Noida News : ज्ञान विद्यालय का सातवां वार्षिक समारोह सम्पन्न

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कथाकार के नाम से आयोजित कार्यक्रम के पहले दिन मुख्य अतिथि सीबीएसई के सचिव अनुराग त्रिपाठी और दूसरे दिन मुख्य अतिथि जिलाधिकारी सुहास एल.यतिराज थे। समारोह की अध्यक्षता हल्दीराम शैक्षणिक सोसायटी के अध्यक्ष एमएल अग्रवाल ने की। कार्यकारी समिति के सम्मानित सदस्य, रीटा कपूर, संस्थापक निदेशक और कार्यकारी समिति के सदस्य, के.सी. जैन और प्रदीप श्रीवास्तव भी उपस्थिति रहे। जिला अधिकारी यथिराज ने अभिभावकों को अपने सन्देश में कहा कि, उन्हें अपने बच्चों की क्षमताओं को पहचानकर तथा उन्हें उसी ओर अग्रसर करना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि अपने व्यक्तित्व का निखार मनुष्य अपने विचारों की गुणवत्ता के माध्यम से कर सकता है। इसलिए अपने विचारों पर ध्यान दें, वे आपके शब्द बन जाते हैं; अपने शब्दों पर ध्यान दें, वे आपके कार्य बन जाते हैं; अपने कार्यों पर ध्यान दें, वे आपकी आदत बन जाते हैं; अपनी आदतों पर ध्यान दो, वे आपका चरित्र बन जाती हैं; अपने चरित्र को देखो, यह आपका भाग्य बन जाता है। इस अवसर पर अपनी बात रखते हुए, अनुराग त्रिपाठी ने ऐसी शिक्षा प्रदान करने की आवश्यकता पर जोर दिया जो युवाओं में आत्मविश्वास, जिम्मेदारी, विचारों की स्पष्टता और मूल्यों को बढ़ावा दे।अगली खबर पढ़ें
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कथाकार के नाम से आयोजित कार्यक्रम के पहले दिन मुख्य अतिथि सीबीएसई के सचिव अनुराग त्रिपाठी और दूसरे दिन मुख्य अतिथि जिलाधिकारी सुहास एल.यतिराज थे। समारोह की अध्यक्षता हल्दीराम शैक्षणिक सोसायटी के अध्यक्ष एमएल अग्रवाल ने की। कार्यकारी समिति के सम्मानित सदस्य, रीटा कपूर, संस्थापक निदेशक और कार्यकारी समिति के सदस्य, के.सी. जैन और प्रदीप श्रीवास्तव भी उपस्थिति रहे। जिला अधिकारी यथिराज ने अभिभावकों को अपने सन्देश में कहा कि, उन्हें अपने बच्चों की क्षमताओं को पहचानकर तथा उन्हें उसी ओर अग्रसर करना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि अपने व्यक्तित्व का निखार मनुष्य अपने विचारों की गुणवत्ता के माध्यम से कर सकता है। इसलिए अपने विचारों पर ध्यान दें, वे आपके शब्द बन जाते हैं; अपने शब्दों पर ध्यान दें, वे आपके कार्य बन जाते हैं; अपने कार्यों पर ध्यान दें, वे आपकी आदत बन जाते हैं; अपनी आदतों पर ध्यान दो, वे आपका चरित्र बन जाती हैं; अपने चरित्र को देखो, यह आपका भाग्य बन जाता है। इस अवसर पर अपनी बात रखते हुए, अनुराग त्रिपाठी ने ऐसी शिक्षा प्रदान करने की आवश्यकता पर जोर दिया जो युवाओं में आत्मविश्वास, जिम्मेदारी, विचारों की स्पष्टता और मूल्यों को बढ़ावा दे।संबंधित खबरें
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