Noida News: नोएडा उत्तर प्रदेश का प्रसिद्ध शहर है। हर कोई नोएडा के विषय में जानना चाहता है। यहां नोएडा के प्रतिदिन के सभी समाचार अखबारों के हवाले से हम समाचार प्रकाशित करते हैं। नोएडा शहर से प्रकाशित होने वाले समाचार पत्रों में 14 नवंबर को क्या खास समाचार प्रकाशित हुए हैं यहां एक साथ पढऩे को मिलेंगे।
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समाचार अमर उजाला से
अमर उजाला अखबार ने अपने नोएडा संस्करण में मुख्य समाचार “स्मॉग की चादर में लिपटा शहर खतरनाक स्तर पर पहुंचा प्रदूषण” शीर्षक से प्रकाशित किया है। इस समाचार में बताया गया है कि नोएडा और ग्रेटर नोएडा बुधवार को दिन भर कोहरे के साथ स्मॉग की चादर में लिपटा रहा। स्मॉग के कारण वायु प्रदूषण खतरनाक श्रेणी में पहुंच गया। बुधवार को ग्रेटर नोएडा का वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 364 पहुंच गया। वहीं नोएडा का एक्यूआई भी 359 दर्ज हुआ। वायु गुणवत्ता के पैमाने पर दोनों शहर रेड जोन में है।
ग्रेटर नोएडा देश का सातवां और एनसीआर का दूसरा सबसे प्रदूशित शहर रहा है। वहीं स्मॉग के कारण आंखों में जलन और सांस लेने में दिक्कत होने लगी है। उधर विभाग का कहना है कि अब हवा और बारिश से ही राहत मिल सकती है। अहम है कि महज 24 घंटे पहले नोएडा में एक्यूआई का स्तर 222 दर्ज किया गया था। जबकि ग्रेनो में यह 277 था।
सर्दी शुरू होने के साथ ही अक्तूबर से दिल्ली एनसीआर की हवा प्रदूषित होना शुरू हो जाती है। इस बार शुरुआत में राहत रही और वायु प्रदूषण ऑरेंज जोन में रहा। दिवाली पर पटाखों के कारण वायु प्रदूषण बढ़ने की आशंका थी पर हवा के कारण ऐसा नहीं हुआ। केवल एक दिन प्रदूषण रेड जोन में पहुंचा था। उसके बाद से ऑरेंज जोन में बनाया हुआ था, लेकिन मंगलवार देर रात से शहर में कोहरा और स्मॉग की चादर छाने लगी। बुधवार सुबह घना कोहरा रहा। सूरज निकलने के साथ ही कोहरा हल्का हो गया, लेकिन स्मॉग की चादर शहर में छाई रही। अचानक तापमान गिरने से शहर में वायु प्रदूषण का स्तर पर काफी बढ़ गया।
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अमर उजाला अखबार ने अपने नोएडा संस्करण में मुख्य समाचार “एयरपोर्ट के रनवे पर कल से रोजाना उड़ान भरेंगे तीन विमान, एक महीने का ट्रायल होगा शुरू, छोटे और बड़े विमानों को उड़ाकर और उतारकर की जाएगी जांच” शीर्षक से प्रकाशित किया है। इस समाचार में बताया गया है कि एशिया के सबसे बड़े एयरपोर्ट के रूप में विकसित किए जा रहे नोएडा अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे के रनवे पर शुक्रवार से पहली बार विमान उतरेंगे और उड़ान भरेंगे।
एयरपोर्ट के रनवे के ट्रायल रन में 15 नवंबर से 15 दिसंबर तक रोजाना तीन विमान लैंडिंग और टेक ऑफ करेंगे। पूरी प्रक्रिया में 90 अलग-अलग विमानों से रनवे का परीक्षण किया जाएगा। रोजाना इसकी रिपोर्ट नागर विमानन निदेशालय (डीजीसीए) को भेजी जाएगी। ट्रायल रन में अकासा और इंडिगो एयरलाइन के छोटे और बड़े विमान भी शामिल होंगे।
