Stock Market Chandrayaan Effect: चंद्रयान 3 की सफल लैंडिंग के बाद कुछ शेयर रॉकेट की तरह उड़ते दिखे, निवेशकों को हुआ मुनाफा

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Stock Market Chandrayaan Effect:
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calendar27 Nov 2025 03:45 AM
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Stock Market Chandrayaan Effect:  भारत ने जैसे ही अपने चंद्रयान-3 का सफल परीक्षण किया पूरे विश्व में इसे देखा। वही शेयर बाजार में भी चंद्रयान-3 के सफल लैंडिंग का बड़ा असर दिखा जैसे ही सॉफ्ट लैंडिंग चंद्रयान ने की शेयर बाजार में भी कुछ शेयर रॉकेट की तरह उड़ गए। इन शहरों पर पैसा लगाने वाले निवेशकों को भारी मुनाफा हुआ है और आगे भी इन शहरों में इजाफा देखा जा सकता है। भारत ने बुधवार को इतिहास रच दिया है। चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर उतरने के बाद इसरो के मून मिशन चंद्रयान 3 कैलेंडर ने चांद की तस्वीरें भेजनी शुरू कर दी है। बुधवार शाम को चांद की सतह पर धीरे-धीरे उतर रहे लैंडर विक्रम ने उतरते वक्त ही यह फोटो खींची है। भारत चांद के दक्षिणी ध्रुव पर पहुंचने वाला दुनिया का पहला देश बन गया है। चांद पर लैंडिंग करने वाला भारत दुनिया का चौथा देश है। इससे पहले अमेरिका, चीन और सोवियत रूस को यह उपलब्धि हासिल है। इसरो के chandrayaan-3 के लैंडर विक्रम ने बुधवार शाम 6:04 बजे चांद की सतह पर सफल लैंडिंग की। chandrayaan-3 की सफलता के बाद भारत की उन कंपनियों के शेयरों को पंख लग गए हैं जो एयरोस्पेस एवं डिफेंस कारोबार में काम करती हैं। Stock Market Chandrayaan Effect:  गुरुवार को शेयर बाजार के शुरुआती कारोबार में उन सभी कंपनियों के शेयरों में काफी तेजी दर्ज की गई है जो डिफेंस और एयरोस्पेस सेगमेंट में काम करती हैं। निवेशकों की पूंजी 1 दिन में 2.5 अरब डॉलर बढ़ गई है। गोदरेज इंडस्ट्रीज, एल एंड टी, टाटा स्टील जैसी कंपनियों के शेयर पर भी चंद्रयान की सफल लैंडिंग का असर देखा जा रहा है। भारत के एयरोस्पेस प्रोग्राम में भाग लेने वाली इन कंपनियों पर दुनिया की नजरें टिकी हुई है और ऐसा लगता है कि आने वाले दिनों में इन कंपनियों के शेयरों में और तेजी दर्ज की जा सकती है। Stock Market के शुरुआती कारोबार में गुरुवार को पारस डिफेंस के शेयरों में 12 फ़ीसदी की तेजी दर्ज की गई। अगर चंद्रयान मिशन में कंपोनेंट की सप्लाई करने वाली कंपनियों की बात करें तो लिंडे इंडिया के शेयरों में इस हफ्ते 23 फ़ीसदी की तेजी आई है। chandrayaan-3 मिशन में क्रिटिकल मॉड्यूल और सिस्टम सप्लाई करने वाली सेंटम इलेक्ट्रॉनिक्स के शेयरों में भी इस हफ्ते 11 फ़ीसदी की तेजी आई है। Stock Market Chandrayaan Effect:  सेटेलाइट कम्युनिकेशन प्रोवाइड करने वाली कंपनी एवेंटल लिमिटेड के शेयरों में 12 फीसदी तेजी आई है। एवेंटल लिमिटेड हाई पावर ब्रॉडबैंड वायरलेस, सेटेलाइट कम्युनिकेशन और ब्रॉडबैंड एक्सेस टेक्नोलॉजीज के डिजाइन और डेवलपमेंट में शामिल है। कंपनी के पास 40 मेंबर की एक इंजीनियरिंग टीम है जिससे भारत सरकार के डिपार्टमेंट ऑफ साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च से मान्यता मिली हुई है। हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड ने लेंडर मॉड्यूल विक्रम बनाया