जाने क्या कभी बरामद हो पाएंगे लूवर से चोरी हुए ऐतिहासिक गहने?

यह घटना फ्रांस के सांस्कृतिक धरोहरों पर एक बड़ा हमला है, और जांच अभी भी जारी है। पुलिस और सुरक्षा एजेंसियां इस बात का पता लगाने में लगी हैं कि चोरी कैसे इतनी आसानी से हुई और किन वस्तुओं को चुरा लिया गया। इस घटना ने विश्वभर में कला और ऐतिहासिक वस्तुओं की सुरक्षा पर सवाल खड़े कर दिए हैं।

Louvre Museum in Paris
पेरिस के लूवर म्यूज़ियम (फाइल फोटो)
locationभारत
userऋषि तिवारी
calendar06 Dec 2025 02:59 PM
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पेरिस, फ्रांस — दुनिया के सबसे बड़े और प्रसिद्ध म्यूज़ियम, लूवर में रविवार सुबह एक असाधारण चोरी की घटना ने सभी को चौंका दिया है। इस घटना में सात मिनट के भीतर, चोरों ने कई कीमती गहने और ऐतिहासिक वस्तुएं चुरा लीं, जिनका सांस्कृतिक और ऐतिहासिक महत्व बेहद बड़ा है। 

फ़्रांस की संस्कृति मंत्री राशिदा दाती ने ट्विटर पर बताया कि यह चोरी सुबह लगभग 9:30 बजे हुई, जब म्यूज़ियम खुल रहा था। उन्होंने कहा कि मौके पर मौजूद हैं और पुलिस जांच कर रही है। बाद में उन्होंने यह भी कहा कि चोरी हुआ एक गहना घटनास्थल के पास मिला है, संभवतः गिर गया था और उसकी जांच जारी है। अभी तक यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि वह कौन-सी वस्तु है।

मंत्री ने बताया कि चोरों ने 'पेशेवर तरीके' से काम किया, बिना किसी हिंसा या घबराहट के। इस घटना में किसी के हताहत होने की कोई खबर नहीं है। म्यूज़ियम की ओर से कहा गया है कि "विशेष कारणों" से दिनभर के लिए म्यूज़ियम बंद रहेगा, लेकिन विस्तृत जानकारी नहीं दी गई है।

कैसे हुई चोरी?

गृह मंत्रालय के अनुसार, स्थानीय समयानुसार सुबह लगभग 9:30 बजे, तीन से चार चोरों ने एक खिड़की तोड़कर अपोलो गैलरी में प्रवेश किया। यह गैलरी सीन नदी के किनारे स्थित है और इसमें फ्रांसीसी क्राउन ज्वेल्स के अवशेष रखे हैं। चोरों ने ट्रक पर लगे फोर्कलिफ्ट का इस्तेमाल कर गैलरी के अंदर पहुंचे और कीमती गहने चुरा लिए। फिर मोटरसाइकिलों पर भाग गए। जांचकर्ता अब यह पता लगाने में लगे हैं कि किन वस्तुओं को चोरी किया गया है।

क्या चोरी हुई वस्तुएं हैं?

चोरी गए वस्तुओं में फ्रांसीसी क्रांति के बाद खोए हुए और बिके गए खजाने शामिल हैं, जिनमें सम्राट नेपोलियन, उनके भतीजे नेपोलियन तृतीय और उनकी पत्नियों कीमती गहने भी हैं। सबसे अधिक मूल्यवान वस्तुएं तीन प्रसिद्ध हीरे हैं — रीजेंट, सैंसी और हॉर्टेंसिया। इनमें से कुछ गहने विश्व प्रसिद्ध हैं और उनका ऐतिहासिक महत्व भी अत्यधिक है।

लूवर का इतिहास और सुरक्षा

पेरिस का लूवर विश्व का सबसे बड़ा म्यूज़ियम है, जिसकी प्रदर्शनी क्षेत्र लगभग 73,000 वर्ग मीटर में फैला हुआ है। इसका निर्माण 1546 में फ्रांसीसी शाही परिवार के महल के रूप में हुआ था। यह संग्रह शुरू में शाही था, लेकिन 1793 में इसे जनता के लिए खोल दिया गया। इसमें 35,000 से अधिक कलाकृतियाँ हैं, जिनमें लियोनार्डो दा विंची की 'मोना लिसा' भी शामिल है।

