Farmer Protest : एमएसपी (MSP) के साथ अपने तमाम मुद्दों को लेकर एक बार फिर से किसानों ने दिल्ली कूच कर लिया है। किसानों की बढ़ती भीड़ को देखते हुए अब सरकार ने किसानों के साथ बातचीत करने की तैयार कर ली है। वहीं अब सरकार किसानों की तरफ से बातचीत का प्रस्ताव आने का इंतजार कर रही है। जानकारी के अनुसार सरकार के वरिष्ठ मंत्री लगातार इस मुद्दे पर चर्चा कर रहे हैं। इससे पहले सोमवार (13 फरवरी) को किसानों और सरकार के मंत्रियों के बीच सोमवार को चंडीगढ़ में बातचीत हुई थी। हालांकि, यह बातचीत बेनतीजा रही। इस बातचीत के दौरान केंद्रीय मंत्री वहां बैठे रहे थे, लेकिन किसान उठकर चले गए थे।
बातचीत में केंद्रीय मंत्री थे शामिल
सरकार और किसान नेताओं के साथ सोमवार (12 फरवरी) की रात को हुई बैठक बेनतीजा रही। इस बैठक में सरकार की तरफ से केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल के साथ केंद्रीय कृषि मंत्री अर्जुन मुंडा भी शामिल हुए थे। इस दौरान उन्होंने कहा था कि ज्यादातर मुद्दों पर सहमति बन गई है, लेकिन सरकार ने प्रस्ताव रखा है कि जो बचे हुए मुद्दे हैं। उसको लेकर एक समिति का गठन किया जाए और इसके जरिए इन्हें सुलझाया जाए। वहीं, बैठक में केंद्र ने 2020-21 के आंदोलन के दौरान किसानों के खिलाफ दर्ज मामले वापस लेने पर सहमति जताई थी। हालांकि, किसान नेता फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की गारंटी देने वाले कानून को बनाने की मांग पर अड़े हुए हैं। किसान नेताओं का कहना है कि सरकार की मंशा साफ नहीं है।
केंद्रीय कृषि मंत्री ने किसानों से की अपील
वहीं केंद्रीय कृषि मंत्री अर्जुन मुंडा ने कहा है कि किसान संगठनों को यह समझना होगा कि जिस कानून की बात की जा रही है। उस कानून के बारे में इस तरीके से कोई निर्णय नहीं लिया जा सकता। जिससे बाद के दिनों में सबके लिए बगैर सोची समझी स्थिति के बार में लोग आलोचना करें। हमें यह कोशिश करनी चाहिए हम इसके सभी पक्षों का ध्यान रखें। किसानों को इस बात का भी ध्यान रखना पड़ेगा कि आम जनजीवन को बाधित ना करें, आम जनजीवन किसी तरह से परेशान ना हो।
Farmer Protest
क्या है किसानों को पूरी मांग ?
आपको बता दें किसान आंदोलन का मकसद संयुक्त किसान मोर्चा और किसान मजदूर मोर्चा फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य की गारंटी के लिए कानून बनाने और कर्ज माफी करना है। जिसके लिए यह आंदोलन एक बार फिर से शुरू किया गया है। मंगलवार को, पंजाब के किसानों ने हरियाणा-पंजाब के दो सीमा बिंदुओं पर उन्हें दिल्ली जाने से रोकने के लिए लगाए गए अवरोधक तोड़ने की कोशिश की, जिसके बाद पुलिस ने उन पर आंसू गैस के गोले छोड़े। कुछ आंसू गैस के गोले ड्रोन से भी छोड़े गए। वहीं अब भी दिल्ली और हरियाणा बॉर्डर पर किसानों की ओर से विरोध किया जा रहा है।
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