Karnataka Temple: भारत को मंदिरों का देश कहा जाता है । यहां पर कई ऐसे प्राचीन मंदिर है जो अपने आप मे भारतीय संस्कृति और सभ्यता को समेटे हुए है । यहाँ के हर एक मंदिर की अपनी विशेष परंपरा और मान्यता है जिसके चलते हुए वे प्रसिद्ध होते है । ऐसा ही एक मंदिर कर्नाटक मे भी है जिसका नाम श्री मुडी हनुमंत देवालय है । यहा के लोगों की मान्यता है कि इस मंदिर में दर्शन करने से व्यक्ति के सभी शारीरिक दोष दूर हो जाते हैं।
Karnataka Temple
मंदिर का निर्माण एक घर की तरह:
गांव वालों की मान्यताओं के अनुसार भगवान शिव के ग्यारहवें रुद्रावतार श्री मुडी हनुमंत मंदिर का निर्माण 10वीं से 12वीं सदी के बीच चालुक्य शासनकाल के दौरान करवाया गया था। यहां भगवान सूर्यदेव की प्रतिमा स्थापित की गई है। इस मंदिर के मुख्य देवता हनुमानजी है। कहा जाता है यहां हनुमान जी के तीन स्वरुपों के दर्शन होते हैं। सुबह वह अपने बालरूप में होते हैं, दोपहर में युवा हनुमान और संध्याकाल में वृद्ध हनुमान के दर्शन होते हैं। इस मंदिर का निर्माण एक घर की तरह किया गया है। इस मन्दिर प्रांगड़ मे एक मुख्य मंदिर है जिसमे पांच सिरों वाले शेषनाग की प्रतिमा है। इस मंदिर का आकार वर्गाकार है। माना जाता है कि शेषनाग की प्रतिमा में ही हनुमानजी के दर्शन होते हैं। मान्यता है की इसी प्रतिमा के दर्शन से शरीर के सभी हिस्सों का दर्द दूर हो जाता है।
Karnataka Temple
ऐसे दूर करते है रोग को हनुमान जी:
कहा जाता है जो भी सच्चे मन से और श्रद्धा से यहाँ आता है उसकी मनोकामना जरुर पूरी होती है । यहा आने वाले हर एक व्यक्ति चाहे कोई बूढ़ा, युवा, पुरुष या महिला गठिया, मांसपेशियों में ऐंठन, पीठ दर्द, पैर दर्द, घुटने का दर्द या किसी अन्य स्वास्थ्य समस्या के साथ आ रहा हो, यदि वह अपने शरीर के रोगी अंग को यहां स्थित पत्थर पर रगड़े तो सभी रोग और व्याधियां दूर हो जाती हैं।यहां आने वाले सभी श्रद्धालुओं का हनुमान बाबा पर अटूट विश्वास है ।
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