हालांकि, म्यूज़ियम से चोरी की घटनाएं बहुत कम होती हैं, परंतु 1911 में 'मोना लिसा' की चोरी और 1983 में कुछ कवच गायब होने जैसी घटनाएँ हुई हैं। सुरक्षा व्यवस्था अत्यंत सख्त होने के बावजूद, इस बार की चोरी ने सुरक्षा व्यवस्था की कमियों को उजागर कर दिया है।

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घर में आसानी से उगाएं ताजा बादाम, जानिए आसान तरीका

घर में गमले में बादाम उगाना संभव है, यदि आप सही तकनीकों का पालन करें तो। थोड़ी सी मेहनत और धैर्य से आप अपने किचन गार्डन को न केवल खूबसूरती से सजा सकते हैं, बल्कि ताजा और हेल्दी बादाम भी घर पर ही प्राप्त कर सकते हैं।

The most important thing for growing almonds in a pot
गमले में बादाम उगाने के लिए सबसे जरूरी (फाइल फोटो)
locationभारत
userऋषि तिवारी
calendar06 Dec 2025 01:35 PM
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घर के किचन गार्डन में भी आप आसानी से बादाम उगा सकते हैं, बस सही तकनीक और थोड़ी देखभाल की जरूरत है। यदि आप अपने गार्डन की सुंदरता को बढ़ाने के साथ-साथ स्वास्थ्यवर्धक बादाम की फसल लगाना चाहते हैं, तो यह खबर आपके लिए है। विशेषज्ञों का मानना है कि सही बीज का चयन, उचित माहौल और सावधानीपूर्वक देखभाल से आप अपने घर में ही ताजा बादाम उगा सकते हैं।

सही बीज का चुनाव है पहली जरूरत

बादाम उगाने के लिए सबसे जरूरी है सही बीज का चयन। बाजार में मिलने वाले भुने या नमकीन बादाम से पौधे नहीं उगते, इसलिए कच्चे, अनरोस्टेड और ऑर्गेनिक स्टोर से खरीदे गए छिलके वाले बादाम ही उपयुक्त होते हैं। इन बीजों में अंकुरण की संभावना अधिक होती है।

बादाम को पहले भिगोएं और तैयार करें

बीज को अंकुरित करने के लिए उन्हें करीब 12 घंटे पानी में भिगोना जरूरी है। इससे छिलका नरम होकर अंदर के बीज को फूलने में मदद मिलती है। इसके बाद, एक एयरटाइट पाउच में हल्की नमी वाली रेत या टिश्यू के साथ बीज को फ्रिज में लगभग 25-30 दिनों तक रखकर गर्मी से दूर रखना चाहिए। इससे बीज तेजी से अंकुरित होते हैं।

उच्च गुणवत्ता वाली मिट्टी का चुनाव

बादाम के पौधे के लिए हल्की, भुरभुरी और अच्छी जल निकासी वाली मिट्टी का उपयोग करें। इस मिट्टी में गार्डन मिट्टी, रेत और कंपोस्ट या गोबर की खाद मिलाना लाभकारी रहेगा। गमले का आकार भी महत्वपूर्ण है: शुरुआत में छोटे गमले से पौधे की शुरुआत करें, और जब जड़ें गहरी हो जाएं तो बड़े गमले में स्थानांतरित करें।

गमले में लगाना और देखभाल  

अंकुरित बीज को जड़ नीचे की ओर रखते हुए लगभग 2 इंच गहरे गड्ढे में लगाएं। हल्के हाथ से मिट्टी से ढक कर पानी का छिड़काव करें। बादाम के पौधे को फल देने में लगभग 3-4 साल का समय लग सकता है, लेकिन सही देखभाल से पौधे मजबूत बनेंगे और फूलों की संख्या भी बढ़ेगी।


सावधानियां और देखभाल के टिप्स

सर्दियों में पानी की मात्रा पर ध्यान दें। जब मिट्टी सूखने लगे, तभी पौधे को पानी दें। पौधे को प्रतिदिन 6-7 घंटे की सीधी धूप मिलनी चाहिए। बरसात के मौसम में गमले की मिट्टी में पानी जमा न होने दें, अन्यथा जड़ें खराब हो सकती हैं। यदि पत्तियों पर कीट दिखें, तो नीम के तेल का प्राकृतिक स्प्रे करें।

