Kanpur News : तीन महीने से पिता समेत पूरे परिवार की हत्या की योजना बना रहा था युवक
Greater Noida News: Caught stealing aluminum railing on the side of the expressway
भारत
चेतना मंच
27 Jul 2022 07:32 PM
Kanpur: कानपुर। बच्चे के नाम से माता पिता की पहचान सबसे बड़ा सौभाग्य होता है। लेकिन, समाज को कलंकित करने वाले संतानों की भी कमी नहीं है। ऐसा ही एक मामला यहां के गोविन्द नगर में उजागर हुआ है। यहां अपने पिता की हत्या का आरोपी बेटा तीन माह से कत्ल की योजना बना रहा था। वह पिता के अलावा मां और नाना की भी हत्या करना चाहता था। इस बात का खुलासा आरोपी से पूछताछ के दौरान हुआ।
गौरतलब है कि पुलिस ने मंगलवार को पिता की हत्या के आरोपी युवक को कोर्ट में पेश किया, जहां से उसे 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। मूलरूप से कानपुर देहात के रठिगांव गजनेर निवासी जीत कुमार शुक्ला उर्फ गोरे गोविंद नगर के गुजैनी सी ब्लाक स्थित ससुराल में परिवार के साथ रहते थे। सोमवार तड़के उनके बेटे निखिल ने लोहे की रॉड मारकर हत्या कर दी। उसके बाद आरोपी अपनी मां सुमन और नाना राम भरोसे अवस्थी पर भी जानलेवा हमला किया। शोर-शराबा सुनकर परिजनों ने बीच-बचाव कर किसी तरह उन दोनों की जान बचाई। पड़ोसियों की सूचना पर पुलिस ने आरोपी निखिल को गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ के दौरान पता चला कि उसे नशे की लत थी। उसकी नशे की लत को छुड़ाने के लिए परिजनों ने उस पर बाहर निकलने पर पाबंदी लगा रखी थी। उसका मोबाइल भी छीन लिया था। इससे नाराज निखिल बीते तीन माह से परिजनों की हत्या की योजना बना रहा था। पुलिस की पूछताछ मंे उसने बताया कि वह पिता के साथ मां और नाना की भी हत्या करना चाहता था।
एसीपी गोविंद नगर विकास कुमार पांडेय ने बताया कि आरोपी नशे का लती होने के कारण मानसिक रूप से बीमार प्रतीत हो रहा है। वह पूरी रात थाने में उलटी सीधी बातें कर रहा था। जैसे सबको मरना है, सबको जाना है। यहां रहकर कोई फायदा नहीं है।
उल्लेखनीय है कि कानपुर के गुजैनी-सी ब्लॉक में सोमवार तड़के नशेबाज युवक ने अपने पिता के सिर पर लोहे की सरिया मारकर बेहोश कर दिया, फिर चाकू से गला रेत दिया। उसके बाद अपनी मां और नाना के सिर पर भी सरिया मारकर घायल कर दिया। वारदात को अंजाम देकर वह मौके से भाग निकला। सूचना पर पहुंची पुलिस ने केस दर्ज कर करीब छह घंटे बाद आरोपी को गिरफ्तार कर लिया था।
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चेतना मंच
27 Jul 2022 07:32 PM
Kanpur: कानपुर। बच्चे के नाम से माता पिता की पहचान सबसे बड़ा सौभाग्य होता है। लेकिन, समाज को कलंकित करने वाले संतानों की भी कमी नहीं है। ऐसा ही एक मामला यहां के गोविन्द नगर में उजागर हुआ है। यहां अपने पिता की हत्या का आरोपी बेटा तीन माह से कत्ल की योजना बना रहा था। वह पिता के अलावा मां और नाना की भी हत्या करना चाहता था। इस बात का खुलासा आरोपी से पूछताछ के दौरान हुआ।
