DRI Foundation Day : आर्थिक अपराधों पर लगाम लगाने को आईटी से जुड़े तरीके अपनाएं:मोदी

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DRI Foundation Day :
locationभारत
userचेतना मंच
calendar01 Dec 2025 03:44 AM
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DRI Foundation Day : नयी दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश की अर्थव्यवस्था के संरक्षण के लिए राजस्व आसूचना अधिकारियों (डीआरआई) से आर्थिक अपराधों पर लगाम लगाने में प्रौद्योगिकी से जुड़े नवीनतम वैश्विक तरीके अपनाने को कहा है। प्रधानमंत्री ने राजस्व आसूचना निदेशालय के 65वें स्थापना दिवस के अवसर पर भेजे अपने संदेश में कहा कि भगोड़े आर्थिक अपराधियों एवं संगठित आपराधिक गिरोहों से जुड़ी खुफिया जानकारी जुटाने, जांच करने और अभियोजन में समन्वित अंतरराष्ट्रीय प्रयासों के लिए भारत एक ‘मुखर आवाज’ रहा है। उन्होंने कहा, जब समस्या वैश्विक प्रकृति की है, तो इसका समाधान भी वैश्विक होना है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि राजस्व आसूचना से जुड़े अधिकारियों को इन अपराधियों पर लगाम लगाने के लिए अपने कौशल को नवीनतम प्रौद्योगिकी एवं डिजिटल प्रणालियों के अनुकूल ढालना होगा। मोदी ने अपने लिखित संदेश में कहा, मुझे यकीन है कि डीआरआई देश की अर्थव्यवस्था को बचाए रखने के लिए दुनिया के बेहतरीन तरीकों एवं प्रक्रियाओं को अपनाना जारी रखेगा।

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उन्होंने कहा कि अगले 25 वर्षों में भारत को सशक्त एवं आत्मनिर्भर बनाने का संकल्प पूरा करने में डीआरआई के अधिकारियों को भी अपनी तरफ से योगदान देना चाहिए। उन्होंने वित्तीय गड़बड़ियों को रोकने और देश के आर्थिक हितों को सुरक्षित रखने में डीआरआई अधिकारियों के ‘अथक प्रयासों’ की सराहना भी की। वित्त वर्ष 2021-22 में डीआरआई ने 3,463 किलोग्राम हेरोइन, 833 किलोग्राम सोना और 321 किलोग्राम कोकीन को जब्त किया था। इस मौके पर राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल ने अपने संदेश में कहा कि डीआरआई ने संवेदनशील पदार्थों की रोकथाम एवं उनकी जांच में अहम भूमिका निभाई है। उन्होंने कहा, ‘‘डीआरआई ने देश एवं नागरिकों की सुरक्षा और संवेदनशील वस्तुओं के प्रसार पर लगाम लगाने में अत्यधिक योगदान दिया है।’’  

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Maharashtra News : नवलखा की साथी साहबा हुसैन ने शराब की बोतलें व सिगरेट के पैकेट पुलिस को सौंपे

Police 1
Navlakha's companion Sahba Hussain handed over liquor bottles and cigarette packets to the police
locationभारत
userचेतना मंच
calendar30 Nov 2025 09:04 AM
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Maharashtra News : मुंबई। एल्गार परिषद-माओवादी संबंध मामले में आरोपी गौतम नवलखा की साथी साहबा हुसैन ने शराब की बोतलें और सिगरेट के पैकेट पुलिस को सौंप दिए हैं। पुलिस के एक अधिकारी ने सोमवार को यह जानकारी दी। राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) ने उनके ये सामान उस घर में लाने पर आपत्ति जतायी थी, जहां नवलखा को नजरबंद रखा गया है। नवलखा (70) को 19 नवंबर को जेल से रिहा करने के बाद नवी मुंबई के बेलापुर-अग्रोली इलाके स्थित एक मकान में ले जाया गया था, जहां वह एक महीने के लिए नजरबंद रहेंगे।

