Thursday, 14 November 2024

RBI Governor : “Governor Of The Year” अवार्ड से सम्मानित हुए शक्तिकांत दास

सेंट्रल बैंकिंग के द्वारा रिज़र्व बैंक ऑफ़ इंडिया के गवर्नर(RBI Governor) को Governor Of The Year के सम्मान से नवाज़ा…

RBI Governor : “Governor Of The Year” अवार्ड से सम्मानित हुए शक्तिकांत दास

सेंट्रल बैंकिंग के द्वारा रिज़र्व बैंक ऑफ़ इंडिया के गवर्नर(RBI Governor) को Governor Of The Year के सम्मान से नवाज़ा गया है। इससे पूर्व उनके बेहतर कार्य को देखते हुए उन्हें गवर्नर पद पर सर्विस एक्सटेंशन भी दिया गया था। पूर्व RBI Governor उर्जित पटेल के पद से हटने के बाद रिज़र्व बैंक के चीफ नियुक्त किये गए शक्तिकांत दास ने अपने कार्यकाल के दौरान कोविड महामारी, आर्थिक मंदी और रूस-युक्रेन युद्ध जैसे मुश्किल हालातों का सामना करते हुए देश की अर्थव्यवस्था को संभाले रखा।

किस कंपनी ने दिया यह अवार्ड?

दुनिया भर के सेंट्रल बैंकों और अन्य अंतराष्ट्रीय वित्तीय संस्थानों की कार्यशैली देखने वाली कंपनी सेंट्रल बैंकिंग पब्लिकेशन एक पब्लिक पॉलिसी और फाइनैंशियल मार्केट से जुड़ी हुई पब्लिकेशन कंपनी है। RBI Governor शक्तिकान्त दास को Governor Of The Year अवार्ड इसी कंपनी के द्वारा दिया गया है। कई मुश्किल दौर में भारतीय इकॉनमी को संभालने वाले शक्तिकांत दास ने भारत में upi पेमेंट( डिजिटल पेमेंट) को भी प्रचलित करने में एक अहम भूमिका निभाई है। इसके अतिरिक्त क्रिप्टो करेंसी से जुड़े हुए कई मुद्दों पर वे सक्रिय दिखायी देते हैं। हाल ही में शक्तिकान्त दास के नेतृत्व में सेंट्रल बैंक की डिजिटल करेंसी को भी लॉन्च किया गया था।

इससे पहले भी भारतीय को मिला अवार्ड

हालांकि शक्तिकांत दास Governor Of The Year अवार्ड जीतने वाले पहले भारतीय व्यक्ति नहीं हैं। इससे पूर्व सेंट्रल बैंकिंग पब्लिकेशन ने वर्ष 2015 में रघुराम राजन को इस अवार्ड से सम्मानित किया था। इस वर्ष शक्तिकान्त दास को सम्मानित करते हुए कम्पनी ने कहा कि “कोरोना जैसे संकटकाल में शक्तिकान्त दास ने कुछ अहम फैसले लिए। उन्होंने राजनीतिक दबाव के बावजूद भी आर्थिक और राजनितिक पक्षों में एक बैलेंस बना कर रखा और उसका परिणाम आज सभी के सामने है।

RBI Governor

सेन्ट्रल बैंकिंग पब्लिकेशन ने यह भी कहा कि, बीते दस वर्षों में भारत का GDP लगभग 90% तक बढ़ा है और प्रति व्यक्ति आय भी 70% तक बढ़ी है। 2010 में 1000 डॉलर रहने वाला यह आंकड़ा बढ़ कर अब 2400 डॉलर तक पहुँच गया है।

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