गौरतलब है कि पुलिस ने मंगलवार को पिता की हत्या के आरोपी युवक को कोर्ट में पेश किया, जहां से उसे 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। मूलरूप से कानपुर देहात के रठिगांव गजनेर निवासी जीत कुमार शुक्ला उर्फ गोरे गोविंद नगर के गुजैनी सी ब्लाक स्थित ससुराल में परिवार के साथ रहते थे। सोमवार तड़के उनके बेटे निखिल ने लोहे की रॉड मारकर हत्या कर दी। उसके बाद आरोपी अपनी मां सुमन और नाना राम भरोसे अवस्थी पर भी जानलेवा हमला किया। शोर-शराबा सुनकर परिजनों ने बीच-बचाव कर किसी तरह उन दोनों की जान बचाई। पड़ोसियों की सूचना पर पुलिस ने आरोपी निखिल को गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ के दौरान पता चला कि उसे नशे की लत थी। उसकी नशे की लत को छुड़ाने के लिए परिजनों ने उस पर बाहर निकलने पर पाबंदी लगा रखी थी। उसका मोबाइल भी छीन लिया था। इससे नाराज निखिल बीते तीन माह से परिजनों की हत्या की योजना बना रहा था। पुलिस की पूछताछ मंे उसने बताया कि वह पिता के साथ मां और नाना की भी हत्या करना चाहता था।
एसीपी गोविंद नगर विकास कुमार पांडेय ने बताया कि आरोपी नशे का लती होने के कारण मानसिक रूप से बीमार प्रतीत हो रहा है। वह पूरी रात थाने में उलटी सीधी बातें कर रहा था। जैसे सबको मरना है, सबको जाना है। यहां रहकर कोई फायदा नहीं है।
उल्लेखनीय है कि कानपुर के गुजैनी-सी ब्लॉक में सोमवार तड़के नशेबाज युवक ने अपने पिता के सिर पर लोहे की सरिया मारकर बेहोश कर दिया, फिर चाकू से गला रेत दिया। उसके बाद अपनी मां और नाना के सिर पर भी सरिया मारकर घायल कर दिया। वारदात को अंजाम देकर वह मौके से भाग निकला। सूचना पर पहुंची पुलिस ने केस दर्ज कर करीब छह घंटे बाद आरोपी को गिरफ्तार कर लिया था।
UP News: फौजी की हत्या के बाद से सिसौली में भारी दुख व्याप्त
भारत
चेतना मंच
27 Jul 2022 05:24 PM
Muzaffarnagar : मुजफ्फरनगर। यूपी और हरियाणा राज्यों के कांवड़ियों के बीच एक कांवड़ को आगे ले जाने के विवाद में जमकर संघर्ष हुआ। दोनों ओर से जमकर लाठी डंडे चले। इसमें एक कांवड़िये की मौत हो गई और करीब आधा दर्जन जख्मी हो गए। मृतक की पहचान कार्तिक पुत्र पवन निवासी गांव सिसौली मुजफ्फरनगर के रूप में हुई है। कार्तिक सेना में तैनात थे और वर्तमान में उसकी तैनाती गुजरात में थी। घटना मंगलौर बाईपास के पास हुई। कार्तिक की मौत के बाद सिसौली के लोग गमगीन हैं।
पुलिस ने तहरीर के आधार पर पानीपत निवासी पांच कांवड़ियों के खिलाफ केस दर्ज कर पांचों को हिरासत में ले लिया है। पुलिस उनसे पूछताछ कर रही है। बताया जाता है कि मंगलौर बाईपास पर कांवड़ एक-दूसरे से आगे निकालने को लेकर विवाद हो गया। बताया जा रहा है कि मुजफ्फरनगर वालों की कांवड़ हरियाणा वालों से आगे हो गई। इस पर हरियाणा के कांवड़ियों ने अपनी बाइक मुजफ्फरनगर वालों के आगे लगा दी और मारपीट शुरू कर दी। इस दौरान जमकर लाठी डंडे चले। इस में सिसौली निवासी कार्तिक की मौत हो गई। कार्तिक के परिजनों ने बताया कि सेना में तैनात था और वर्तमान में उसकी तैनाती गुजरात में थी। वह कुछ दिन पहले ही छुट्टी लेकर आया था। इसके बाद वह साथियों के साथ हरिद्वार गंगाजल लेने गया था।
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भारत
चेतना मंच
27 Jul 2022 05:24 PM