अप्रैल 2025 में एयरपोर्ट के व्यावसायिक संचालन की तैयारियों को मुकम्मल करने के लिए शुरू किए जा रहे रनवे टेस्टिंग को भविष्य की जरूरतों को ध्यान में भी रखकर किया जाएगा। दरअसल, एयरपोर्ट का पहला रनवे 3900 मीटर लंबा है, जबकि दूसरे एयरपोर्ट पर रनवे की अधिकतम लंबाई 2000 से 2500 मीटर तक ही होती है। ऐसे किसी भी प्रकार के विमान की लैंडिंग व टेकऑफ में दिक्कत नहीं होगी। परीक्षण के दौरान ही यमुना इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड को 25 नवंबर तक फ्लाइट ट्रायल की अनुमति मिलेगी। जिसके बाद ही 30 नवंबर को यात्रियों के साथ विमान की रनवे पर लैंडिंग कराई जाएगी। ट्रायल में विमानों में कू मेंबर से लेकर यात्री तक मौजूद रहेंगे।
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Noida News: अमर उजाला ने 14 नवंबर 2024 के अंक में प्रमुख समाचार “जिले में ऑटो और ई-रिक्शा के लिए 23 रुट निर्धारित” शीर्षक से प्रकाशित किया है। इस समाचार में बताया गया है कि जनपद में ऑटो और ई- रिक्शा निर्धारित रूट पर चलेंगे। कमिश्नरेट पुलिस ने इसके लिए 23 रूट निर्धारित किए हैं। पुलिस कमिश्नर लक्ष्मी सिंह ने बुधवार को सेक्टर-108 स्थित पुलिस कमिश्नरेट कार्यालय से ऑटो को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।
ऑटो चालकों को रूट चार्ट और रूट नंबर रिफ्लेक्टर भी दिए गए हैं। जिले में ऑटो रूट को व्यवस्थित करने के लिए, जाम व अन्य ट्रैफिक समस्याओं से बचने के लिए रूट बनाए गए हैं। पुलिस ने ऑटो चालकों, ई-रिक्शा चालकों व परिवहन विभाग से समन्वय स्थापित कर रूट चार्ट बनाया है। जिससे आमजनों, ऑटो और ई-रिक्शा चालकों को परेशानी का सामना नहीं करना पड़े। ।
रूट निर्धारण के ई-रिक्शा व ऑटो से आने जाने वाले लोगों को राहत मिलेगी। अभी तक परिवहन विभाग की तरफ से कुछ रूट निर्धारित थे लेकिन ऑटो और ई- रिक्शा चालक मनमाने तरीके से कई रूटों पर वाहनों का संचालन करते थे। इस दौरान अधिक किराया लेने व कई तरह की शिकायतें भी मिलती थी लेकिन अब रूट नंबर निर्धारित होने के बाद रूट पर चलने वाले ऑटो व ई रिक्शा की पहचान होगी। निर्धारित रूटों पर चलने वाले ऑटो व ई रिक्शा चालकों का डाटा बेस बनाया जाएगा। इसमें उनके ऑटो रिक्शा के पंजीकरण से लेकर चालकों की जानकारी और फोटो भी होगा।
समाचार दैनिक जागरण से
Noida News: दैनिक जागरण के नोएडा संस्करण में 14 नवंबर 2024 का प्रमुख समाचार “स्टार्टअप से विकसित भारत के लक्ष्य को पाने की राह पर देश” शीर्षक से प्रकाशित किया गया है। इस समाचार में बताया गया है कि एमिटी विश्वविद्यालय में बुधवार को एमिटी इनोवेशन इंक्यूबेटर ने भारत स्टार्टअप और इनोवेशन सोसाइटी के सहयोग से भारत स्टार्टअप फेस्टिवल हुआ। कैबिनेट मंत्री सुनील कुमार शर्मा, एमिटी इनोवेशन इंक्यूबेटर के अध्यक्ष डा. असीम चौहान, मुख्यमंत्री के सलाहकार अवनीश अवस्थी, स्ट्रैटजिक आपरेशन के एक्जीक्यूटिव डायरेक्टर अमोल चौहान ने दीप जलाकर शुभारंभ किया। कार्यक्रम में 14 देश और 29 शहरों से 1100 से अधिक स्टार्टअप व पांच हजार लोगों ने हिस्सा लिया।
