षा, कार्य शिक्षा और सामुदायिक सेवा।

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त्रिपाठी ने कहा कि ये सभी गतिविधियां शिक्षा के समान ही महत्वपूर्ण हैं। इसलिए बोर्ड से संबद्ध स्कूलों के प्रधानाचार्यों और संस्थानों के प्रमुखों को निर्दिष्ट समय से पहले शैक्षणिक सत्र शुरू करने से परहेज करने और एक अप्रैल से 31 मार्च तक शैक्षणिक सत्र का सख्ती से पालन करने की सलाह दी जाती है। सीबीएसई वर्तमान में कक्षा 10 और 12 के लिए बोर्ड परीक्षा आयोजित कर रहा है। दोनों कक्षाओं के लिए परीक्षाएं 15 फरवरी से शुरू हुईं। कक्षा 10 की परीक्षा 21 मार्च को और कक्षा 12 की पांच अप्रैल को समाप्त होंगी। देश विदेशकी खबरों से अपडेट रहने लिएचेतना मंचके साथ जुड़े रहें। देशदुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमेंफेसबुकपर लाइक करें याट्विटरपर फॉलो करें।