पाई-पाई जोड़कर रखने वाले ध्यान दें! ये अकाउंट्स हो जाएंगे फ्रीज

Post Office
Frozen Account
locationभारत
userचेतना मंच
calendar30 Nov 2025 04:10 PM
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Frozen Account : अगर आपने पोस्ट ऑफिस में PPF, सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम (SCSS), किसान विकास पत्र (KVP), राष्ट्रीय बचत पत्र (NSC) या इसी तरह की किसी छोटी बचत योजना (Small Saving Scheme) में पैसा जमा कर रखा है तो अब थोड़ा सतर्क हो जाइए क्योंकि डाक विभाग ने इन योजनाओं से जुड़े उन खातों को फ्रीज करने का आदेश दिया है जो मैच्योरिटी के तीन साल बाद तक बंद या रिन्यू नहीं किए गए हैं।

साल में दो बार होंगे अकाउंट फ्रीज

डाक विभाग (Department of Posts) ने 15 जुलाई 2025 को एक नया आदेश जारी किया है। इसके मुताबिक, ऐसे अकाउंट जो मैच्योर होने के बाद भी 3 साल तक न बंद हुए हों और न ही आगे बढ़ाए गए हों, उन्हें फ्रीज कर दिया जाएगा। अब यह प्रक्रिया हर साल दो बार 1 जनवरी और 1 जुलाई से शुरू होगी और 15 दिनों के भीतर संबंधित खातों को फ्रीज कर दिया जाएगा। यानी हर साल 30 जून और 31 दिसंबर तक 3 साल पूरे करने वाले अकाउंट्स की पहचान कर फ्रीजिंग की प्रक्रिया की जाएगी।

किन-किन अकाउंट्स पर पड़ेगा असर?

इस आदेश का असर इन डाकघर योजनाओं पर पड़ेगा सार्वजनिक भविष्य निधि (PPF), वरिष्ठ नागरिक बचत योजना (SCSS), किसान विकास पत्र (KVP), राष्ट्रीय बचत पत्र (NSC), मासिक आय योजना (MIS), सावधि जमा (TD), आवर्ती जमा (RD), फ्रीज अकाउंट में क्या नहीं कर पाएंगे? अगर आपका अकाउंट फ्रीज हो गया तो आप उसमें न पैसा निकाल सकेंगे, न जमा कर सकेंगे, न ही ऑनलाइन सेवाओं का इस्तेमाल कर सकेंगे। सरल शब्दों में कहें तो खाते से कोई भी लेनदेन पूरी तरह रुक जाएगा।

अकाउंट दोबारा कैसे करें एक्टिव?

अगर आपका अकाउंट फ्रीज हो गया है, तो घबराइए नहीं। उसे फिर से अनफ्रीज किया जा सकता है। इसके लिए आपको किसी भी नजदीकी डाकघर में जाकर पासबुक या प्रमाण पत्र, केवाईसी दस्तावेज, आधार कार्ड या एड्रेस प्रूफ, पैन कार्ड, मोबाइल नंबर, खाता बंद करने या रिन्यू करने का फॉर्म (SB-7A) जैसे दस्तावेज जमा करने होंगे। डाकघर में डॉक्युमेंट्स की जांच के बाद आपका अकाउंट दोबारा एक्टिवेट कर दिया जाएगा।

क्यों लिया गया यह फैसला?

डाक विभाग का कहना है कि यह कदम जमाकर्ताओं की गाढ़ी कमाई की सुरक्षा के लिए उठाया गया है। लंबे समय तक बिना निगरानी पड़े खातों में फर्जीवाड़ा और धोखाधड़ी के जोखिम बढ़ जाते हैं। इसीलिए अब यह फ्रीजिंग प्रक्रिया एक नियमित और ऑटोमैटिक प्रॉसेस का हिस्सा होगी।

अकाउंट को फ्रीज होने से कैसे बचाएं?

