UP News: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में स्थित जयप्रकाश नारायण अंतरराष्ट्रीय केंद्र को लेकर सियासी घमासान जारी है। बता दें कि जयप्रकाश नारायण अंतरराष्ट्रीय केंद्र अखिलेश यादव का ड्रीम प्रोजेक्ट है जिसका निर्माण साल 2016 में सपा सरकार में कराया गया था।
JPNIC को लेकर क्यों मचा बवाल
लखनऊ स्थिति जय प्रकाश नारायण इंटरनेशनल कन्वेंशन सेंटर के गेट पर टीन का शेड लगाए जाने के बाद समाजवादी पार्टी ने मोर्चा खोल दिया है। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव आज जय प्रकाश नारायण की जयंती पर माल्यार्पण के लिए आने वाले थे, लेकिन उससे पहले सुबह से ही सपा अध्यक्ष के आवास पर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया है। जिसके बाद इस मामले पर बवाल बढ़ने की आशंका है।
Akhilesh Yadav पहुंचें JPNIC
इससे पहले गुरुवार देर रात जब अखिलेश यादव के JPNIC के गेट को सील करने की खबर मिली तो सपा अध्यक्ष JPNIC पहुँच गए। जिसके बाद खूब सियासी ड्रामा भी देखने को मिला। अखिलेश यादव ने योगी सरकार पर इसे बेचने की कोशिश करने का आरोप लगाया और सवाल किया है कि सरकार आखिर क्या छुपाने की कोशिश कर रही है। UP News
भाजपा पर कसा तंज
अखिलेश यादव ने भाजपा पर तीखा हमला करते हुए कहा कि वे आज जयप्रकाश नारायण को श्रद्धांजलि देने के लिए कार्यक्रम तय करेंगे। उन्होंने पूछा कि भाजपा कब तक JPNIC को टिन की चादरों से ढककर बंद रखेगी? साथ ही अखिलेश यादव ट्विटर पर एक पोस्ट में भाजपा के शासन को ‘आजादी का दिखावटी अमृतकाल’ कहा और इसे पार्टी की ‘संकीर्ण सोच’ का प्रतीक बताया। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा जयप्रकाश नारायण जैसे स्वतंत्रता सेनानियों के प्रति द्वेष रखती है। अखिलेश ने कहा कि भाजपा के सदस्यों ने स्वतंत्रता संग्राम में भाग नहीं लिया। इसलिए वे क्रांतिकारियों को उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि देने से भी कतराते हैं। उन्होंने इसे निंदनीय करार दिया।
लखनऊ विकास प्राधिकरण ने जारी किया पत्र
लखनऊ विकास प्राधिकरण ने अखिलेश यादव के JPNIC दौरे को लेकर एक पत्र जारी किया। जिसमें कहा गया कि यह एक निर्माणाधीन स्थल है, जहां सामग्री फैली हुई है और बारिश के कारण वहां कीड़े हो सकते हैं। उन्होंने सुरक्षा चिंताओं का हवाला देते हुए कहा कि जेड प्लस सुरक्षा प्राप्त अखिलेश यादव के लिए वहां जाना सुरक्षित नहीं है। UP News
अखिलेश यादव का ड्रीम प्रोजेक्ट
जेपीएनआईसी अखिलेश यादव का ड्रीम प्रोजेक्ट है जिसका निर्माण साल 2016 में सपा सरकार में कराया गया था। इसे बनाने में 864 करोड़ की लागत आई थी। इसमें समाजवादी चिंतक जय प्रकाश नारायण की प्रतिमा भी लगी है। जहां हर साल समाजवादी कार्यक्रम होते रहे हैं। साल 2017 तक इसका 80 फीसद निर्माण कार्य हो चुका था। लेकिन योगी सरकार आने के बाद इमारत का काम बंद हो गया।
JPNIC का निर्माण
जेपीएनआईसी का निर्माण रियल एस्टेदट कंपनी शालीमार के द्वारा किया गया जो इंडिया हैबिटेट सेंटर की तर्ज पर बनाया गया था। 18 मंजिला इस इमारत में पार्किंग, जेपी नारायण से जुड़ा एक म्यू जियम, बैडमिंटन कोर्ट, लॉन टेनिस खेलने की व्यावस्था है। इस भवन में 100 कमरों का एक बड़ा सा गेस्ट हाउस बनाया है और एक ऑल वेदर स्वीमिंग पूल भी है। इसकी छत पर एक हेलीपैड भी बनाया गया है।
JPNIC को लेकर विवाद
साल 2017 में जब योगी आदित्यनाथ की सरकार आई तो इसका निर्माण कार्य रुक गया। सरकार ने जेपीएनआईसी के निर्माण कार्य में गड़बड़ी की जाँच के आदेश दिए हैं। लखनऊ विकास प्राधिकरण इसकी जांच कर रहा है। यहाँ पर महंगी टाइल्स लगाई थी, जिस पर घास उग आई है। सपा का कहना है कि ये समाजवादियों के लिए सम्मान की जगह है। लेकिन योगी सरकार इसे बेचना चाहती है। UP News
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