Srikant Tyagi Case : श्रीकांत त्यागी प्रकरण : त्यागी समाज की महापंचायत पर ग्रैंड ओमेक्स सोसाइटी वासियों का मौन विरोध

Grand omex 1
locationभारत
userचेतना मंच
calendar21 Aug 2022 06:23 PM
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Noida : नोएडा। महिला से बदसलूकी प्रकरण थमने का नाम नहीं ले रहा है। एक तरफ जहां मुखर हो त्यागी समाज ने आज नोएडा में महापंचायत बुलाई है, वहीं ग्रैंड ओमेक्स सोसाइटी मौन तरीके से अपना विरोध दर्ज करा रहे हैं। दोनों गुटों के बीच पोस्टर वार शुरु हो गया है। जहां महापंचायत में लगे पोस्टर इस प्रकरण के त्यागी समाज के सम्मान से जोड़ा जा रहा है, वहीं ग्रैंड ओमेक्स सोसाइटी के निवासी पूरी सोसायटी में पोस्टर लगा कर अन्याय के विरुद्ध एकजुट होकर संघर्ष करने का संदेश दे रहे हैं। नोएडा के सेक्टर 93-बी स्थित ग्रैंड ओमेक्स सोसाइटी में लगे पोस्टर में सोसाइटी के लोग मौन तरीके से अपना विरोध दर्ज करा रहे हैं। पोस्टरों में लिखा है, एकजुट रेजिडेंट्स अन्याय के खिलाफ है उत्पीडन, दबंगई महिलाओं का अपमान, गाली-गलौज अतिक्रमण को हम ना बोलते हैं। आरडब्ल्यूए ग्रैंड ओमेक्स सोसाइटी की महासचिव महिमा जोशी ने कहा कि 5 अगस्त को एक महिला से बदसलूकी प्रकरण इतना तूल पकड जायेगा, ऐसी उम्मीद किसी को भी नहीं थी। सोसायटी के लोगों का भी यही मानना है। यह मामला जिस प्रकार से तूल पकड़ गया है, ऐसा नहीं होना चाहिए था, अगर वह सोसायटी के कानून के तहत रहकर हमारी बात को समझते तो। उन्होंने सोसाइटी का नियम तोड़ा, दूसरा गलत काम उन्होंने यह किया कि एक महिला के साथ अभद्र व्यवहार किया। उन्होंने इस तरह के शब्दों का प्रयोग किया जो अतिनिंदनीय है। उन्होंने बहुत ही गलत व्यवहार किया। इसी वजह से इस मामले ने इतना तूल पकड़ा। जो हमारी लड़ाई है, किसी समाज के खिलाफ नहीं है। हमारे वहां जो भी घटना घटी, वह किसी समाज के खिलाफ नहीं, एक व्यक्ति विशेष के खिलाफ है। दूसरी ओर, संयुक्त त्यागी स्वाभिमान मोर्चा के आह्वान पर सुबह 10 बजे से शुरु हुई महापंचायत में इस मुद्दे को त्यागी समाज के सम्मान से जोडा जा रहा है। त्यागी समाज के लोगों का कहना है कि श्रीकांत को गलती की सजा मिलनी चाहिए, लेकिन पुलिस ने उसकी पत्नी अनु त्यागी और मामी को थाने में बुलाकर प्रताड़ित किया, जो गलत है। मामी को पांच दिन पुलिस जीप में लेकर घूमती रही। बच्चों को खाना देने पहुंचे छह युवकों पर भी केस दर्ज किया गया। श्रीकांत मामले में छह युवकों पर राजनीति से प्रेरित होकर केस दर्ज किया गया। इसे बिना शर्त हटाया जाना चाहिए। साथ ही, मामले की उच्चस्तरीय जांच कराई जानी चाहिए। साथ ही, श्रीकांत से गैंगस्टर एक्ट हटाया जाना चाहिए।
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Farmers Protest : एक और बड़ा आंदोलन करेंगे देश के किसान : टिकैत

Rakesh Tikait with farmers
locationभारत
userचेतना मंच
calendar01 Dec 2025 01:18 AM
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Lakhimpur khiri / New Delhi : लखमीपुर खीरी/दिल्ली। केन्द्र सरकार के गृह राज्य मंत्री (State Minister for Home) अजय कुमार मिश्रा (Ajay a kumar Mishra ) उर्फ  'टेनी' को बर्खास्त करने तथा (MSP )पर कानून बनाने समेत अनेक मांगों को लेकर किसानों का 75 घंटे वाला धरना प्रदर्शन सम्पन्न हो गया है। इस धरने की सफलता से किसान नेता उत्साहित नजर आ रहे हैं। इस बीच प्रसिद्ध किसान नेता राकेश टिकैत ने घोषणा कर दी है कि आगामी 6 सितंबर को दिल्ली में संयुक्त किसान मोर्चा SKM की एक अति महत्वपूर्ण बैठक होगी। इस बैठक में किसान संगठन आंदोलन की आगामी रूपरेखा तैयार करेंगे।