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रेलवे का कड़ा कदम: 13 स्टेशनों पर प्लेटफॉर्म टिकट बंद, बेवजह पहुंचने पर फाइन तय

रेलवे का यह निर्णय सीधे तौर पर यात्रियों की सुरक्षा, भीड़ प्रबंधन और सुचारू आवाजाही से जुड़ा है। रोजाना लाखों लोग लोकल और लंबी दूरी की ट्रेनों से सफर करते हैं, ऐसे में जरा सी लापरवाही भीड़भाड़ वाले स्टेशनों पर बड़ी समस्या खड़ी कर सकती है।

रेलवे का सख्त कदम भीड़ रोकने के लिए 13 स्टेशनों पर प्लेटफॉर्म टिकट बंद
रेलवे का सख्त कदम: भीड़ रोकने के लिए 13 स्टेशनों पर प्लेटफॉर्म टिकट बंद
locationभारत
userअभिजीत यादव
calendar06 Dec 2025 12:19 PM
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Platform Ticket : भारतीय रेलवे ने महापरिनिर्वाण दिवस पर होने वाली भारी भीड़ को देखते हुए बड़ा कदम उठाया है। सेंट्रल रेलवे ने मुंबई समेत अपने 13 अहम स्टेशनों पर प्लेटफॉर्म टिकट की बिक्री अस्थायी रूप से रोक दी है। तय समय के दौरान बिना जरूरत प्लेटफॉर्म पर भीड़ बढ़ाने की कोशिश करने वालों पर नियमों के तहत सख्त कार्रवाई हो सकती है, यानी जेब कटनी लगभग तय है। रेलवे का यह निर्णय सीधे तौर पर यात्रियों की सुरक्षा, भीड़ प्रबंधन और सुचारू आवाजाही से जुड़ा है। रोजाना लाखों लोग लोकल और लंबी दूरी की ट्रेनों से सफर करते हैं, ऐसे में जरा सी लापरवाही भीड़भाड़ वाले स्टेशनों पर बड़ी समस्या खड़ी कर सकती है।

कब तक बंद रहेंगे प्लेटफॉर्म टिकट?

महापरिनिर्वाण दिवस पर उमड़ने वाली भारी भीड़ को देखते हुए सेंट्रल रेलवे ने सख्त कदम उठाया है। यात्रियों की सुरक्षा और स्टेशन परिसर में अनावश्यक भीड़ पर रोक लगाने के लिए कई स्टेशनों पर प्लेटफॉर्म टिकट की बिक्री अस्थायी रूप से रोक दी गई है। 7 दिसंबर 2025 तक प्लेटफॉर्म टिकट पूरी तरह बंद रहेंगे

  1. छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस (CSMT), मुंबई और दादर स्टेशन।
  2. 6 दिसंबर 2025 तक प्लेटफॉर्म टिकट नहीं मिलेंगे:
  3. भुसावल जंक्शन, नासिक रोड, मनमाड़, जलगाँव, अकोला, शेगाँव, पचोरा, बडनेरा, मलकापुर, चालीसगांव और नागपुर स्टेशन।

रेलवे ने साफ चेतावनी दी है कि इन स्टेशनों पर बिना टिकट प्लेटफॉर्म में अनावश्यक भीड़ लगाने वालों के खिलाफ रेलवे एक्ट के तहत सख्त कार्रवाई की जाएगी और जुर्माना भी भरना पड़ सकता है। यात्रियों से अपील है कि वे नियमों का पालन करें और जरूरी होने पर ही स्टेशन परिसर में प्रवेश करें।

किन्हें मिलेगी प्लेटफॉर्म टिकट में छूट?

