Tuesday, 26 November 2024

वकीलों का मुखिया बनने की रेस में शामिल वकील की डिग्री को बताया फर्जी, पर्चा रदद करने की मांग

बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष मनोज भाटी की वकालत की डिग्री को फर्जी करार दिया है

वकीलों का मुखिया बनने की रेस में शामिल वकील की डिग्री को बताया फर्जी, पर्चा रदद करने की मांग

Greater Noida News : ग्रेटर नोएडा शहर में रहने वाले एक सामाजिक कार्यकर्ता ने ग्रेटर नोएडा स्थित सूरजपुर कोर्ट (जिला गौतमबुद्धनगर कचहरी) में वकालत करने वाले बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष मनोज भाटी की वकालत की डिग्री को फर्जी करार दिया है। मनोज भाटी हाल ही में हो रहे बार एसोसिएशन के चुनाव में भी अध्यक्ष पद के प्रत्याशी बने हैं। ग्रेटर नोएडा स्थित कचहरी में पहुंचकर सामाजिक कार्यकर्ता ने एल्डर्स कमेटी से मनोज भाटी का पर्चा रदद करने की मांग की है।

कौन है मनोज भाटी

पहले आपको बता दें कि मनोज भाटी कौन हैं। मनोज भाटी एडवोकेट इन दिनों ग्रेटर नोएडा में स्थित गौतमबुद्धनगर जिले की कचहरी में वकालत कर रहे हैं। मनोज भाटी एडवोकेट मूल रूप से ग्रेटर नोएडा क्षेत्र के ही बोडाकी गांव के रहने वाले हैं। इन दिनों उनका निवासी ग्रेटर नोएडा शहर के गामा-1 सेक्टर में है। मनोज भाटी एडवोकेट गौतमबुद्धनगर की जनपद दीवानी एवं फौजदारी बार एसोसिएशन के अध्यक्ष रह चुके हैं। 22 दिसंबर को होने वाले बार एसोसिएशन के चुनाव में उन्होंने अध्यक्ष पद के प्रत्याशी के तौर पर पर्चा भरा है। ग्रेटर नोएडा शहर में ही रहने वाले सामाजिक कार्यकर्ता वीरेन्द्र सिंह ने मनोज भाटी एडवोकेट के विरूद्ध गंभीर आरोप लगाए हैं।

क्या हैं आरोप

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ग्रेटर नोएडा में रहने वाले सामाजिक कार्यकर्ता वीरेन्द्र सिंह का आरोप है कि वकीलों की पवित्र संस्था बार एसोसिएशन के अध्यक्ष पद का चुनाव लड़ रहे मनोज भाटी की वकालत की डिग्री फर्जी है। उन्होंने बताया कि इस बाबत वे बहुत पहले ही बार काउंसिल ऑफ उत्तर प्रदेश में शिकायत दर्ज करा चुके हैं। उनकी शिकायत पर जांच का कार्य चल रहा है। वीरेन्द्र सिंह ने बताया कि उन्होंने बार काउंसिल में बाकायदा शपथ-पत्र देकर पूरे मामले की विस्तृत शिकायत दर्ज करा रखी है।

क्या है शपथ-पत्र में

ग्रेटर नोएडा में रहने वाले वीरेन्द्र सिंह बार काउंसिल को दिए गए शपथ-पत्र की प्रति चेतना मंच को भी भेजी है। यहां हम उनके द्वारा बार कौंसिल में दिए गए शपथ-पत्र के विवरण को प्रकाशित कर रहे हैं। शपथ-पत्र में कहा गया है कि मनोज कुमार भाटी पुत्र श्री धर्मवीर सिंह निवासी ग्राम बोडाकी, थाना दादरी जिला गौतमबुद्धनगर हाल निवासी ई-439, गामा-प्रथम, ग्रेटर नोएडा, जिला गौतमबुद्धनगर द्वारा अनुक्रमांक 99746 वर्ष 1995-96 प्रथम वर्ष व 1996-97 द्वितीय वर्ष में कला वर्ग में बी0ए0 में प्रवेश के बाद 14.09.1998 को कला स्नातक में उस्मानिया विश्वविद्यालय, हैदराबाद से स्नातक की डिग्री प्राप्त की थी।
शपथ-पत्र में कहा गया है कि मनोज भाटी द्वारा बिना ब्रिज कोर्स किये तथ्यों को छिपाकर कूटरचित व फर्जी दस्तावेज तैयार कर चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय से सम्बन्धित लॉ कॉलेज जनहित, ग्रेटर नोएडा से सत्र 2004-05 के नामांकन संख्या एम0-0405149 अनुक्रमांक के-9974061 द्वारा एल0एल0बी0 प्रथम वर्ष में प्रवेश लिया तथा वर्ष 2007 में एल0एल0बी0 पास की थी। वर्ष 2004-05 में मनोज कुमार भाटी वायुसेना में सार्जेन्ट के पद पर सेवारत था तथा जनहित कॉलेज ग्रेटर नोएडा में मनोज भाटी की वायु सेना में सेवारत रहते हुए भी 75 प्रतिशित उपस्थिति अध्ययन के दौरान दर्शायी गयी है।
शपथ-पत्र में आगे कहा गया है कि मनोज भाटी ने जिस वर्ष में एल0एल0बी0 की डिग्री प्राप्त की है उस समय तक मनोज भाटी वायुसेना में सार्जेन्ट के पद पर सेवारत था और ब्रिज कोर्स भी नहीं किया था। इस प्रकार तथ्यों को छिपाकर विश्वविद्यालय व जनहित कॉलेज को धोखा देकर व कूटरचित दस्तावेजों के आधार पर मनोज भाटी ने विश्वविद्यालय से एल0एल0बी0 की डिग्री प्राप्त की है।
शपथ-पत्र में लिखा गया है कि माननीय चेयरमैन महोदय बार कौंसिल उ0प्र0 द्वारा 18.02.2020 को पत्रांक संख्या 4272 दिनांकित 18.02.2020 के द्वारा आर0टी0आई0 एक्ट 2005 के तहत सूचना उपलब्ध करायी गयी थी जिसके अनुसार स्पष्ट रूप से कहा गया है कि दो वर्ष के ग्रेजुएशन के पश्चात बिना ब्रिज कोर्स किए 3 वर्षीय व्यवसायिक कोर्स में नियमित दाखिला नहीं लिया जा सकता। और यह भी बताया गया है कि यदि विश्वविद्यालय द्वारा किसी को कोई दाखिल दे दिया है तो वह मान्य नहीं है तथा इसी क्रम में आगे बताया है कि धोखाधड़ी से यदि तीन वर्षीय व्यवसायिक कोर्स के लिए शैक्षणिक प्रमाण-पत्र प्राप्त कर लिया है तो वह विश्वविद्यालय के अनुसार वैद्य नहीं है।Greater Noida News