आपको बता दें कि केंद्रीय मंत्री अजय कुमार मिश्रा 'टेनी' को हटाने और न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की गारंटी देने संबंधी एक कानून बनाए जाने समेत अन्य मांगों को लेकर किसानों का धरना शीर्ष जिला अधिकारियों के साथ बातचीत के बाद शनिवार को समाप्त हो गया। संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) के नेता राकेश टिकैत ने यह जानकारी दी।
किसानों को संबोधित करते हुए टिकैत ने कहा कि छह सितंबर को दिल्ली में एक बैठक के दौरान एसकेएम की भविष्य की रणनीति तैयार की जाएगी। एसकेएम द्वारा आयोजित रोड मार्च, केंद्रीय मंत्री अजय कुमार मिश्रा को हटाने और एमएसपी पर कानून की मांग को लेकर धरना शनिवार दोपहर बाद समाप्त हो गया। जिला प्रशासन के अधिकारियों के साथ सफल बातचीत और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ किसानों की बैठक आयोजित करने का आश्वासन मिलने के बाद किसानों ने अपना धरना समाप्त कर दिया। जिलाधिकारी महेंद्र बहादुर सिंह सहित जिला प्रशासन के अन्य अधिकारी अपराह्न लगभग 2.30 बजे धरना स्थल पर पहुंचे और किसानों का ज्ञापन प्राप्त किया जिसके बाद उन्होंने धरना समाप्त कर दिया। जिला प्रशासन ने जिले में कानून-व्यवस्था की स्थिति के मद्देनजर शहर की सड़कों पर मार्च नहीं निकालने दिया। एसकेएम ने गुरुवार सुबह लखीमपुर शहर के राजापुर मंडी समिति में अपना धरना शुरू किया था। एसकेएम ने गृह राज्य मंत्री अजय कुमार मिश्रा को बर्खास्त करने, जेलों में पड़े निर्दोष किसानों की रिहाई, एमएसपी गारंटी कानून, बिजली संशोधन विधेयक 2022 को वापस लेने, गन्ना बकाए का भुगतान और सरकार के भूमि अधिकार समेत अपनी विभिन्न मांगों को लेकर धरना दिया था।
लखीमपुर खीरी केंद्रीय गृह राज्य मंत्री का पैतृक जिला है और वह खीरी से लगातार दूसरी बार भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सांसद हैं। पिछले साल तीन अक्तूबर को लखीमपुर खीरी जिले में अजय मिश्रा के गांव जा रहे उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के दौरे का किसानों द्वारा विरोध करने के दौरान तिकोनिया गांव में हुई हिंसा में चार किसानों समेत आठ लोग मारे गए थे। इस मामले में मंत्री के बेटे आशीष मिश्रा को बतौर मुख्य अभियुक्त गिरफ्तार किया गया है।
इससे पहले राकेश टिकैत, जोगिंदर सिंह उग्रा, दिलबाग सिंह संधू, रंजीत सिंह राजू, रविंदर सिंह पटियाला, गुर अमनप्रीत सिंह मंगत सहित एसकेएम नेताओं के प्रतिनिधिमंडल ने पुलिस उपमहानिरीक्षक अखिलेश चौरसिया, जिलाधिकारी महेंद्र बहादुर सिंह समेत आला अधिकारियों के साथ मंडी समिति कार्यालय में बैठक की थी।
इस बीच, एसकेएम कोर कमेटी के सदस्यों तजिंदर सिंह विर्क और डॉ आशीष मित्तल सहित अन्य सदस्यों ने आंदोलन में शामिल किसानों को बताया कि धरना समाप्त कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि एसकेएम ने मांगों को लेकर जिला प्रशासन को दो ज्ञापन सौंपे, जिनमें से एक उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और दूसरा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को संबोधित था।
एसकेएम नेताओं ने बताया कि मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन में एसकेएम ने चार अक्तूबर, 2021 को भारतीय किसान यूनियन (टिकैत) नेता राकेश टिकैत और उत्तर प्रदेश सरकार के अधिकारियों के बीच हुए समझौते को पूरी तरह से लागू करने की मांग की है।
