Tuesday, 26 November 2024

by Election 2022 : क्या मैनपुरी में मुलायम का लिहाज करेंगे प्रधानमंत्री मोदी

राजकुमार चौधरी Mainpuri by Election 2022 : मैनपुरी। उत्तर प्रदेश की मैनपुरी (Mainpuri) लोकसभा सीट (Lok Sabha Seat) का उप…

by Election 2022 : क्या मैनपुरी में मुलायम का लिहाज करेंगे प्रधानमंत्री मोदी

राजकुमार चौधरी
Mainpuri by Election 2022 : मैनपुरी। उत्तर प्रदेश की मैनपुरी (Mainpuri) लोकसभा सीट (Lok Sabha Seat) का उप चुनाव  (by Election) रोचक बन चुका है। इस चुनावी समर के बीच कई सवाल लोगों के मन में हिलोरे मार रहे हैं। समाजवादी पार्टी  (Samajwadi Party) के इस अभेद दुर्ग को ढहाने के लिए भाजपा कार्यकर्ता दिन-रात एक किए हुए हैं, क्या प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi ) इस समर में इन कार्यकर्ताओं की अगुवाई करेंगे? ये यक्ष प्रश्न भाजपा के जमीनी कार्यकर्ताओं के बीच चर्चा का विषय बना हुआ है। अभी तक मोदी की कोई जनसभा मैनपुरी में प्रस्तावित नहीं है। जबकि यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Chief Minister Yogi Adityanath) का दौरा कंफर्म हो चुका है।

गौरतलब है कि देश की राजधानी दिल्ली से तकरीबन साढे तीन सौ किलोमीटर की दूरी पर यूपी के पूर्वी क्षेत्र में पडऩे वाली मैनपुरी लोकसभा सीट पर 1991 से समाजवादी विचारधारा वाले नेताओं का वर्चस्व है। विख्यात कवि और सपा के संस्थापक अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव (Mulyam Singh Yadav)  को राजनीतिक पगडंडिय़ों पर अंगुली पकड़कर चलाने वाले पूर्व सांसद व देश के विख्यात कवि उदय प्रताप सिंह (Former MP and country’s famous poet Uday Pratap Singh) इस सीट का प्रतिनिधित्व देश की सबसे बडी पंचायत में कर चुके है। यश भारती (Yash Bharti)  सम्मान से पुरूस्कृत श्री सिंह से ये सीट मुलायम ने मांगी थी और उन्होने अपने धुर राजनीतिक विरोधी पूर्व केन्द्रीय मंत्री बलराम सिंह यादव (Former Union Minister Balram Singh Yadav) को इस सीट से सपा सांसद बनाया। बलराम सिंह (Balram Singh Yadav)उन दिनों कांग्रेस पार्टी के बडे नेताओं में शुमार थे।

चेतना मंच (Chetna Manch) के साथ एक विशेष बातचीत के दौरान विख्यात कवि और गजलकार उदय प्रताप सिंह ने बताया कि मुलायम सिंह यादव का दिल विरोधियों के लिए भी धडकता था और वे राजनीति के पक्के पहलवान थे। मुलायम ने जब यह सीट उनसे ली थी तो उनसे पूछा था कि क्या मै यहां से बलराम सिंह यादव को समाजवादी पार्टी की साइकिल पर सवार कर दिल्ली भेज सकता हूं। मैने उनसे बिना कोई सवाल पूछे कहा था कि आप पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष है जो फैसला करेंगे हमें मंजूर होगा। वे अपने राजनीतिक विरोधियों को बडी आसानी से साध लेते थे। इसमें उनका सौम्य स्वभाव हमेशा काम आता था।

