International Yoga Day : अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के जरिए योग एक वैश्विक आंदोलन बन गया है : मोदी

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locationभारत
userचेतना मंच
calendar30 Nov 2025 08:14 PM
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नयी दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर बुधवार को कहा कि भारत ने हमेशा जोड़ने, अपनाने और अंगीकार करने वाली परम्पराओं को पोषित किया है। योग के माध्यम से विरोधाभाषों, बाधाओं और प्रतिरोधों को खत्म करने का आह्वान किया है।

International Yoga Day

भारतीयों ने हमेशा नए विचारों का स्वागत किया है प्रधानमंत्री ने एक वीडियो संदेश में कहा कि भारतीयों ने हमेशा नए विचारों का स्वागत किया है। उन्हें संरक्षण दिया है तथा देश की समृद्ध विविधता का जश्न मनाया है। उन्होंने कहा कि भारत की संस्कृति हो या समाज संरचना, भारत का आध्यात्म हो या उसके आदर्श, भारत का दर्शन हो या दृष्टि, हमने हमेशा जोड़ने, अपनाने और अंगीकार करने वाली परम्पराओं को पोषित किया है। हमने नए विचारों का स्वागत किया है, उन्हें संरक्षण दिया है। हमने विविधताओं को समृद्ध किया है, उनका जश्न मनाया है।

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योग के विस्तार का अर्थ है- 'वसुधैव कुटुंबकम्' की भावना का विस्तार देशवासियों को योग दिवस की शुभकामनाएं देते हुए मोदी ने कहा कि योग का प्रसार भारत के विचार का विस्तार है, जो पूरे संसार को एक परिवार के रूप में समाहित करता है। योग के विस्तार का अर्थ है- 'वसुधैव कुटुंबकम्' की भावना का विस्तार। इसलिए इस वर्ष भारत की अध्यक्षता में हो रहे जी-20 सम्मेलन का विषय भी एक पृथ्वी, एक परिवार एक भविष्य है। प्रधानमंत्री ने कहा कि योग एक ऐसे स्वस्थ और सामर्थ्यशाली समाज का निर्माण करता है, जिसकी सामूहिक ऊर्जा कई गुना ज्यादा होती है। उन्होंने कहा कि पिछले कुछ वर्षों में स्वच्छ भारत जैसे संकल्पों से लेकर ‘स्टार्टअप इंडिया’ जैसे अभियानों तक, आत्मनिर्भर भारत के निर्माण से लेकर सांस्कृतिक भारत के पुनर्निर्माण तक, देश तथा देश के युवाओं में जो असाधारण गति दिखी है, उसमें इस ऊर्जा का बहुत बड़ा योगदान है। आज देश का मन बदला है, इसीलिए जन तथा जीवन बदला है।

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जीव मात्र की एकता का अहसास कराता है योग प्रधानमंत्री ने कहा ​कि योग हमारी अन्तःदृष्टि को विस्तार देता है, उस चेतना से जोड़ता है जो जीव मात्र की एकता का अहसास कराता है और प्राणी मात्र से प्रेम का आधार देता है। इसलिए, हमें योग के जरिए हमारे अंतर्विरोधों को खत्म करना है। हमें योग के जरिए हमारे गतिरोधों और प्रतिरोधों को खत्म करना है। हमें 'एक भारत, श्रेष्ठ भारत' की भावना को विश्व के सामने एक उदाहरण के रूप में प्रस्तुत करना है। हर वर्ष योग दिवस के अवसर पर वह किसी न किसी आयोजन में आमजन के बीच उपस्थित रहते हैं, लेकिन इस बार अमेरिकी यात्रा पर वह ऐसा नहीं कर सकें।

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वैश्विक भावना बन गया है योग उन्होंने कहा कि बुधवार शाम वह संयुक्त राष्ट्र के मुख्यालय में योग दिवस समारोह में भाग लेंगे। भारत के आह्वान पर योग के लिए दुनिया के 180 से ज्यादा देशों का एक साथ आना ऐतिहासिक व अभूतपूर्व है। संयुक्त राष्ट्र में योग दिवस का प्रस्ताव आया था तो रिकॉर्ड देशों ने इसे समर्थन दिया था। तब से लेकर आज तक अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के जरिए योग एक वैश्विक आंदोलन बन गया है, वैश्विक भावना बन गया है। देश विदेशकी खबरों से अपडेट रहने लिएचेतना मंचके साथ जुड़े रहें। देशदुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमेंफेसबुकपर लाइक करें याट्विटरपर फॉलो करें।
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West Bengal : केंद्रीय बलों की तैनाती के आदेश के खिलाफ याचिकाएं खारिज

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Petitions against the order of deployment of central forces rejected
locationभारत
userचेतना मंच
calendar29 Nov 2025 11:06 PM
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नयी दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने कलकत्ता उच्च न्यायालय के उस आदेश में हस्तक्षेप से मंगलवार को इनकार कर दिया, जिसमें पश्चिम बंगाल में राज्य निर्वाचन आयोग (एसईसी) को आठ जुलाई को होने वाले पंचायत चुनावों के लिए केंद्रीय बलों की मांग करने और तैनात करने का निर्देश गया था। शीर्ष अदालत ने यह भी कहा कि चुनाव कराना ‘हिंसा का लाइसेंस’ प्राप्त करना नहीं है।