श्री टिकैत ने चेतना मंच को बताया कि किसान एक और बड़े आंदोलन की तैयारी कर रहे हैं। यह आंदोलन कब और कैसे शुरू होगा। इस पर वार्ता करने के लिए सभी किसान नेता 6 सितंबर को दिल्ली में बैठक करेंगे।
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Disaster : पहाड़ पर बारिश का कहर, अब तक 19 लोगों की मौत

Flood in Himachal
locationभारत
userचेतना मंच
calendar02 Dec 2025 04:32 AM
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Shimla : शिमला। हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) में लगातार मूसलाधार बारिश (Torrential Rain) से बड़ी तबाही हुई है। बाढ़ और भूस्खलन (Floods and Landslides) से अब तक 19 लोगों की मौत हो चुकी है। जबकि 06 लोग लापता बताए जा रहे हैं। यह जानकारी प्रदेश के सीएम जयराम ठाकुर (CM Jairam thakur) ने दी है। जयराम ठाकुर ने बताया कि कल से हिमाचल प्रदेश में भारी बारिश के कारण बहुत जान-माल का नुकसान हुआ है। अब तक 19 लोगों की मृत्यु हुई है। 6 लोग लापता हैं। मृतकों के परिवार को सरकार की तरफ से मुआवजा (Compensation)  दिया जाएगा और उनकी पूरी मदद की जाएगी। इसके साथ ही हमीरपुर जिले में बाढ़ में फंसे 22 लोगों को निकालकर उन्हें सुरक्षित स्थानों पर ले जाया गया है। सीएम जयराम ठाकुर ने कहा कि प्रदेशभर में भारी बारिश के कारण जान-माल का नुकसान होने की सूचनाएं मिलने से बहुत दुःखी हूं। हमने राज्य के सभी जिला प्रशासनों को राहत एवं बचाव कार्य के आदेश दे दिए हैं। स्थानीय प्रशासन द्वारा संबंधित क्षेत्रों में राहत एवं बचाव कार्य युद्धस्तर पर किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि निश्चित तौर पर प्रभावित परिवारों को हरसंभव सहायता दी जाएगी। प्रदेशवासियों से मैं पुनः विनम्र आग्रह करना चाहूंगा कि भूस्खलन संभावित क्षेत्रों, नदी-नालों के करीब न जाएं और अनावश्यक यात्रा से बचें। ऐसी स्थिति में सरकार व प्रशासन का सहयोग करें। भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि हिमाचल प्रदेश में कई जगहों पर आई प्राकृतिक आपदा से हुई जनहानि का समाचार अत्यंत पीड़ादायक है। मेरी संवेदनाएं पीड़ित परिजनों के साथ है। शासन प्रशासन युद्ध स्तर पर राहत एवं बचाव कार्य पर जुटे हुए हैं। ईश्वर दिवंगत आत्माओं को अपने श्री चरणों में स्थान दे। कांगड़ा जिले में चक्की पुल के ढह जाने के बाद जोगिंदर नगर एवं पठानकोट मार्ग के बीच ट्रेन सेवा निलंबित कर दी गई। चंबा जिले में बारिश के कारण भूस्खलन होने के बाद एक मकान के ढह जाने से तीन लोगों की मौत हो गई। चंबा जिला आपातकालीन अभियान केंद्र ने बताया कि चौवारी तहसील के बनेत गांव में शनिवार तड़के करीब साढ़े चार बजे भूस्खलन हुआ, जिसके बाद मकान ढह गया और तीन लोगों की मौत हो गई। अधिकारियों ने बताया कि मंडी जिले में भारी बारिश के कारण अचानक आई बाढ़ और भूस्खलन से एक लड़की की मौत हो गई, जबकि 13 अन्य लोगों के भी मारे जाने की आशंका है। राज्य आपदा प्रबंधन विभाग के अधिकारियों के मुताबिक, मंडी में शुक्रवार रात मंडी-कटोला-पराशर मार्ग पर बाघी नाले में एक लड़की का शव उसके घर से करीब आधा किलोमीटर दूर बरामद किया गया। उन्होंने बताया कि बाढ़ में लड़की के परिवार के पांच सदस्यों के भी बह जाने की सूचना है। विभाग के अनुसार, बादल फटने के बाद कई परिवारों ने बागी से पुराने कटोला क्षेत्र के बीच स्थित अपने घरों को छोड़ दिया और सुरक्षित स्थानों पर शरण ली।