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अधिकारी ने बताया कि नवलखा के साथ रह रही साहबा हुसैन वहां अपने इस्तेमाल के लिए शराब की दो बोतलें और सिगरेट लाई थीं। उन्होंने नवलखा को वहां लाए जाने से पहले घर की तलाशी लेने आए एनआईए के अधिकारियों को भी इसकी जानकारी दी थी। उन्होंने अधिकारियों को बताया था कि ये सामान उनके लिए ही हैं, नवलखा के लिए नहीं, क्योंकि वह न शराब पीते हैं न सिगरेट। उन्होंने बताया कि एनआईए के अधिकारियों ने फिर भी इसको लेकर आपत्ति जतायी और इसके बाद सामान बेलापुर पुलिस की सीबीडी इकाई को सौंप दिया गया। अधिकारी ने बताया कि इसके बाद हुसैन ने एक पत्र लिखकर एनआईए को भी इसकी जानकारी दी। नवलखा को पर्याप्त सुरक्षा घेरे में 40 मिनट की सैर पर जाने की अनुमति भी दी गई है।

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उच्चतम न्यायालय ने पिछले महीने चिकित्सा आधार पर नवलखा को जमानत दे दी थी। ऐसा बताया जा रहा है कि कार्यकर्ता कई बीमारियों से पीड़ित हैं। नवलखा अप्रैल 2020 से जेल में बंद थे।

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यह मामला पुणे के शनिवारवाड़ा में 31 दिसंबर 2017 को हुए एल्गार परिषद सम्मेलन में दिए कथित उकसावे वाले भाषणों से जुड़ा है। पुलिस का दावा है कि इन भाषणों से शहर के बाहरी इलाके में स्थित कोरेगांव-भीमा युद्ध स्मारक के समीप अगले दिन हिंसा भड़क गई थी। पुणे पुलिस ने यह भी दावा किया था कि माओवादियों ने इस सम्मेलन का समर्थन किया था। एनआईए ने बाद में इस मामले की जांच संभाली और इसमें कई सामाजिक कार्यकर्ताओं तथा शिक्षाविदों को आरोपी बनाया गया।
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International: भारत, जर्मनी ने समग्र प्रवासन आवाजाही साझेदारी समझौते पर किए हस्ताक्षर

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locationभारत
userचेतना मंच
calendar05 Dec 2022 09:07 PM
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International: नयी दिल्ली। भारत और जर्मनी ने ऊर्जा, कारोबार और जलवायु परिवर्तन सहित द्विपक्षीय सहयोग को प्रगाढ़ बनाने पर सोमवार को विस्तृत चर्चा की तथा समग्र प्रवासन एवं आवाजाही साझेदारी समझौते पर हस्ताक्षर किए जिससे लोगों के लिए एक-दूसरे के देश में पढ़ाई, शोध और काम करना आसान होगा।

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दोनों देशों ने हिन्द प्रशांत, यूक्रेन संघर्ष, अफगानिस्तान की स्थिति, पाकिस्तान से जुड़े मुद्दे, सीरिया की स्थिति सहित क्षेत्रीय एवं वैश्विक विषयों पर विचारों का आदान प्रदान किया ।

विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि भारत और जर्मनी के बीच दस समझौतों पर हस्ताक्षर अधिक समकालीन द्विपक्षीय साझेदारी के आधार का मजबूत संकेत है।

वहीं, जर्मनी की विदेश मंत्री एनालेना बेयरबॉक ने कहा कि ऐसे समय में जब दुनिया कठिन परिस्थितियों का सामना कर रही है तो हमारे लिये मिलकर आगे बढ़ना महत्वपूर्ण है।

बेयरबॉक दो दिवसीय यात्रा पर सोमवार को भारत पहुंची। उनकी यात्रा ऐसे समय में हुई है जब चार दिन पहले ही भारत ने जी20 समूह की औपचारिक अध्यक्षता ग्रहण की है।

बैठक के बाद बेयरबॉक के साथ संयुक्त प्रेस संबोधन में जयशंकर ने कहा, ‘‘ हमने अफगानिस्तान की स्थिति और पाकिस्तान के बारे में चर्चा की जिसमें सीमा पार आतंकवाद से जुड़ा विषय भी शामिल था।’’

जयशंकर ने कहा कि हमने हिन्द प्रशांत के विषय और ईरान के मुद्दे पर भी चर्चा की । उन्होंने कहा कि विभिन्न विषयों पर जर्मनी की विदेश मंत्री के विचारों को सुनना काफी उपयोगी और फलदायक रहा ।

उन्होंने कहा कि हमने लचीली आपूर्ति श्रृंखला सृजित करने और डिजिटल क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने के बारे में भी चर्चा की। इसके साथ ही हमारी चर्चा में अधिक सुरक्षित वैश्विक अर्थव्यस्था का विषय भी रहा ।

विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि हमने लोगों से लोगों के बीच सम्पर्क को बढ़ाने पर चर्चा के साथ ही इस दिशा में समग्र प्रवासन एवं आवाजाही साझेदारी समझौते पर हस्ताक्षर किए जिससे लोगों के लिए एक-दूसरे के देश में पढ़ाई, शोध और काम करना आसान होगा।

जयशंकर ने कहा कि हमारी चर्चा में वीजा से जुड़ा मुद्दा भी उठा ।

जर्मनी की विदेश मंत्री बेयरबॉक ने कहा कि दुनिया कठिन परिस्थितियों का सामना कर रही है और इस समय में भारत ने जी20 की अध्यक्षता ग्रहण की है, साथ ही संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद का मासिक अध्यक्ष भी बना है।

जर्मनी की विदेश मंत्री ने कहा कि हम भारत के साथ सुरक्षा सहयोग को और बढ़ाना चाहते हैं। बेयरबॉक ने कहा कि भारत सबसे बड़ा लोकतंत्र और उभरती हुई अर्थव्यवस्था है और दुनिया के अनेकों देशों के लिये आदर्श है।

उन्होंने कहा कि हमने यूक्रेन पर रूस के हमले की स्थिति को भी देखा है। बेयरबॉक ने कहा कि जर्मनी ने नियम आधारित अंतरराष्ट्रीय व्यवस्था का समर्थन किया है जो संयुक्त राष्ट्र चार्टर के अनुरूप हो ।

विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि यूक्रेन मुद्दे पर भारत का रुख स्पष्ट है कि यह युद्ध का युग नहीं है और बातचीत के जरिये समाधान निकाला जाना चाहिए।

इससे पहले, बेयरबॉक ने अपने बयान में भारत को जर्मनी का नैसर्गिक साझेदार बताया । उन्होंने कहा कि 21वीं सदी, खास तौर पर हिन्द प्रशांत क्षेत्र में विश्व व्यवस्था को आकार प्रदान करने में भारत की निर्णायक भूमिका होगी और भारत की यात्रा करना दुनिया के छठे हिस्से की यात्रा करने जैसा है।

उन्होंने कहा, ‘‘ भारत सरकार ने न केवल जी20 में अपने लिये महत्वाकांक्षी लक्ष्य रखा है बल्कि अपने देश के लिए भी एक लक्ष्य रखा है। जब नवीकरणीय ऊर्जा के विस्तार की बात आती है तब भारत ऊर्जा परिवर्तन (उपयोग) में पहले से ज्यादा आगे बढ़ना चाहता है और इसमें जर्मनी, भारत के साथ खड़ा है।’’

बेयरबॉक ने कहा कि जलवायु संकट के असर से हम सभी प्रभावित हुए हैं, यूरोप और भारत में भी आजीविका को नुकसान पहुंचा है, ऐसे में हम आर्थिक, जलवायु क्षेत्र और सुरक्षा नीति को लेकर अपने सहयोग को सामरिक गठजोड़ के स्तर से आगे ले जाना चाहते हैं और यह केवल खोखली बातें नहीं हैं ।

इस बीच, अधिकारियों ने कहा कि दोनों विदेश मंत्रियों के बीच बैठक के दौरान ऊर्जा, कारोबार और जलवायु परिवर्तन सहित द्विपक्षीय सहयोग को प्रगाढ़ बनाने जैसे विषय चर्चा के एजेंडे में प्रमुख रहे ।

बैठक से पहले विदेश मंत्री जयशंकर ने बेयरबॉक के साथ चित्र साझा करते हुए ट्वीट किया कि भारत में आपका स्वागत है।

बेयरबॉक के सोमवार को भारत पहुंचने पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने ट्वीट कर कहा कि अपनी पहली आधिकारिक यात्रा पर नयी दिल्ली पहुंचने पर जर्मनी की विदेश मंत्री बेयरबॉक का स्वागत है। यह हमारे सामरिक गठजोड़ में प्रगति की समीक्षा करने तथा क्षेत्रीय एवं वैश्विक घटनाक्रम पर विचारों का आदान प्रदान करने का अवसर है।

भारत और जर्मनी ने वर्ष 2021 में अपने राजनयिक संबंधों की 70वीं वर्षगांठ मनायी थी। इस वर्ष प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी छठे भारत-जर्मनी अंतर सरकारी सम्मेलन में हिस्सा लेने बर्लिन गए थे । इसके अलावा भारत जी7 देशों की बैठक में सहभागी देश के रूप में शामिल हुआ था ।

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