Jammu and Kashmir : सैनिकों ने लिया सैन्य अफसरों की शहादत का बदला, मार गिराए दो आतंकी

10 12
Jammu and Kashmir
locationभारत
userचेतना मंच
calendar27 Nov 2025 07:14 AM
bookmark

Jammu and Kashmir : जम्मू कश्मीर के अनंतनाग में शनिवार को चौथे दिन भी सेना और आतंकियों के बीच मुठभेड़ जारी रही। इस बीच सेना की एक टीम ने बारामुला में दो आतंकियों को मार गिराया है। एक टीम उरी के हथलंगा में सर्च ऑपरेशन चला रही थी, तभी आतंकियों ने हमला कर दिया। सेना ने जवाबी कार्रवाई में दोनों को ढेर कर दिया। माना जा रहा है कि दो से तीन लश्कर-ए-तैयबा के आतंकी पहाड़ी वन क्षेत्रों में छिपे हुए हैं।

Jammu and Kashmir News

मिली जानकारी के अनुसार, सेना द्वारा कमांड कंट्रोल वाहन हाईटेक्ट सीसीटीवी और 360 डिग्री कैमरा से निगरानी की जा रही है। ड्रोन से भी जंगलों में आतंकियों की तलाश की जा रही है। भारतीय सेना की आतंकी ऑपरेशन यूनिट, जम्मू-कश्मीर पुलिस की स्पेशल टीम और पैरा मिलिट्री की एक टीम मुठभेड़ को अंजाम दे रही हैं। छिपे हुए आतंकवादियों को घेरने के लिए अलग-अलग परतों की घेराबंदी की गई है।

सेना ने शुरू किया था सर्च ऑपरेशन

सेना के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने मीडिया से बातचीत में कहा कि एक आतंकवादी मारा गया है, जिसकी पहचान अभी तक नहीं हो पाई है। एक दूसरी आतंकी की तलाश थी, जिसे बाद में ढेर कर दिया गया। इससे पहले पुलिस और सेना की संयुक्त टीम ने इलाके में घेराबंदी कर तलाशी अभियान शुरू की थी। जैसे ही सुरक्षा बलों की संयुक्त टीम संदिग्ध स्थान की ओर बढ़ी, छिपे हुए आतंकवादियों ने संयुक्त टीम पर गोलीबारी की, जिसकी जवाबी कार्रवाई में गोलीबारी शुरू हो गई। आखिर में सेना ने दोनों आतंकियों को घेर लिया और उन्हें मार गिराया।

सेना का ड्रोन हमला

अनंतनाग में लगातार चौथे दिन भी आतंकियों और भारतीय सेना के जवानों के बीच मुठभेड़ जारी है। बताया जा रहा है कि सेना ने ड्रोन की मदद से आतंकियों के ठिकानों पर बमबारी की है। हमले के बाद आतंकी भागते हुए भी दिखाई दिए। इसके अलावा रॉकेट लॉन्चर से भी आतंकियों के ठिकानों पर फायरिंग की जा रही है। आधिकारिक बयान के अनुसार अभी तक अनंतनाग में तीन से चार आतंकियों को मार गिराया गया है। Jammu and Kashmir

Mahakumbh 2025 महाकुंभ 2025 के लिए योगी सरकार ने जारी किए 10 अरब रुपये

देश विदेश की खबरों से अपडेट रहने लिए चेतना मंच के साथ जुड़े रहें। देश-दुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमेंफेसबुकपर लाइक करें याट्विटरपर फॉलो करें।
अगली खबर पढ़ें

सबसे बड़ा सवाल : एक साथ कैसे बोल सकते हैं गांधी-गोडसे दोनों की जय

02 13
Gandhi-Godse
locationभारत
userचेतना मंच
calendar15 Sep 2023 03:11 PM
bookmark

