Thursday, 28 November 2024

Gyanvapi Case : हाईकोर्ट से मुस्लिम पक्ष को बड़ा झटका, व्यास तहखाने में जारी रहेगी पूजा

Gyanvapi Case : उत्तर प्रदेश के वाराणसी में स्थित ज्ञानवापी परिसर में व्यास जी के तहखाने में पूजा होने या…

Gyanvapi Case : हाईकोर्ट से मुस्लिम पक्ष को बड़ा झटका, व्यास तहखाने में जारी रहेगी पूजा

Gyanvapi Case : उत्तर प्रदेश के वाराणसी में स्थित ज्ञानवापी परिसर में व्यास जी के तहखाने में पूजा होने या न होने के मामले को लेकर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने फैसला सुनाया है। हाईकोर्ट ने मुस्लिम पक्ष की याचिका खारिज करते हुए व्यास तहखाने में हिंदू पक्ष की पूजा को जारी रखने का आदेश दिया है। यहां से भी मुस्लिम पक्ष को निराशा ही हाथ लगी और इलाहाबाद हाई कोर्ट ने ज्ञानवापी के व्यास तहखाने में हिंदुओं की पूजा का अधिकार सुरक्षित रखा।

Gyanvapi Case

इलाहाबाद हाईकोर्ट के जस्टिस रोहित रंजन अग्रवाल की सिंगल बेंच से सोमवार को ये फैसला आया है। अदालत ने पूजा करने की अनुमति दे दी है। मुस्लिम पक्ष यानी अंजुमन इंतजामिया मसाजिद कमेटी ने जिला जज वाराणसी के पूजा शुरू कराए जाने के आदेश को हाईकोर्ट में चुनौती दी थी।

हाईकोर्ट का फैसला सुरक्षित

अदालत ने वाराणसी जिला जज के 31 जनवरी के पूजा शुरू कराए जाने के आदेश को सही करार दिया है। हाईकोर्ट के इस आदेश से व्यास तहखाने में पूजा जारी रहेगी। हाई कोर्ट ने व्यास जी के तहखाने में पूजा पर रोक नहीं लगाई। हाईकोर्ट से अर्जी खारिज होने की वजह से मुस्लिम पक्ष को बड़ा झटका लगा। हाई कोर्ट ने 15 फरवरी को दोनों पक्षों की लंबी बहस के बाद फैसला सुरक्षित कर लिया था। पांच कार्य दिवसों पर हुई सुनवाई के बाद अदालत ने जजमेंट रिजर्व कर लिया था। बता दें कि इस मामले में हिंदू पक्ष की ओर से सुप्रीम कोर्ट के सीनियर एडवोकेट सी एस वैद्यनाथन और विष्णु शंकर जैन ने बहस की थी।

जिला जज के फैसले को दी थी चुनौती

अंजुमन इंतजामिया मसाजिद कमेटी ने जिला जज के 17 जनवरी और 31 जनवरी 2024 के फैसले को चुनौती दी है। जिला जज ने 31 जनवरी को तहखाना में पूजा शुरू कराए जाने का आदेश दिया था। जिला जज के आदेश पर उसी दिन देर रात तहखाने को खोलकर पूजा अर्चना शुरू करा दी गई थी। हाईकोर्ट ने जिला जज के आदेश पर रोक नहीं लगाई थी जिसके चलते जिला कोर्ट के आदेश के तहत व्यास जी तहखाने में पूजा अर्चना हो रही है। आपको बता दें कि मुस्लिम पक्ष की ओर से सीनियर एडवोकेट सैयद फरमान अहमद नकवी और यूपी सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड के अधिवक्ता पुनीत गुप्ता ने पक्ष रखा था। काशी विश्वनाथ ट्रस्ट की ओर से अधिवक्ता विनीत संकल्प ने दलीलें पेश की थीं। मुस्लिम पक्ष अंजुमन इंतजामिया मसाजिद कमेटी ने व्यास जी तहखाने में पूजा अर्चना की इजाजत दिए जाने के जिला जज वाराणसी के फैसले को चुनौती दी थी।

शादी का झांसा देकर बनाए शारीरिक संबंध, गर्भवती होने पर आरोपी ने दिखाया असली रंग

ग्रेटर नोएडा – नोएडा की खबरों से अपडेट रहने के लिए चेतना मंच से जुड़े रहें।

देशदुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमें  फेसबुक  पर लाइक करें या  ट्विटर  पर फॉलो करें।

Related Post