इतिहास के पन्नों को पलटें तो पता चला है कि संसद में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले ही एक संसद सत्र के दौरान ही मुलायम सिंह ने अग्रिम बधाई दे दी थी। मुलायम सिंह के इस ब्यान को लेकर मीडिया में खूब हो-हल्ला हुआ था। कई नेताओं ने तो समाजवादी पार्टी की विचारधारा पर भी प्रश्नचिन्ह लगाने का भरसक प्रयास किया था। शायद इसी सौम्य व्यवहार का असर ये हुआ था कि भारतीय जनता पार्टी के सबसे अधिक महत्वपूर्ण और स्टार प्रचारक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 2019 के चुनाव में पश्चिमी यूपी के अलीगढ़, एटा, गौतमबुद्धनगर, आगरा, फिरोजाबाद वे प्रदेश की राजधानी लखनउ में तो जनसभाएं की लेकिन मैनपुरी को टच नहीं किया था।

अब मुलायम दिवंगत हो चुके हैं। उनके निधन पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने तीन टवीट किए। गुडग़ांव के मेदांता अस्पताल में निधन के कुछ देर बाद केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह केन्द्र सरकार की ओर से अपनी संवेदनाएं व्यक्त करने के लिए अस्पताल पहुंचे थे। दिल्ली से मुलायम सिंह यादव के शव को सड़क मार्ग से उनके परिजन दिल्ली से सैफई लेकर पहुचे थे। सैफई में मुलायम के पार्थिव शरीर को श्रद्वांजलि देने वालो में यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सबसे पहले पहुंचे थे। लेकिन अब साख की बात है। समाजवादी पार्टी के पास चरखा दांव लगाने वाले मुलायम सिंह यादव नहीं हैं। हालांकि मैनपुरी लोकसभा सीट पर उप चुनाव में सपा प्रत्याशी डिंपल यादव के पक्ष में प्रचार करने के लिए पूर्व मुख्यमंत्री और सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव सात साल से नाराज चल रहे प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के मुखिया और अखिलेश के सगे चाचा शिवपाल सिंह यादव, समाजवादी पार्टी में थिंक टैंक माने जाने वाले प्रोफेसर रामगोपाल यादव एक मंच पर आ चुके हैं। यादव परिवार डोर-टू-डोर वोट मांग रहा है। समाजवादी पार्टी के तमाम विधायक पूर्व विधायक व प्रभावशाली नेता इस चुनाव में लगे हुए हैं। फूलन देवी की बड़ी बहन भी इस चुनाव में घर-घर जाकर वोट मांग रही है।
भारतीय जनता पार्टी ने इस सीट पर कभी शिवपाल यादव के बेहद करीबी रहे रघुराज सिंह शाक्य को चुनाव में उतार है। उनके सहयोग के लिए पार्टी ने मुलायम सिंह के अंगरक्षक रहे और आगरा के सांसद केन्द्रीय मंत्री एसपी सिंह बघेल, उत्तर प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष चौधरी भूपेन्द्र सिंह, यूपी के पर्यटन और संस्कृति मंत्री मैनपुरी सदर के विधायक जयवीर सिंह, पूर्व मंत्री और भोगांव के विधायक राम नरेश अग्निहोत्री के अलावा पांच केन्द्रीय पर्यवेक्षकों को चुनाव में लगा रखा है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की जनसभाओं का ब्लू प्रिंट फाईनल हो गया है। वे गुजरात दौरे के बीच 27 नवंबर रविवार को यहां अलग अलग इलाकों में जन संर्पक करेंगें। लेकिन इस वर्चस्व की लड़ाई के बीच एक यक्ष प्रश्न मुंह बाए खड़ा है। क्या प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी दिवंगत मुलायम सिंह यादव का लिहाज करेंगे ? वे पहले चुनावों की तरह मैनपुरी भी प्रचार के लिए नहीं आएंगे इसे लेकर अभी संशय है। आज से ठीक 11 दिन बाद 5 दिसंबर को मैनपुरी में वोट पड़ेंगे। भाजपा के प्रवक्ता सौरभ दुबे ने बताया कि अभी तक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की जनसभा का कोई कार्यक्रम नहीं मिला है। प्रत्याशी की ओर से केन्द्रीय नेतृत्व से पीएम की जनसभा का कार्यक्रम मांगा गया है।

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