रवि अरोड़ा Gandhi-Godse : वे तस्वीरें और वीडियो आपने भी देखे होंगे जिनमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी दुनिया के बड़े बड़े राष्ट्राध्यक्षों को लेकर बड़ी शान से राज घाट जा रहे हैं और वहां जाकर राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को अपनी श्रद्धांजलि अर्पित कर रहे हैं। जी 20 की बैठक के आखरी दिन हुए इस इवेंट को पूरी दुनिया ने देखा होगा और अपने उसके अर्थ भी लगाए होंगे। जाहिर है कि अर्थ तो हम भारतीयों ने भी लगाए मगर पता नहीं क्यों मैं अर्थ लगाने की बजाय सवालों में मुब्तला रहा। सबसे बड़ा सवाल तो यह ही था कि गांधी जी की समाधि पर न केवल खुद जाने अपितु दुनिया के सबसे शक्तिशाली लोगों को भी अपने साथ वहां ले जाने पर मोदी जी के मनोभाव क्या रहे होंगे ? चेहरे मोहरे से तो बिलकुल उनके मन की बात पता नहीं चल रही थी, मगर उस समय उनके मन में आखिर चल क्या रहा होगा ?

Gandhi-Godse

महात्मा गांधी दुनिया के एकलौते हिंदुस्तानी हैं जिन्हें भारतीय ही नहीं पूरी दुनिया मानती है। उनकी हत्या पर पूरी दुनिया में शोक छा गया था और अनगिनत देशों ने अपने झंडे झुका दिए थे। उनकी याद में 70 से अधिक देशों में आज भी खड़ी उनकी विशाल प्रतिमाएं गवाही देती हैं कि गांधी जी के प्रति दुनिया का सम्मान एक सदी के बाद भी रत्तीभर कम नहीं हुआ है। जब भी, जहां भी शांति और प्रेम की बात होती है, गांधी जी का जिक्र लाजमी हो ही जाता है।

हालांकि अपने मुल्क ने भी गांधी जी को राष्ट्रपिता का दर्जा दे रखा है और इमारतों, संस्थानों, इदारों और सड़कों तक का नाम उनकी स्मृति में रखने के अतिरिक्त अपनी करेंसी पर भी उनकी तस्वीर सजा रखी है। मगर फिर भी सबको पता है कि गांधी जी का कद छोटा करने की साजिशें सर्वाधिक उनके अपने ही देश भारत में हुई हैं और कमोवेश आज भी हो रही हैं। सच्चाई तो यही है कि गांधी के सावरकर और नाथूराम गोडसे जैसों को खड़ा करने की कोशिशें आज पहले से अधिक हो रही हैं।

कमाल की बात है कि अटल बिहारी वाजपेई और स्वयं नरेन्द्र मोदी जैसे प्रधानमन्त्री गांधी जी के साथ साथ उस सावरकर की प्रतिमाओं पर भी फूल माला चढ़ाते रहे हैं, जिस पर गांधी जी की हत्या का षड़यंत्र रचने का आरोप लगा और तकनीकी कारण से वह बरी हो गया था। अनेक रिपोर्ट ही नहीं तत्कालीन गृहमंत्री सरदार पटेल भी मानते थे कि आरएसएस और हिन्दू महासभा ने ही गांधी जी की हत्या का षड्यंत्र रचा था। मोदी जी जिस भाजपा के सर्वोच्च नेता हैं, वह उसी विचारधारा की उपज है।

आज भी भाजपा में ऐसे नेताओं की कमी नहीं है जो गोडसे को महिमा मंडित करने का कोई अवसर नहीं छोड़ते। भाजपा शासन में ही देश के कई शहरों में गोडसे के मंदिर बनवाने के प्रयास हुए और उसे शहीद का दर्जा देने का अनवरत कुचक्र अब तक रचा जा रहा है। सावरकर को तो खैर स्थापित कर ही दिया गया है और शहर, शहर ही नहीं संसद तक में उनकी तस्वीर लगवा दी गई है।

भाजपा और हिन्दू राष्ट्रवाद की अवधारणा

कितना अजीब है कि भाजपा हिन्दू राष्ट्र की अवधारणा को मानती है और इसके लिए सावरकर को अपना आदर्श पुरुष भी बताती है। मगर अंतर्राष्ट्रीय मंचों पर उसे खुद को गांधी का अनुयायी बताना पड़ता है। पार्टी वीर सावरकर की जयंती के दिन नए संसद भवन का उद्घाटन कराती है और मोदी जी उस कोठरी को भी जाकर प्रमाण करते हैं जहां सावरकर काला पानी की सजा भोग रहे थे, मगर विदेश यात्राओं में गांधी जी की प्रतिमाओं के समक्ष सिर भी जाकर झुकाते हैं। पार्टी की नेता प्रज्ञा ठाकुर गांधी के हत्यारे गोडसे को राष्ट्र भक्त बताती हैं और बदले में पार्टी उन्हें भोपाल सीट से सांसद चुनवा देती है। दुनिया जानती है कि गांधी समावेशी विचारधारा के थे और सभी धर्मों और जातियों के बीच समानता की बात करते थे।

