Tuesday, 26 November 2024

अजीब समस्या : अपने ही फ़्लैटों में रह कर भी नहीं बन पा रहे हैं फ़्लैट के मालिक

Greater Noida West : ग्रेटर नोएडा वेस्ट में रहने वाले हज़ारों लोग एक अजीब समस्या से जूझ रहे हैं। उन्होंने…

अजीब समस्या : अपने ही फ़्लैटों में रह कर भी नहीं बन पा रहे हैं फ़्लैट के मालिक

Greater Noida West : ग्रेटर नोएडा वेस्ट में रहने वाले हज़ारों लोग एक अजीब समस्या से जूझ रहे हैं। उन्होंने बहुत मोटी क़ीमतें अदा करके महँगे फ़्लैट ख़रीदे हैं। फ़्लैट ख़रीदने के बाद अपने खुद के फ़्लैटों में रह भी रहे हैं किन्तु फ़्लैट के मालिक नहीं हैं। है ना यह अजीब समस्या ?

Greater Noida West

क्या है पूरा मामला

असल में पिछले 15 16 सालों में ग्रेटर नोएडा वेस्ट शहर विकसित हुआ है। नोएडा व ग्रेटर नोएडा की सीमा पर विकसित हुए ग्रेटर नोएडा वेस्ट में बड़ी संख्या में बिल्डरों ने फ़्लैट बनाकर बॉयर्स को बेचे हैं। कुछ बॉयर्स ऐसे भी हैं जो अभी भी अपने फ़्लैटों के निर्माण का इंतज़ार कर रहे हैं किन्तु आज हम बात कर रहे हैं फ़्लैट ख़रीद कर अपने ही फ्लैटों में रहने वाले बॉयर्स की। दरअसल, जिन बिल्डरों ने इन्हें फ़्लैट बेचे हैं उन बिल्डरों ने ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण तथा सरकार के बकाया घन का भुगतान नहीं किया है। इस कारण सरकार फ्लैटों की रजिस्ट्री नहीं करने दे रही है। रजिस्ट्री न होने के कारण इन फ़्लैट बायर्स को मालिकाना हक़ नहीं मिल रहा है। मालिकाना हक़ न मिलने से हज़ारों फ़्लैट बॉयर्स अपने ख़ुद के पैसे लगाकर फ़्लैट ख़रीदने के बाद भी किराएदार की तरह ही उन फ्लैटों में रहने के लिए मजबूर है।

नेफोमा लड़ रही है लड़ाई

ग्रेटर नोएडा वेस्ट पिछले 12 साल से फ्लैट बॉयर्स की लड़ाई लड़ रही फ्लैट बॉयर्स की संस्था नेफोमा ने रविवार को मीटिंग करके अपने संगठन का विस्तार किया।

नेफोमा नोएडा स्टेट फ्लैट ओनर्स मेन एसोसिएशन पिछले 12 साल से फ्लैट खरीददारों की समस्याओं पर काम कर रही है आज भी बहुत बिल्डरों के प्रोजेक्ट में फ्लैट बॉयर्स को फ्लेट नही। मिले है। नेफोमा फ्लैट खरीदारों की आवाज हमेशा उठाती रही है। आज नए तीन उपाध्यक्ष बनाए गए जिसमें हिमालय प्राइड सोसाइटी से देवेंद्र चौधरी, अमात्रा होम्ज़ से अनूप कुमार और गुलशन बलीना सोसायटी से अविनाश सिंह है। देविका गोल्ड होम्ज़ सोसायटी मुख्य सलाहकार समाजसेवी दीपक दुबे को बनाया गया। मीटिंग में विभिन्न सोसाइटियों से आए फ्लैट निवासियों ने बताया कि सबसे मुख्य मुद्दा इस समय रजिस्ट्री का है। हम लोग बिना मालिकाना हक के फ्लैट में रह रहे हैं।

मुख्य सलाहकार बने दीपक दुबे ने बताया की हमे खुशी है कि ऐसी संस्था से जुड़ने का मौका मिला, जो पिछले 12 वर्षो से क्षेत्र में फ्लैट खरीददारों की आवाज उठा रही है और हर सामाजिक कार्यों में बढ़चढ़ कर हिस्सा लेती है। सोसाइटी और सोसाइटी के बाहर फैली अव्यवस्थाओ को सुधारने के लिए हम सभी काम करेंगे।

नेफोमा अध्यक्ष अन्नू खान ने बताया कि ग्रेटर नोएडा वेस्ट में जाम की स्थिति से लोग बहुत परेशान हैं। पहले भी अधिकारियों का सर्वे कर चुके हैं। रजिस्ट्री एक बहुत बड़ा मुद्दा है जिसके लिए कई वर्षों से हम हर जगह धक्के खा रहे हैं। प्रदूषण एक बहुत बड़ा मुद्दा बन गया है, इन सभी के समाधान के लिए नेफोमा प्रयासरत है और शहर के निवासियों के लिए हम बेहतर काम करेंगे इसके लिए आज नेफोमा कोर टीम की मीटिंग की गई थी।

मीटिंग में नितिन राणा, विपिन चाहर, अनीता बासु, अवनीश गुप्ता, संजीव चोपड़ा, अविनाश सिंह, दीपक दुबे, शिवेंद्र चौधरी, आशीष बंसल, अनूप कुमार, शिवेंद्र सिंह, विवेकानंद, अमित कुलश्रेष्ठ, एमके माथुर, रसिक चाहर, ओम उज्जवल, अमित झा, आशीष कुलकर्णी, आनंद सिंह, आशुतोष श्रीवास्तव, गौतम गुप्ता आदि सदस्यों ने भाग लिया।

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