इलेक्ट्रानिक्स एंड आइटी मंत्री सुनील कुमार शर्मा ने कहा कि प्रदेश में स्टार्टअप के पूरे अवसर मिल रहे हैं। उन्होंने छात्रों से कहा कि जो भी कार्य क्षेत्र चुने उसमें नेतृत्व हासिल करें। जीवन में लीडर बनने के लिए खुद के अंदर आत्मविश्वास का होना आवश्यक है। स्टार्टअप से हम विकसित भारत के लक्ष्य को हासिल करने की राह पर हैं। राज्य में 12 हजार स्टार्टअप है, जिसमें से पांच हजार संचालित हैं। एमिटी इनोवेशन इंक्यूबेटर के अध्यक्ष डा. असीम चौहान ने कहा कि एमिटी में छात्रों को स्टार्टअप शुरू करने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है।
इस दौरान मुख्यमंत्री के मुख्य सलाहकार अवनीश अवस्थी ने कहा कि भारत स्टार्टअप फेस्टिवल सबसे अनूठा है। इसमें स्टार्टअप को एक्सपोजर और सही दिशा पाने का अवसर रहता है। वहीं, भारत सरकार के जैव प्रौद्योगिकी उद्योग अनुसंधान सहायता परिषद के एमडी डा. जितेंद्र कुमार ने कहा कि देश जैव प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में वैश्विक नेता बनने की ओर अग्रसर है। उनके अलावा वाइस चांसलर डा बलविंदर शुक्ला, भारत स्टार्टअप एंड इनोवेशन सोसाइटी के राष्ट्रीय अध्यक्ष विनायक नाथ ने भी संबोधित किया। समापन समारोह के दौरान भारत स्टार्टअप एंड इनोवेशन सोसाइटी की सीईओ स्वाती नाथ ने धन्यवाद ज्ञापित किया। कार्यक्रम के दौरान डीप टेक एंड एआई और फ्यूचर आफ फंड रेस विषय पर परिचर्चा हुई। इसमें मुख्य रूप से शम्मी खन्ना, एडिसन अप्पू, किरन मित्तल, उमेश सिसोदिया ने अपने विचार रखे।
Noida News: दैनिक जागरण के 14 नवंबर 2024 के अंक में अगला प्रमुख समाचार “हाईटेक सिटी में मूलभूत सुविधाओं के लिए भटकने को विवश हैं लोग, गिझौड़ गांव में सार्वजनिक शौचालय न होने से ग्रामीण परेशान” शीर्षक से प्रकाशित किया गया है। इस समाचार में बताया गया है कि एक ओर प्राधिकरण नोएडा को हाईटेक सिटी होने का दावा कर रहा है। वहीं सेक्टर-53 के समीप गिझौड़ गांव में ग्रामीण मूलभूत सुविधाओं के लिए जूझ रहे हैं। गांव और बाजार में सार्वजनिक शौचालय की व्यवस्था नहीं होने से लोगों को परेशानी हो रही है। आम लोगों व स्थानीय दुकानदारों को शौच के लिए इधर-उधर भटकना पड़ता है।
ग्रामीणों ने बताया कि गांव की कुल आबादी आठ हजार के करीब है। इनमें कुल आठ गलियां हैं। मुख्य बाजार में शौच की व्यवस्था न होने के कारण लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। सीवर लाइन पुरानी होने के कारण सीवर जाम का सामना करना पड़ता है। नाले के ढक्कन खुले हैं, जिससे आए दिन लोग उसमें गिरने से घायल भी हो जाते हैं। सफाई वाले कभी-कभी ही आते हैं। आए दिन कचरे के ढेर से होकर गुजरना पड़ता है। गांव के अंदर फागिंग न होने व नालियों के चोक होने के कारण मच्छरों की समस्या काफी बढ़ गई है। वर्क सर्कल पांच के वरिष्ठ प्रबंधक पारस नाथ सोनकर ने कहा कि गांव के लोग लिखित में अपनी समस्याओं को दे, उनका समाधान कराया जाएगा। सड़कों पर रेहड़ी पटरी वालों का कब्जा है। ग्रामीणों ने बताया कि गांव में गली संख्या एक से ही अतिक्रमण के कारण जाम की समस्या बनी रहती है। साथ ही दुकानदारों ने भी दुकानों सड़कों पर रेहड़ी पटरी वालों का कब्जाः गिझौड़ गांव के बाजार में के बाहर अतिक्रमण कर रखा है।