‘इंडियन एक्सप्रेस’ की जानकारी के अनुसार, रेलवे बोर्ड के दिशा–निर्देशों के तहत प्लेटफॉर्म टिकट पर लगी इस सख्ती के बीच कुछ संवेदनशील श्रेणियों के लिए राहत का प्रावधान भी रखा गया है। जरूरत पड़ने पर इन श्रेणियों के साथ आने वालों को प्लेटफॉर्म टिकट जारी किए जा सकेंगे, ताकि उनके सफर में मदद की जा सके और देखभाल में कोई कमी न रह जाए। इनमें शामिल हैं–

  1. वरिष्ठ नागरिकों के साथ आने वाले परिजन
  2. गंभीर रूप से बीमार यात्रियों के सहायकों
  3. छोटे बच्चों के साथ यात्रा कर रहे परिवार के सदस्य
  4. अशक्त/दिव्यांग यात्रियों की मदद करने वाले सहयोगी
  5. अकेले यात्रा कर रही महिला यात्रियों के साथ आने वाले परिजन

यानी एक तरफ भीड़ और अव्यवस्था पर कड़ाई से रोक, तो दूसरी तरफ जरूरतमंदों के लिए मानवीय छूट– रेलवे ने व्यवस्था को सख्त भी रखा है और संवेदनशील भी, ताकि सुरक्षा के साथ–साथ सुविधा भी बनी रहे।

सेंट्रल रेलवे ने यात्रियों से क्या अपील की?

सेंट्रल रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी डॉ. स्वप्निल नीला ने स्पष्ट किया कि महापरिनिर्वाण दिवस पर लाखों की संख्या में अनुयायियों और यात्रियों के मुंबई एवं अन्य स्टेशनों पर पहुंचने की संभावना को देखते हुए प्लेटफॉर्म टिकट पर यह विशेष प्रतिबंध लगाया गया है। मकसद साफ है – भीड़ पर नियंत्रण, यातायात में सुगमता और यात्रियों की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देना। उन्होंने यात्रियों से अपील की कि वे भी इस व्यवस्था में सहयोगी बनें और यात्रा की योजना बनाते समय इन बातों का खास ध्यान रखें–

  1. सफर प्लान करते समय प्लेटफॉर्म टिकट से जुड़े इन अस्थायी नियमों को ध्यान में रखें
  2. केवल वास्तविक / जेन्युइन जरूरत होने पर ही किसी को प्लेटफॉर्म तक छोड़ने के लिए स्टेशन आएं
  3. भीड़भाड़ वाले समय में बेवजह प्लेटफॉर्म या स्टेशन परिसर में रुकने से बचें

डॉ. नीला ने कहा कि ऐसा करने से न सिर्फ आपकी अपनी यात्रा ज्यादा आरामदायक और सहज होगी, बल्कि प्लेटफॉर्म पर ट्रेन में चढ़ने–उतरने की प्रक्रिया भी ज्यादा सुरक्षित और नियंत्रित तरीके से संचालित की जा सकेगी।

75 स्टेशनों पर स्थायी पैसेंजर होल्डिंग एरिया की तैयारी

इधर भीड़ प्रबंधन को अगले स्तर पर ले जाने के लिए रेलवे मंत्रालय ने एक और अहम पहल तेज कर दी है। नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर पैसेंजर होल्डिंग एरिया का जो प्रयोग किया गया था, वह इतना सफल रहा कि अब इसे देशभर के बड़े स्टेशनों पर लागू करने की तैयारी शुरू हो गई है। मंत्रालय ने फैसला लिया है कि इस मॉडल को देश के 75 प्रमुख रेलवे स्टेशनों पर चरणबद्ध तरीके से अपनाया जाएगा। लक्ष्य यह रखा गया है कि साल 2026 के त्योहारों के सीजन से पहले इन पैसेंजर होल्डिंग एरियाज़ का निर्माण पूरा हो जाए।

इन होल्डिंग एरियाज़ के शुरू हो जाने के बाद

  1. त्योहारों और विशेष मौकों पर प्लेटफॉर्म पर बेकाबू भीड़ उमड़ने की स्थिति काफी हद तक खत्म हो जाएगी
  2. यात्रियों को उनकी ट्रेन की टाइमिंग के हिसाब से कंट्रोल्ड एंट्री के तहत प्लेटफॉर्म तक भेजा जा सकेगा
  3. भीड़ प्रबंधन से लेकर सुरक्षा व्यवस्था और यात्रियों के समग्र अनुभव – तीनों में स्पष्ट सुधार देखने को मिलेगा Platform Ticket