Muzaffarnagar : मुजफ्फरनगर। यूपी और हरियाणा राज्यों के कांवड़ियों के बीच एक कांवड़ को आगे ले जाने के विवाद में जमकर संघर्ष हुआ। दोनों ओर से जमकर लाठी डंडे चले। इसमें एक कांवड़िये की मौत हो गई और करीब आधा दर्जन जख्मी हो गए। मृतक की पहचान कार्तिक पुत्र पवन निवासी गांव सिसौली मुजफ्फरनगर के रूप में हुई है। कार्तिक सेना में तैनात थे और वर्तमान में उसकी तैनाती गुजरात में थी। घटना मंगलौर बाईपास के पास हुई। कार्तिक की मौत के बाद सिसौली के लोग गमगीन हैं।
पुलिस ने तहरीर के आधार पर पानीपत निवासी पांच कांवड़ियों के खिलाफ केस दर्ज कर पांचों को हिरासत में ले लिया है। पुलिस उनसे पूछताछ कर रही है। बताया जाता है कि मंगलौर बाईपास पर कांवड़ एक-दूसरे से आगे निकालने को लेकर विवाद हो गया। बताया जा रहा है कि मुजफ्फरनगर वालों की कांवड़ हरियाणा वालों से आगे हो गई। इस पर हरियाणा के कांवड़ियों ने अपनी बाइक मुजफ्फरनगर वालों के आगे लगा दी और मारपीट शुरू कर दी। इस दौरान जमकर लाठी डंडे चले। इस में सिसौली निवासी कार्तिक की मौत हो गई। कार्तिक के परिजनों ने बताया कि सेना में तैनात था और वर्तमान में उसकी तैनाती गुजरात में थी। वह कुछ दिन पहले ही छुट्टी लेकर आया था। इसके बाद वह साथियों के साथ हरिद्वार गंगाजल लेने गया था।
Agra News : जीत गई मौत , 40 घंटे की जंग के बाद मासूम हार गई जिंदगी की जंग
भारत
चेतना मंच
27 Jul 2022 05:11 PM
Agra: आगरा। आखिर, मौत जीत गई। 10 साल की मासूम गंुजन ने 40 घंटे तक मौत से लड़ती रही, लेकिन अंत में वह जिंदगी की जंग हार गई। सोमवार की सुबह उसे 12 कुत्तों ने नोच डाला था। उसके शरीर पर 26 घाव थे। 6 घंटे तक चले ऑपरेशन के बाद उसके शरीर पर 40 टांके लगाए गए, लेकिन मंगलवार की रात उसने दम तोड़ दिया। डॉक्टरों का कहना है कि उनके सामने इस तरह का केस पहली बार आया है, जब आवारा कुत्तों ने किसी बच्चे को इतनी बेरहमी से काटा हो। बच्ची की मौत पर परिजनों ने अस्पताल में हंगामा किया, लेकिन चिकित्सकों के समझाने पर देर रात वह शव घर ले गए।
आगरा के दहतोरा गांव निवासी धर्म सिंह की पत्नी बेटी को जन्म देने के कुछ महीने बाद बीमारी से मर गई थीं। इसके बाद मासूम गुंजन को उसकी दादी संभालती थी। ताऊ रामबाबू और चाचा करन सभी उससे बहुत प्यार करते थे। मासूम गुंजन पैदा होते ही बोलने में अक्षम थी। सोमवार सुबह साढ़े पांच बजे वो घर के बाहर खेलने निकली थी। तभी लगभग एक दर्जन आवारा कुत्तों ने उस पर हमला कर दिया और शरीर को जगह-जगह नोचना शुरू कर दिया। कुत्तों के भौंकने की तेज आवाजों पर आसपास के लोगों का ध्यान गया। लोगों ने देखा गुंजन के शरीर को कुत्ते बुरी तरीके से नोच रहे हैं। मौजूद लोग गुंजन को बचाने के लिए उस तरफ दौड़े। लोगों ने जैसे-तैसे बच्ची को कुत्तों के चंगुल से निकाला और आनन-फानन में खून से लथपथ गुंजन को जिला अस्पताल लेकर पहुंचे। गुंजन की हालत देखकर जिला अस्पताल के डॉक्टर भी दहल गए। मासूम के शरीर पर कुत्तों के नोच खाने के दर्जनों घाव मौजूद थे।