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Noida Today News: दैनिक जागरण के 14 नवंबर के अंक में “शासन से स्वीकृति के फेर में अटका 30 हजार किसानों का मुआवजा” शीर्षक से भी समाचार प्रकाशित किया गया है। इस समाचार में बताया गया है कि यमुना एक्सप्रेस-वे की जमीन अधिग्रहण से प्रभावित 30 हजार किसानों को 64.7 प्रतिशत अतिरिक्त मुआवजा वितरण के स्वीकृति की फाइल शासन में अटकी हुई है और यमुना प्राधिकरण तारीख पर तारीख दे रहा है। जमीन अधिग्रहण से प्रभावित गौतमबुद्ध नगर समेत बुलंदशहर, अलीगढ़, हाथरस, मथुरा व आगरा के किसान कई माह से मुआवजा पाने के लिए प्राधिकरण के चक्कर लगा रहे हैं।
जेपी इन्फ्राटेक का अधिग्रहण कर चुकी सुरक्षा रियल्टी कामकाज संभाल चुकी है। कंपनी एक्सप्रेस-वे पर टोल वसूली कर रही है, लेकिन किसानों को यीडा अधिकारियों के आश्वासन के अलावा कुछ नहीं मिला है। जेपी इन्फ्राटेक के अधिग्रहण कर चुकी सुरक्षा रियलटी को लेकर नेशनल कंपनी ला अपीलेट ट्रिब्यूनल (एनसीएलएटी) ने मई में आदेश दिया था। इसके तहत कंपनी को आदेश दिया गया था कि वह यमुना एक्सप्रेस-वे से प्रभावित तकरीबन 30 हजार किसानों को 64.7 प्रतिशत अतिरिक्त मुआवजा वितरण के लिए यमुना प्राधिकरण को 1334.31 करोड़ रुपये का भुगतान करें। यमुना प्राधिकरण की 82वीं बोर्ड बैठक में मुआवजा वितरण के लिए शेष 360 करोड़ रुपये वहन करने पर सहमति देते हुए शासन से स्वीकृति के लिए प्रस्ताव भेजा गया था। प्राधिकरण ने दावा किया था कि किसानों को अतिरिक्त मुआवजे की पहली किस्त 30 सितंबर तक दे दी जाएगी। लेकिन बोर्ड बैठक बाद में यह तारीख निकल गई। इसके बाद दीपावली से पहले मुआवजे की पहली किस्त देने का भरोसा दिया गया, लेकिन दीपावली भी बिना मुआवजा मिले बीत गई। शासन से स्वीकृति अभी तक नहीं मिली है। प्राधिकरण किस्त जारी करने के लिए शासन ने स्वीकृति का इंतजार कर रहा है। किसानों के साथ जेपी इन्फ्राटेक की आवासीय परियोजना के बीस हजार घर खरीदारों को भी प्रस्ताव पर स्वीकृति की मुहर लगने का इंतजार है। ज्ञात हो कि यमुना एक्सप्रेस-वे के साथ जेपी इन्फ्राटेक को अनुबंध के मुताबिक गौतमबुद्ध नगर समेत पांच जगहों पर पांच-पांच सौ हेक्टेयर के लैंड पार्सल भी दिए गए थे। इस जमीन के प्रभावित किसानों को भी 64.7 प्रतिशत मुआवजा का वितरण होना है। यमुना प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डा. अरुणवीर सिंह का कहना है कि शासन से स्वीकृति मिलते ही मुआवजे की पहली किस्त किसानों को जारी कर दी जाएगी।
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