‘तस्करी’ का आरोप और अब FIR , धीरेंद्र शास्त्री विवाद ने पकड़ा तूल
धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री एक बार फिर विवादों के घेरे में हैं लेकिन इस बार मामला धार्मिक कथा या चमत्कारों से नहीं बल्कि सोशल मीडिया पर लगाए गए गंभीर आरोपों से जुड़ा है। डॉ. रविकांत ने धीरेंद्र शास्त्री पर ‘महिला तस्करी’ जैसे तीखे आरोप लगाते हुए एक पोस्ट साझा की, जिसके बाद विवाद ने तूल पकड़ लिया।

बागेश्वर धाम के कथावाचक धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री एक बार फिर विवादों के घेरे में हैं, लेकिन इस बार मामला धार्मिक कथा या चमत्कारों से नहीं, बल्कि सोशल मीडिया पर लगाए गए गंभीर आरोपों से जुड़ा है। लखनऊ विश्वविद्यालय के प्रोफेसर डॉ. रविकांत ने धीरेंद्र शास्त्री पर ‘महिला तस्करी’ जैसे तीखे आरोप लगाते हुए एक पोस्ट साझा की, जिसके बाद विवाद ने तूल पकड़ लिया। Dhirendra Krishna Shastri
सोशल मीडिया पर विवादित टिप्पणी
मामले की शुरुआत एक वायरल वीडियो से हुई, जिसमें एक एम्बुलेंस से कुछ महिलाओं के मिलने और उनके बागेश्वर धाम में कथित रूप से अनैतिक गतिविधियों में शामिल होने की बात सामने आई थी। इसी वीडियो को एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर साझा करते हुए प्रोफेसर रविकांत ने लिखा - नॉन-बायोलॉजिकल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से घोषित छोटा भाई धीरेंद्र शास्त्री धर्म की आड़ में महिला तस्करी कर रहा है। इस टिप्पणी के बाद सोशल मीडिया पर प्रतिक्रियाओं का तूफान आ गया और मामला तूल पकड़ता गया। बागेश्वर धाम समिति के सदस्य धीरेंद्र कुमार गौर ने छतरपुर के बमीठा थाने में शिकायत दर्ज कराई, जिसके आधार पर प्रोफेसर रविकांत के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 353(2) के तहत FIR दर्ज की गई।
यह भी पढ़े:यूपी में रक्षाबंधन पर महिलाओं को योगी सरकार का तोहफा, 3 दिन मिलेगी ये सुविधाधार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने का आरोप
शिकायतकर्ता का कहना है कि प्रोफेसर की यह टिप्पणी न केवल धीरेंद्र शास्त्री की सामाजिक छवि को ठेस पहुंचाती है, बल्कि यह हिंदू समुदाय की धार्मिक भावनाओं के खिलाफ भी मानी जा रही है। इस पूरे प्रकरण ने सोशल मीडिया से निकलकर कानूनी मोड़ ले लिया है। विवाद पर प्रतिक्रिया देते हुए धीरेंद्र शास्त्री ने भी एक्स पर एक वीडियो साझा किया। उन्होंने आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि यह सब एक सोची-समझी साजिश का हिस्सा है। उन्होंने कहा - हम जात-पात के भेदभाव के खिलाफ और सनातन धर्म की एकता के लिए कार्य कर रहे हैं। यही बात कुछ लोगों को खटक रही है। वे हमें रोकने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन हम रुकने वाले नहीं हैं।
बाबा ने आगे कहा - हम हिंदू धर्म, हिंदुत्व और हिंदुस्तान की सेवा के लिए समर्पित हैं। हमारा जीवन सनातन परंपरा की रक्षा के लिए समर्पित है, और हम मरते दम तक इसी पथ पर चलेंगे। शास्त्री ने यह भी दावा किया कि आगामी 7 नवंबर से 16 नवंबर तक प्रस्तावित उनकी पदयात्रा को लेकर ही कुछ लोगों की बेचैनी बढ़ गई है, और इसी कारण ऐसे आरोप लगाए जा रहे हैं। Dhirendra Krishna Shastri
बागेश्वर धाम के कथावाचक धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री एक बार फिर विवादों के घेरे में हैं, लेकिन इस बार मामला धार्मिक कथा या चमत्कारों से नहीं, बल्कि सोशल मीडिया पर लगाए गए गंभीर आरोपों से जुड़ा है। लखनऊ विश्वविद्यालय के प्रोफेसर डॉ. रविकांत ने धीरेंद्र शास्त्री पर ‘महिला तस्करी’ जैसे तीखे आरोप लगाते हुए एक पोस्ट साझा की, जिसके बाद विवाद ने तूल पकड़ लिया। Dhirendra Krishna Shastri
सोशल मीडिया पर विवादित टिप्पणी
मामले की शुरुआत एक वायरल वीडियो से हुई, जिसमें एक एम्बुलेंस से कुछ महिलाओं के मिलने और उनके बागेश्वर धाम में कथित रूप से अनैतिक गतिविधियों में शामिल होने की बात सामने आई थी। इसी वीडियो को एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर साझा करते हुए प्रोफेसर रविकांत ने लिखा - नॉन-बायोलॉजिकल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से घोषित छोटा भाई धीरेंद्र शास्त्री धर्म की आड़ में महिला तस्करी कर रहा है। इस टिप्पणी के बाद सोशल मीडिया पर प्रतिक्रियाओं का तूफान आ गया और मामला तूल पकड़ता गया। बागेश्वर धाम समिति के सदस्य धीरेंद्र कुमार गौर ने छतरपुर के बमीठा थाने में शिकायत दर्ज कराई, जिसके आधार पर प्रोफेसर रविकांत के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 353(2) के तहत FIR दर्ज की गई।
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शिकायतकर्ता का कहना है कि प्रोफेसर की यह टिप्पणी न केवल धीरेंद्र शास्त्री की सामाजिक छवि को ठेस पहुंचाती है, बल्कि यह हिंदू समुदाय की धार्मिक भावनाओं के खिलाफ भी मानी जा रही है। इस पूरे प्रकरण ने सोशल मीडिया से निकलकर कानूनी मोड़ ले लिया है। विवाद पर प्रतिक्रिया देते हुए धीरेंद्र शास्त्री ने भी एक्स पर एक वीडियो साझा किया। उन्होंने आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि यह सब एक सोची-समझी साजिश का हिस्सा है। उन्होंने कहा - हम जात-पात के भेदभाव के खिलाफ और सनातन धर्म की एकता के लिए कार्य कर रहे हैं। यही बात कुछ लोगों को खटक रही है। वे हमें रोकने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन हम रुकने वाले नहीं हैं।
बाबा ने आगे कहा - हम हिंदू धर्म, हिंदुत्व और हिंदुस्तान की सेवा के लिए समर्पित हैं। हमारा जीवन सनातन परंपरा की रक्षा के लिए समर्पित है, और हम मरते दम तक इसी पथ पर चलेंगे। शास्त्री ने यह भी दावा किया कि आगामी 7 नवंबर से 16 नवंबर तक प्रस्तावित उनकी पदयात्रा को लेकर ही कुछ लोगों की बेचैनी बढ़ गई है, और इसी कारण ऐसे आरोप लगाए जा रहे हैं। Dhirendra Krishna Shastri