डॉक्टरों ने गुंजन को तुरंत जिला अस्पताल की इमरजेंसी वार्ड के ऑपरेशन थिएटर में भर्ती कर उसका इलाज शुरू किया। उसके शरीर पर 40 से ज्यादा टांके लगाए गए। उसके इलाज के लिए 8 डॉक्टरों की टीम लगाई गई। 6 घंटे तक उसका ऑपरेशन चला। इस बीच बोलने में अक्षम गुंजन अपने दर्द को बता भी नहीं पा रही थी। पल-पल कराह रही थी। मंगलवार करी दोपहर तक उसकी हालत स्थिर थी। मगर, रात में 8 बजे के आसपास उसका हीमोग्लोबिन कम होने पर डॉक्टरों ने उसे ड्रिप लगाई। इसके बाद एंटीबायोटिक का इंजेक्शन लगाया। इंजेक्शन के लगने के कुछ देर बाद ही उसे सेप्टिक शॉक हुआ और वो इस झटके को नहीं झेल पाई। आखिर, रात करीब सवा 9 बजे उसने दम तोड़ दिया। बुधवार की सुबह 6 बजे पूरे गांव ने इकट्ठा होकर नम आंखों से खेत में मासूम का शव दफन कर दिया।
भारत
चेतना मंच
27 Jul 2022 05:11 PM
Agra: आगरा। आखिर, मौत जीत गई। 10 साल की मासूम गंुजन ने 40 घंटे तक मौत से लड़ती रही, लेकिन अंत में वह जिंदगी की जंग हार गई। सोमवार की सुबह उसे 12 कुत्तों ने नोच डाला था। उसके शरीर पर 26 घाव थे। 6 घंटे तक चले ऑपरेशन के बाद उसके शरीर पर 40 टांके लगाए गए, लेकिन मंगलवार की रात उसने दम तोड़ दिया। डॉक्टरों का कहना है कि उनके सामने इस तरह का केस पहली बार आया है, जब आवारा कुत्तों ने किसी बच्चे को इतनी बेरहमी से काटा हो। बच्ची की मौत पर परिजनों ने अस्पताल में हंगामा किया, लेकिन चिकित्सकों के समझाने पर देर रात वह शव घर ले गए।
आगरा के दहतोरा गांव निवासी धर्म सिंह की पत्नी बेटी को जन्म देने के कुछ महीने बाद बीमारी से मर गई थीं। इसके बाद मासूम गुंजन को उसकी दादी संभालती थी। ताऊ रामबाबू और चाचा करन सभी उससे बहुत प्यार करते थे। मासूम गुंजन पैदा होते ही बोलने में अक्षम थी। सोमवार सुबह साढ़े पांच बजे वो घर के बाहर खेलने निकली थी। तभी लगभग एक दर्जन आवारा कुत्तों ने उस पर हमला कर दिया और शरीर को जगह-जगह नोचना शुरू कर दिया। कुत्तों के भौंकने की तेज आवाजों पर आसपास के लोगों का ध्यान गया। लोगों ने देखा गुंजन के शरीर को कुत्ते बुरी तरीके से नोच रहे हैं। मौजूद लोग गुंजन को बचाने के लिए उस तरफ दौड़े। लोगों ने जैसे-तैसे बच्ची को कुत्तों के चंगुल से निकाला और आनन-फानन में खून से लथपथ गुंजन को जिला अस्पताल लेकर पहुंचे। गुंजन की हालत देखकर जिला अस्पताल के डॉक्टर भी दहल गए। मासूम के शरीर पर कुत्तों के नोच खाने के दर्जनों घाव मौजूद थे।
डॉक्टरों ने गुंजन को तुरंत जिला अस्पताल की इमरजेंसी वार्ड के ऑपरेशन थिएटर में भर्ती कर उसका इलाज शुरू किया। उसके शरीर पर 40 से ज्यादा टांके लगाए गए। उसके इलाज के लिए 8 डॉक्टरों की टीम लगाई गई। 6 घंटे तक उसका ऑपरेशन चला। इस बीच बोलने में अक्षम गुंजन अपने दर्द को बता भी नहीं पा रही थी। पल-पल कराह रही थी। मंगलवार करी दोपहर तक उसकी हालत स्थिर थी। मगर, रात में 8 बजे के आसपास उसका हीमोग्लोबिन कम होने पर डॉक्टरों ने उसे ड्रिप लगाई। इसके बाद एंटीबायोटिक का इंजेक्शन लगाया। इंजेक्शन के लगने के कुछ देर बाद ही उसे सेप्टिक शॉक हुआ और वो इस झटके को नहीं झेल पाई। आखिर, रात करीब सवा 9 बजे उसने दम तोड़ दिया। बुधवार की सुबह 6 बजे पूरे गांव ने इकट्ठा होकर नम आंखों से खेत में मासूम का शव दफन कर दिया।