जैसे ही आपका खाता मैच्योर हो उसे या तो बंद करें या फिर समय रहते रिन्यू करवाएं। पोस्ट ऑफिस की वेबसाइट या अपने नजदीकी ब्रांच से अकाउंट की स्थिति की नियमित जानकारी लेते रहें। मोबाइल नंबर और KYC दस्तावेज अपडेट रखें।  
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पटना में अपराधियों का ‘रावण राज’! ICU में हत्या और सड़कों पर पिस्टल डांस

पटना में अपराधियों का ‘रावण राज’! ICU में हत्या और सड़कों पर पिस्टल डांस
locationभारत
userचेतना मंच
calendar01 Dec 2025 04:07 AM
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Chandan Mishra Murder Case : पटना का चंदन मिश्रा हत्याकांड एक बार फिर चर्चा में है। अब इस सनसनीखेज वारदात से जुड़ी एक नई तस्वीर सामने आई है, जिसने पुलिस और जनता दोनों को चौंका दिया है। तस्वीर में आरोपी हत्या के तुरंत बाद बाइक पर सवार होकर भागते नजर आ रहे हैं। हैरान करने वाली बात यह है कि आरोपी बेखौफ होकर हवा में पिस्टल लहराते हुए दिख रहा है जैसे कि उसने कोई जश्न मनाने लायक काम किया हो। यह तस्वीर पास ही लगे एक सीसीटीवी कैमरे में कैद हुई, जब आरोपी पारस अस्पताल से निकलकर फरार हो रहे थे। इससे पहले अस्पताल के अंदर की सीसीटीवी फुटेज वायरल हुई थी, जिसमें पांचों हमलावर ICU में दाखिल होते और गोली चलाते नजर आए थे।

ICU में घुसकर की थी हत्या

घटना गुरुवार सुबह की है, जब पटना के पारस अस्पताल के ICU के कमरे नंबर 209 में भर्ती कुख्यात अपराधी चंदन मिश्रा को पांच बदमाशों ने गोली मार दी थी। चंदन की मौके पर ही मौत हो गई थी। वह खुद भी एक समय में कुख्यात अपराधी रहा है, जिस पर 24 से अधिक आपराधिक मामले दर्ज थे।

पिस्टल लहराते हुए आरोपी की तस्वीर बनी सुराग

नई तस्वीर में तीन बदमाश बाइक पर सवार हैं। आगे बैठा युवक हेलमेट लगाए हुए है, जबकि पीछे दो लोग बिना किसी डर के बैठे हैं। इन तीनों में से एक के हाथ में पिस्टल साफ नजर आ रही है। पुलिस को उम्मीद है कि इस तस्वीर से उन्हें अन्य आरोपियों तक पहुंचने में मदद मिल सकती है।

तौसीफ बादशाह गिरफ्तार

अब तक पुलिस ने तौसीफ रजा उर्फ 'बादशाह' को गिरफ्तार किया है, जो फुलवारी शरीफ का रहने वाला है। पुलिस को शक है कि तौसीफ ने इस हत्याकांड को लीड किया था। यह भी जांच की जा रही है कि क्या यह हत्या किसी सुपारी के तहत करवाई गई थी या फिर आपसी रंजिश का नतीजा थी। अन्य आरोपी हैं आकिब मालिक, सोनू, कालू उर्फ मुस्तकीम और भिंडी उर्फ बलवंत सिंह। फिलहाल ये सभी फरार हैं। पुलिस ने इनकी लोकेशन ट्रेस कर ली है और लगातार छापेमारी की जा रही है।

जल्द ही होगी फरार आरोपियों की गिरफ्तारी!

पटना के एसएसपी कार्तिकेय शर्मा ने बयान दिया है कि चंदन की हत्या वर्चस्व की लड़ाई का हिस्सा हो सकती है। पुलिस सभी आरोपियों की पुरानी आपराधिक पृष्ठभूमि खंगाल रही है और जल्द ही अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी भी हो सकती है।

क्या तौसीफ पेशेवर सुपारी किलर है?

