आई लव मोदी चलेगा, लेकिन ‘आई लव मुहम्मद’ नहीं? ओवैसी ने उठाए सवाल

AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने देशभर में चल रहे ‘आई लव मुहम्मद’ विवाद पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने सत्तापक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि इस देश में लोग आसानी से ‘आई लव मोदी’ कह सकते हैं, लेकिन जब वही जज़्बात पैगंबर मुहम्मद के लिए जताए जाते हैं, तो विवाद छिड़ जाता है। ओवैसी ने सीधे सवाल किया, “इस देश को आप आखिर कहां ले जाना चाहते हैं? मैं अगर मुसलमान हूं, तो सिर्फ और सिर्फ पैगंबर मुहम्मद की वजह से हूं, उसके आगे या पीछे कुछ भी नहीं।” उन्होंने यह भी जोर देकर कहा कि हिंसा का कोई समर्थन नहीं करते, लेकिन अगर किसी ने प्रधानमंत्री का पोस्टर लगाया तो सब ठीक है, वहीं पैगंबर के पोस्टर पर रोक लगती है। इस बयान में ओवैसी ने साफ-साफ इस समाज की असमानताओं और धार्मिक भावनाओं के प्रति दोहरे मानकों को उजागर किया है। Asaduddin Owaisi
बरेली में बढ़ा तनाव
यह टिप्पणी उस समय आई है जब बरेली में ‘आई लव मुहम्मद’ पोस्टर विवाद की आग अभी भी ठंडी नहीं हुई है। पिछले सप्ताह शहर में इस पोस्टर को लेकर विरोध प्रदर्शन हुए, जो कई स्थानों पर हिंसक भी बन गए। दशहरा उत्सव और शुक्रवार की नमाज़ को देखते हुए बरेली संभाग के चार जिलों में गुरुवार को इंटरनेट सेवाएं निलंबित कर दी गईं और सड़कों पर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए। ओवैसी ने लोगों से शांतिपूर्ण रहने और इस मामले को हाथ में न लेने की अपील की। हैदराबाद में एक भाषण में उन्होंने कड़वा सच कहा कि इस देश में अगर कोई ‘आई लव मोदी’ कहता है, तो मीडिया उसकी तारीफ करती है, लेकिन ‘आई लव मुहम्मद’ बोलने पर तुरंत विरोध खड़ा हो जाता है। Asaduddin Owaisi
यहां देखे वीडियो -
[video width="1024" height="576" mp4="https://chetnamanch.com/wp-content/uploads/2025/10/6plLPGx98D0z-U0T.mp4"][/video]पुलिस और सरकार पर सवाल
AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने इस विवाद में पुलिस की भूमिका पर भी सीधे सवाल खड़े किए। उन्होंने कहा कि वीडियो स्पष्ट रूप से दिखा रहा है कि प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज किया गया, जबकि कुछ दुकानदारों ने उन पर फूल बरसाने का आरोप लगाया। ओवैसी ने कटाक्ष करते हुए पूछा, “क्या पुलिस केवल सत्ता पक्ष के प्रति ही जवाबदेह है और आम नागरिकों के प्रति नहीं?” उन्होंने पैगंबर मुहम्मद के सम्मान पर जोर देते हुए कहा कि उनके अलावा किसी और का नाम मुहम्मद नहीं रखा गया और उनके पोस्टर लगाना सम्मान का विषय होना चाहिए। साथ ही, ओवैसी ने सरकार से भी सवाल किया कि इतनी सारी नई कानून बनाने की क्या जरूरत थी और आखिर देश में हो क्या रहा है। उनके ये बयान प्रशासन और समाज में मौजूद दोहरे मानकों पर एक सीधा प्रहार हैं। Asaduddin Owaisi
यह भी पढ़े: कश्मीर बयान के बाद सुर्खियों में सना मीर, जानें कैसा रहा है क्रिकेटिंग सफर
जुमे की नमाज के बाद प्रदर्शन
पिछले हफ़्ते जुमे की नमाज़ के बाद बरेली की एक मस्जिद के बाहर 2,000 से अधिक लोग ‘आई लव मुहम्मद’ पोस्टर विवाद को लेकर प्रस्तावित विरोध प्रदर्शन रद्द होने के विरोध में जमा हुए। प्रदर्शनकारी और पुलिस के बीच गंभीर झड़पें हुईं, पथराव हुआ, कई पुलिसकर्मी घायल हुए और लाठीचार्ज करना पड़ा। इस पूरे घटनाक्रम पर टिप्पणी करते हुए ओवैसी ने कहा कि यह विवाद स्पष्ट रूप से दिखाता है कि धार्मिक भावनाओं के मामले में भारतीय समाज में असंतुलन है और इसे अनदेखा नहीं किया जा सकता। उनका यह बयान समाज में बढ़ते विभाजन और संवेदनशीलता की अनदेखी पर एक चेतावनी की तरह है। Asaduddin Owaisi
AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने देशभर में चल रहे ‘आई लव मुहम्मद’ विवाद पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने सत्तापक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि इस देश में लोग आसानी से ‘आई लव मोदी’ कह सकते हैं, लेकिन जब वही जज़्बात पैगंबर मुहम्मद के लिए जताए जाते हैं, तो विवाद छिड़ जाता है। ओवैसी ने सीधे सवाल किया, “इस देश को आप आखिर कहां ले जाना चाहते हैं? मैं अगर मुसलमान हूं, तो सिर्फ और सिर्फ पैगंबर मुहम्मद की वजह से हूं, उसके आगे या पीछे कुछ भी नहीं।” उन्होंने यह भी जोर देकर कहा कि हिंसा का कोई समर्थन नहीं करते, लेकिन अगर किसी ने प्रधानमंत्री का पोस्टर लगाया तो सब ठीक है, वहीं पैगंबर के पोस्टर पर रोक लगती है। इस बयान में ओवैसी ने साफ-साफ इस समाज की असमानताओं और धार्मिक भावनाओं के प्रति दोहरे मानकों को उजागर किया है। Asaduddin Owaisi
बरेली में बढ़ा तनाव
यह टिप्पणी उस समय आई है जब बरेली में ‘आई लव मुहम्मद’ पोस्टर विवाद की आग अभी भी ठंडी नहीं हुई है। पिछले सप्ताह शहर में इस पोस्टर को लेकर विरोध प्रदर्शन हुए, जो कई स्थानों पर हिंसक भी बन गए। दशहरा उत्सव और शुक्रवार की नमाज़ को देखते हुए बरेली संभाग के चार जिलों में गुरुवार को इंटरनेट सेवाएं निलंबित कर दी गईं और सड़कों पर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए। ओवैसी ने लोगों से शांतिपूर्ण रहने और इस मामले को हाथ में न लेने की अपील की। हैदराबाद में एक भाषण में उन्होंने कड़वा सच कहा कि इस देश में अगर कोई ‘आई लव मोदी’ कहता है, तो मीडिया उसकी तारीफ करती है, लेकिन ‘आई लव मुहम्मद’ बोलने पर तुरंत विरोध खड़ा हो जाता है। Asaduddin Owaisi
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[video width="1024" height="576" mp4="https://chetnamanch.com/wp-content/uploads/2025/10/6plLPGx98D0z-U0T.mp4"][/video]पुलिस और सरकार पर सवाल
AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने इस विवाद में पुलिस की भूमिका पर भी सीधे सवाल खड़े किए। उन्होंने कहा कि वीडियो स्पष्ट रूप से दिखा रहा है कि प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज किया गया, जबकि कुछ दुकानदारों ने उन पर फूल बरसाने का आरोप लगाया। ओवैसी ने कटाक्ष करते हुए पूछा, “क्या पुलिस केवल सत्ता पक्ष के प्रति ही जवाबदेह है और आम नागरिकों के प्रति नहीं?” उन्होंने पैगंबर मुहम्मद के सम्मान पर जोर देते हुए कहा कि उनके अलावा किसी और का नाम मुहम्मद नहीं रखा गया और उनके पोस्टर लगाना सम्मान का विषय होना चाहिए। साथ ही, ओवैसी ने सरकार से भी सवाल किया कि इतनी सारी नई कानून बनाने की क्या जरूरत थी और आखिर देश में हो क्या रहा है। उनके ये बयान प्रशासन और समाज में मौजूद दोहरे मानकों पर एक सीधा प्रहार हैं। Asaduddin Owaisi
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जुमे की नमाज के बाद प्रदर्शन
पिछले हफ़्ते जुमे की नमाज़ के बाद बरेली की एक मस्जिद के बाहर 2,000 से अधिक लोग ‘आई लव मुहम्मद’ पोस्टर विवाद को लेकर प्रस्तावित विरोध प्रदर्शन रद्द होने के विरोध में जमा हुए। प्रदर्शनकारी और पुलिस के बीच गंभीर झड़पें हुईं, पथराव हुआ, कई पुलिसकर्मी घायल हुए और लाठीचार्ज करना पड़ा। इस पूरे घटनाक्रम पर टिप्पणी करते हुए ओवैसी ने कहा कि यह विवाद स्पष्ट रूप से दिखाता है कि धार्मिक भावनाओं के मामले में भारतीय समाज में असंतुलन है और इसे अनदेखा नहीं किया जा सकता। उनका यह बयान समाज में बढ़ते विभाजन और संवेदनशीलता की अनदेखी पर एक चेतावनी की तरह है। Asaduddin Owaisi







