GDP : 7% तक बढ़ जाएगा भारत का GDP मार्च के अंत तक।

GDP :
आर्थिक वर्ष 2022-23 के तिमाही की तुलना में आर्थिक वर्ष 2021-22 पर पैंडमिक का असर थोड़ा गहरा होने के बावजूद भी विकास दर ज्यादा था, लेकिन इस साथ विकास दर में हो रही गिरावट के लिए मुख्य रूप से RBI द्वारा बढ़ाए गए ब्याज दरों को जिम्मेदार माना जा रहा है। हालांकि यह परिस्थिति भारत के साथ अन्य कुछ देशों में भी देखी जा रही है, जहां पर बैंक के बढ़ते ब्याज दर का सीधा असर देश की GDP पर हुआ है।ACEO मेधा रूपम ने सफाई व्यवस्था का लिया जायजा, सीएंडडी वेस्ट मिलने पर लगाया जुर्माना
आर्थिक वर्ष 2022-23 के आखिरी तिमाही का रिपोर्ट काफी महत्वपूर्ण है। भारत की उत्पादक क्षमता को ध्यान में रखते हुए, GDP 7% के लक्ष्य को हासिल कर सकता है, लेकिन जैसे की हम जानते है, गर्मी का मौसम शुरु हो ही रहा है, तो वातावरण से जुड़ी समस्या और आपदाओं के लिए भी भारत को तैयार रहना चाहिए।LPG Cylinder Price : घरेलू सिलिंडर एक बार फिर बिगड़ेगा आपका बजट
अनंथ नागेश्वरण यह भी कहते है की, भारत का उत्पादक क्षेत्र GDP का महत्वपूर्ण योगदान कर्ता है, जिसका डेटा विकास की दिशा की ओर ही बढ़ता हुआ पिछले कुछ वर्ष से दिखाई दे रहा है। किसी भी तरह की बड़ी समस्या की उम्मीद नहीं है, जो उत्पादक क्षेत्र के साथ GDP पर नकारात्मक परिणाम कर सकती है। वस्तू और सेवाओं की व्यापारिक निर्यात को नजर में रखते हुए, पिछले वर्ष की तुलना में आर्थिक वर्ष 2022-23 में यह करीबन 80 बिलियन डॉलर्स की बढ़ोतरी करेगा।अगली खबर पढ़ें
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आर्थिक वर्ष 2022-23 के तिमाही की तुलना में आर्थिक वर्ष 2021-22 पर पैंडमिक का असर थोड़ा गहरा होने के बावजूद भी विकास दर ज्यादा था, लेकिन इस साथ विकास दर में हो रही गिरावट के लिए मुख्य रूप से RBI द्वारा बढ़ाए गए ब्याज दरों को जिम्मेदार माना जा रहा है। हालांकि यह परिस्थिति भारत के साथ अन्य कुछ देशों में भी देखी जा रही है, जहां पर बैंक के बढ़ते ब्याज दर का सीधा असर देश की GDP पर हुआ है।ACEO मेधा रूपम ने सफाई व्यवस्था का लिया जायजा, सीएंडडी वेस्ट मिलने पर लगाया जुर्माना
आर्थिक वर्ष 2022-23 के आखिरी तिमाही का रिपोर्ट काफी महत्वपूर्ण है। भारत की उत्पादक क्षमता को ध्यान में रखते हुए, GDP 7% के लक्ष्य को हासिल कर सकता है, लेकिन जैसे की हम जानते है, गर्मी का मौसम शुरु हो ही रहा है, तो वातावरण से जुड़ी समस्या और आपदाओं के लिए भी भारत को तैयार रहना चाहिए।LPG Cylinder Price : घरेलू सिलिंडर एक बार फिर बिगड़ेगा आपका बजट
अनंथ नागेश्वरण यह भी कहते है की, भारत का उत्पादक क्षेत्र GDP का महत्वपूर्ण योगदान कर्ता है, जिसका डेटा विकास की दिशा की ओर ही बढ़ता हुआ पिछले कुछ वर्ष से दिखाई दे रहा है। किसी भी तरह की बड़ी समस्या की उम्मीद नहीं है, जो उत्पादक क्षेत्र के साथ GDP पर नकारात्मक परिणाम कर सकती है। वस्तू और सेवाओं की व्यापारिक निर्यात को नजर में रखते हुए, पिछले वर्ष की तुलना में आर्थिक वर्ष 2022-23 में यह करीबन 80 बिलियन डॉलर्स की बढ़ोतरी करेगा।संबंधित खबरें
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