सूत्रों का दावा है कि तौसीफ बादशाह पर पहले भी आर्म्स एक्ट का मामला दर्ज है। पुलिस यह भी जांच कर रही है कि क्या तौसीफ पटना और अन्य इलाकों में कुख्यात अपराधियों के लिए शूटर का इंतजाम करता था या खुद ही सुपारी लेकर हत्या करता था। इस पूरी वारदात ने एक बार फिर बिहार में अपराध और अपराधियों के दुस्साहस पर सवाल खड़े कर दिए हैं। अस्पताल जैसी सुरक्षित जगह में हत्या और उसके बाद खुलेआम पिस्टल लहराना, यह साफ इशारा करता है कि अपराधियों को कानून का खौफ कम होता जा रहा है। पुलिस के लिए यह मामला सिर्फ एक हत्या नहीं बल्कि पूरे सिस्टम की चुनौती बन गया है।
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CM सिद्धारमैया का निधन! मेटा टूल की भारी चूक से मचा बवाल

CM Siddaramaiah
National News
locationभारत
userचेतना मंच
calendar30 Nov 2025 04:24 PM
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National News : कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया सोशल मीडिया कंपनी मेटा (Meta) के ऑटो ट्रांसलेशन टूल से खासे नाराज हैं। वजह है एक गंभीर गलती, जिसमें मेटा के अनुवाद फीचर ने उन्हें ही दिवंगत घोषित कर दिया। दरअसल, सोमवार को सीएम सिद्धारमैया ने दक्षिण भारतीय फिल्मों की दिग्गज अभिनेत्री बी. सरोजा देवी के निधन पर शोक जताते हुए कन्नड़ भाषा में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'X' (पूर्व में ट्विटर) पर एक संवेदना पोस्ट किया था। लेकिन मेटा के ऑटो ट्रांसलेशन फीचर ने इस पोस्ट का अंग्रेजी अनुवाद करते हुए भारी चूक कर दी। अंग्रेजी में अनुवाद के बाद पोस्ट कुछ इस तरह दिखा-"Chief Minister Siddaramaiah passed away yesterday..."

मुख्यमंत्री ने जताई कड़ी आपत्ति

यह देखकर खुद मुख्यमंत्री चौंक गए और उन्होंने मेटा को सार्वजनिक रूप से टैग करते हुए कड़ी आपत्ति जताई। उन्होंने कहा कि, "मेटा प्लेटफॉर्म्स पर कन्नड़ कंटेंट का दोषपूर्ण ऑटो-ट्रांसलेशन न केवल तथ्य बिगाड़ रहा है, बल्कि यह आम जनता को भ्रमित भी कर रहा है। यह स्थिति खास तौर पर आधिकारिक संवाद में बेहद खतरनाक साबित हो सकती है।"

सलाहकार ने लिखा मेटा को पत्र

इस मुद्दे को लेकर मुख्यमंत्री के मीडिया सलाहकार के.वी. प्रभाकर ने 16 जुलाई को मेटा को एक ईमेल भेजकर गंभीर चिंता व्यक्त की। उन्होंने अनुरोध किया कि जब तक इस ट्रांसलेशन टूल की शुद्धता सुनिश्चित नहीं की जाती, तब तक इसे कन्नड़ भाषा के लिए अस्थायी रूप से बंद कर दिया जाए।

हो सकते हैं गंभीर परिणाम

सिद्धारमैया ने इस बात पर भी ज़ोर दिया कि ऐसी गलतियां केवल व्यक्तिगत छवि को नुकसान नहीं पहुंचातीं, बल्कि आधिकारिक सूचनाओं और लोकतांत्रिक संवाद की विश्वसनीयता पर भी असर डालती हैं। फिलहाल इस मामले पर मेटा की ओर से कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है। लेकिन यह घटना एक बार फिर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर भारतीय भाषाओं के साथ हो रही तकनीकी लापरवाहियों को उजागर करती है।