Gandhi-Godse

उधर, भाजपा सावरकर के एजेंडे हिंदुत्व को लेकर चलती है और मुस्लिमों के प्रति उसके दुराग्रह जग जाहिर हैं। मगर राजनीतिक मजबूरी देखिए कि बीच बीच में इन लोगों को गांधी जी की जय भी बोलनी पड़ती है। चलिए अपना सवाल आपसे पूछता हूं- गांधी जी की हत्या के बाद पहली बार ऐसा हुआ कि एक साथ दुनिया के इतने बड़े नेता राजघाट गए। यह कार्यक्रम तय करने और उसे संपन्न कराते समय हमारे मोदी जी के मन में क्या चल रहा होगा ??? Gandhi-Godse

MotoGP 2023 : रोमांच और रफ्तार से भरी प्रतियोगिता का काउंटडाउन शुरू

देश विदेश की खबरों से अपडेट रहने लिए चेतना मंच के साथ जुड़े रहें। देश-दुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमेंफेसबुकपर लाइक करें याट्विटरपर फॉलो करें।
अगली खबर पढ़ें

बड़ी खबर : एक अक्टूबर से देश में होने जा रहा बड़ा बदलाव, जानें पूरा मामला

16 12
Single Document
locationभारत
userचेतना मंच
calendar28 Nov 2025 06:15 AM
bookmark

Single Document / नई दिल्ली। सितंबर का महीना समाप्त होते ही देश में एक बड़ा बदलाव होने जा रहा है। यह बदलाव उन लोगों के लिए परेशानी पैदा करेगा, जिनका जन्म प्रमाण पत्र नहीं होगा। क्योंकि 1 अक्टूबर से जन्म प्रमाण पत्र को एक ऐसे दस्तावेज के रुप में मान्यता मिल जाएगी, जो आपके तमाम प्रमाण पत्रों को बनवाने में मदद करेगा।

Single Document in india

एक अक्टूबर से लागू होने वाले एक नए संशोधित कानून से शैक्षणिक संस्थानों में दाखिले, ड्राइविंग लाइसेंस, आधार कार्ड या पासपोर्ट के लिए आवेदन और विवाह के पंजीकरण जैसे कई कार्यों व सेवाओं के लिए एकल दस्तावेज (single document) के रूप में जन्म प्रमाण पत्र के उपयोग की सुविधा मिलेगी।

संसद ने गत मानसून सत्र में जन्म एवं मृत्यु पंजीकरण (संशोधन) अधिनियम 2023 पारित किया था और राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने 11 अगस्त को इस पर मुहर लगा दी थी।

रजिस्ट्रार जनरल और जनगणना आयुक्त मृत्युंजय कुमार नारायण द्वारा जारी एक अधिसूचना के अनुसार, “जन्म और मृत्यु पंजीकरण (संशोधन) अधिनियम, 2023 की धारा 1 की उप-धारा (2) द्वारा प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए, केंद्र सरकार यह सूचित करती है कि एक अक्टूबर, 2023 को अधिनियम के प्रावधान लागू हो जाएंगे।”

अधिनियम लागू होने से शैक्षणिक संस्थानों में दाखिले, ड्राइविंग लाइसेंस, आधार कार्ड या पासपोर्ट के लिए आवेदन और विवाह के पंजीकरण जैसे कई कार्यों व सेवाओं के लिए एकल दस्तावेज (single document) के रूप में जन्म प्रमाण पत्र के उपयोग की सुविधा मिलेगी। Single Document

Noida News : नोएडा में चारों तरफ फैले हैं ठगों के तार, दुबई में बैठे हैं आका

देश विदेश की खबरों से अपडेट रहने लिए चेतना मंच के साथ जुड़े रहें। ग्रेटर नोएडा - नोएडा की खबरों से अपडेट रहने के लिए चेतना मंच से जुड़े रहें। देश-दुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमेंफेसबुकपर लाइक करें याट्विटरपर फॉलो करें।