शपथ-पत्र में कहा गया है कि चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय मेरठ के शैक्षणिक सत्र 2003-04 के नियम 18 में वर्णित किया गया है कि (The candidates who have passed the first graduation degree on the pattern of 11 +3 or 12+2+2 or 10+1+3 (i.e. who have completed only 14 years schooling) shall not be eligible for admission to Post graduate classes unless they pass one year bridge course i.e. all courses prescribed for the final examination of first degree course. But the candidates who have already passed one Post Graduate examination are not required to pass Bridge Course for admission in Post Graduate classes. Further candidates are also not required to pass Bridge Course for admission to LL.B. and B. Ed course) नियम संख्या 19 में वर्णित किया गया है कि (The candidates who have passed first graduate degree with subjects consisting of practical examination change may the Faculty/Subjects for completing the requirements of Bridge Course for admission to Post Graduate classes, नियम संख्या 22 में वर्णित किया गया है कि (Candidates having passed graduation from other Universities shall not be considered for enrolment to graduation in additional single subject), नियम संख्या 23 में वर्णित किया गया है कि ((Candidates who have passed graduation (2 year course) from other Universities will not be eligible for enrolment in Bridge Course in this University).शपथ-पत्र में लिखा गया है कि उपरोक्त वर्णित नियम 22 व 23 में उल्लेखित है कि दूसरे विश्वविद्यालय से दो वर्षीय ग्रेज्यूएशन व स्नातक उत्तीर्ण करने वाले विद्यार्थी चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय से ब्रिज कोर्स करने के पात्र भी नहीं होंगे।

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शपथ-पत्र में वीरेन्द्र सिंह ने लिखा है कि मनोज कुमार भाटी पुत्र श्री धर्मवीर सिंह निवासी ग्राम बोडाकी, थाना दादरी, जिला गौतमबुद्धनगर हाल निवासी ई-439, गामा-प्रथम, ग्रेटर नोएडा, जिला गौतमबुद्धनगर द्वारा दो वर्ष की स्नातक डिग्री के उपरान्त बिना ब्रिज कोर्स किये वायुसेना में सेवारत रहते हुए बिना अनुमति लिये तथा सम्बन्धित लॉ कॉलेज जनहित में फर्जी रूप से 75 प्रतिशत उपस्थिति दर्ज कराकर प्राप्त की गयी। 03 वर्षीय व्यवसायिक कोर्स एल0एल0बी0 की डिग्री वैध न होने के कारण उक्त छात्र की चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय में व जनहित कॉलेज, ग्रेटर नोएडा में लगातार शिकायत की गई, परन्तु कॉलेज व विश्वविद्यालय द्वारा एक कमेटी का गठन कर दिया, परन्तु कॉलेज व विश्वविद्यालय कमेटी के द्वारा सहीं तथ्यों पर जांच नहीं की तथा यू0जी0सी0 व बार कौंसिल ऑफ इण्डिया, यहां तक कि चौ0 चरण सिंह विश्वविद्यालय के नियमों का उल्लंघन करते हुए कमेटी ने छात्र को सहानुभूति पूर्वक विचार करने का तथ्य देते हुए उक्त छात्र की डिग्री मान्यता प्रदान कर दी जो कि पूर्णत: नियम व कानूनों का उल्लंघन है।

पर्चा रदद करने की मांग

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ग्रेटर नोएडा में रहने वाले सामाजिक कार्यकर्ता वीरेन्द्र सिंह ने बार एसोसिएशन का चुनाव करा रही एल्डर कमेटी से मनोज भाटी एडवोकेट का पर्चा रदद करने की मांग की है। साथ ही उत्तर प्रदेश बार काउंसिल की अनुशासनात्मक जांच कमेटी को पत्र लिखा है। इस पत्र में उन्होंने मनोज भाटी एडवोकेट चुनाव लडऩे पर रोक लगाने की मांग की है।

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