West Bengal

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हाईकोर्ट के आदेश में किसी हस्तक्षेप की आवश्यकता नहीं शीर्ष अदालत ने उच्च न्यायालय के आदेश को चुनौती देने वाली पश्चिम बंगाल सरकार और एसईसी की याचिकाओं को खारिज कर दिया। इसने कहा कि उच्च न्यायालय के आदेश का आशय अंततः राज्य में स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव सुनिश्चित करना था। न्यायमूर्ति बीवी नागरत्ना और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा की अवकाशकालीन पीठ ने सुनवाई के दौरान कहा कि चुनाव कराना हिंसा का लाइसेंस नहीं हो सकता। खंडपीठ ने कहा कि यह सच है कि उच्च न्यायालय के आदेश का आशय राज्य में स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराना है, क्योंकि यहां एक ही दिन में पंचायत चुनाव हो रहे हैं। न्यायालय ने कहा कि उच्च न्यायालय के आदेश में किसी हस्तक्षेप की आवश्यकता नहीं है। शीर्ष अदालत इस संबंध में उच्च न्यायालय द्वारा जारी किसी अन्य निर्देश में हस्तक्षेप करने की इच्छुक नहीं है। पीठ ने कहा कि राज्य और एसईसी का प्रतिनिधित्व करने वाले अधिवक्ताओं ने दलील दी है कि पश्चिम बंगाल के सभी जिलों के लिए केंद्रीय बलों की मांग और तैनाती के लिए उच्च न्यायालय के निर्देश में शीर्ष अदालत को हस्तक्षेप करना चाहिए। केंद्रीय बलों की तैनाती की मांग करना आयोग के अधिकार क्षेत्र में नहीं एसईसी के वकील ने कहा कि चुनाव कराने के लिए केंद्रीय बलों की तैनाती की मांग करना आयोग के अधिकार क्षेत्र में नहीं था। सुनवाई के दौरान पीठ ने कहा कि चुनाव के साथ हिंसा नहीं हो सकती। न्यायालय ने कहा कि अगर लोग जाकर अपना नामांकन पत्र दाखिल नहीं कर पा रहे हैं या जिन लोगों ने अपना नामांकन पत्र दाखिल किया है, उन्हें अंतत: खत्म कर दिया गया है या समूह संघर्ष हो रहे हैं, तो फिर स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कहां रहा। राज्य सरकार की ओर से पेश वकील ने कहा कि कभी-कभी तथ्य और आंकड़े धारणाओं से अलग होते हैं।

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MP News : कान्हा बाघ अभयारण्य में बाघिन की मौत

पूरे राज्य में केंद्रीय बलों की तैनाती के दिए थे आदेश उच्च न्यायालय ने 15 जून को राज्य निर्वाचन आयोग को निर्देश दिया था कि पंचायत चुनाव के लिए पूरे पश्चिम बंगाल में 48 घंटे के अंदर केंद्रीय बलों की मांग की जाए और उन्हें तैनात किया जाए। अदालत ने कहा था कि उसने चुनावी प्रक्रिया के लिए 13 जून को संवेदनशील क्षेत्रों में केंद्रीय बलों को तैनात करने का आदेश दिया था, लेकिन तभी से कोई उपयुक्त कदम नहीं उठाया गया। उच्च न्यायालय ने भारतीय जनता पार्टी के नेता शुभेंदु अधिकारी और कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी की याचिकाओं पर राज्य निर्वाचन आयोग को निर्देश दिया था कि राज्य के उन सभी जिलों में केंद्रीय बलों को तैनात करने की मांग की जाए, जहां आठ जुलाई को होने वाले पंचायत चुनाव के लिए नामांकन पत्र दाखिल करने के दौरान हिंसा देखी गयी। देश विदेशकी खबरों से अपडेट रहने लिएचेतना मंचके साथ जुड़े रहें। देशदुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमेंफेसबुकपर लाइक करें याट्विटरपर फॉलो करें।
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Manipur News : यूएनएलएफ के चार संदिग्ध उग्रवादी गिरफ्तार

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Four suspected UNLF militants arrested
locationभारत
userचेतना मंच
calendar02 Dec 2025 02:39 AM
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इम्फाल। जातीय हिंसा से प्रभावित मणिपुर के थौबल जिले में प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट (यूएनएलएफ) के चार संदिग्ध सदस्यों को गिरफ्तार किया गया है। सेना ने मंगलवार को यह जानकारी दी।

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MP News : कान्हा बाघ अभयारण्य में बाघिन की मौत

उग्रवादियों से 51 एमएम का एक मोर्टार, एक बम बरामद सेना ने बताया कि गिरफ्तार उग्रवादियों से 51 एमएम का एक मोर्टार, एक बम बरामद किया गया है। सेना ने ट्वीट कर कहा कि खुफिया सूचनाओं के आधार पर कार्रवाई करते हुए 19 जून की रात को पुलिस स्टेशन लिलोंग के पास जांच की गई। इस दौरान, दो अलग-अलग वाहनों में चार संदिग्ध उग्रवादियों को पकड़ा गया।

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Gorakhpur News : राष्ट्रवादी विचारधारा से ओतप्रोत एक मिशन है गीताप्रेस, समाज सुधार में भी छोड़ी अमिट छाप

हो सकती है और उग्रवादियों की गिरफ्तारी सेना ने चारों संदिग्ध उग्रवादियों को पुलिस के हवाले कर दिया है। यूएनएलएफ, मणिपुर के सबसे पुराने उग्रवादी समूहों में से एक है। संभावना जताई जा रही है कि इस गिरफ्तारी के बाद से हिंसा के मामलों में कुछ कमी आ सकती है। बताया जाता है कि अभी कुछ और उग्रवादियों की गिरफ्तारी हो सकती है। देश विदेशकी खबरों से अपडेट रहने लिएचेतना मंचके साथ जुड़े रहें। देशदुनिया की लेटेस्ट खबरों से अपडेट रहने के लिए हमेंफेसबुकपर लाइक करें याट्विटरपर फॉलो करें।