था, इसके शेयरों में काफी तेजी दर्ज की जा रही है। भारत के स्पेस मिशन में काम काज करने वाली लार्सन एंड टूब्रो टेक्नोलॉजी सर्विसेज के शेयरों में भी बुधवार और गुरुवार को तेजी दर्ज की गई है। chandrayaan-3 स्पेसक्राफ्ट के कामकाज से जुड़ी नेल्को के शेयरों में 8 फीसदी की तेजी आई है। इसके साथ ही l&t, वालचंदनगर इंडस्ट्रीज, भारत फोर्ज, एस्ट्रा माइक्रोवेव प्रोडक्ट्स और एम टार टेक्नोलॉजी भी भारत के एयरोस्पेस एवं डिफेंस सेक्टर में कामकाज करती है। चंद्रमा की छत पर chandrayaan-3 की सफल लैंडिंग का असर भारत की सभी ऐरोस्पेस कंपनियों के शेयर पर देखा जा रहा है। भारत के चंद्रयान मिशन की सफलता के बाद दुनिया के कई दिग्गज ब्रोकरेज हाउस ने भारत के सैटेलाइट लॉन्च मार्केट की सूची में भारत की रैंकिंग सुधार दी है। इससे मेक इन इंडिया इनीशिएटिव को बल मिलने की उम्मीद है और दुनिया के एयरोस्पेस बाजार में भारत की दावेदारी मजबूत हुई है।चंद्रयान की सफल लैंडिंग के बाद शेयर बाजार मे भी कुछ शेयर रॉकेट की तरह उड़ते दिखे निवेशकों को हुआ मुनाफा भारत ने जैसे ही अपने चंद्रयान-3 का सफल परीक्षण किया पूरे विश्व में इसे देखा। वही शेयर बाजार में भी चंद्रयान-3 के सफल लैंडिंग का बड़ा असर दिखा जैसे ही सॉफ्ट लैंडिंग चंद्रयान ने की शेयर बाजार में भी कुछ शेयर रॉकेट की तरह उड़ गए। इन शहरों पर पैसा लगाने वाले निवेशकों को भारी मुनाफा हुआ है और आगे भी इन शहरों में इजाफा देखा जा सकता है। भारत ने बुधवार को इतिहास रच दिया है। चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर उतरने के बाद इसरो के मून मिशन चंद्रयान 3 कैलेंडर ने चांद की तस्वीरें भेजनी शुरू कर दी है। बुधवार शाम को चांद की सतह पर धीरे-धीरे उतर रहे लैंडर विक्रम ने उतरते वक्त ही यह फोटो खींची है। भारत चांद के दक्षिणी ध्रुव पर पहुंचने वाला दुनिया का पहला देश बन गया है। चांद पर लैंडिंग करने वाला भारत दुनिया का चौथा देश है। इससे पहले अमेरिका, चीन और सोवियत रूस को यह उपलब्धि हासिल है। Stock Market Chandrayaan Effect:  इसरो के chandrayaan-3 के लैंडर विक्रम ने बुधवार शाम 6:04 बजे चांद की सतह पर सफल लैंडिंग की। chandrayaan-3 की सफलता के बाद भारत की उन कंपनियों के शेयरों को पंख लग गए हैं जो एयरोस्पेस एवं डिफेंस कारोबार में काम करती हैं। गुरुवार को शेयर बाजार के शुरुआती कारोबार में उन सभी कंपनियों के शेयरों में काफी तेजी दर्ज की गई है जो डिफेंस और एयरोस्पेस सेगमेंट में काम करती हैं। निवेशकों की पूंजी 1 दिन में 2.5 अरब डॉलर बढ़ गई है। गोदरेज इंडस्ट्रीज, एल एंड टी, टाटा स्टील जैसी कंपनियों के शेयर पर भी चंद्रयान की सफल लैंडिंग का असर देखा जा रहा है। भारत के एयरोस्पेस प्रोग्राम में भाग लेने वाली इन कंपनियों पर दुनिया की नजरें टिकी हुई है और ऐसा लगता है कि आने वाले दिनों में इन कंपनियों के शेयरों में और तेजी दर्ज की जा सकती है। Stock Market के शुरुआती कारोबार में गुरुवार को पारस डिफेंस के शेयरों में 12 फ़ीसदी की तेजी दर्ज की गई। अगर चंद्रयान मिशन में कंपोनेंट की सप्लाई करने वाली कंपनियों की बात करें तो लिंडे इंडिया के शेयरों में इस हफ्ते 23 फ़ीसदी की तेजी आई है। chandrayaan-3 मिशन में क्रिटिकल मॉड्यूल और सिस्टम सप्लाई करने वाली सेंटम इलेक्ट्रॉनिक्स के शेयरों में भी इस हफ्ते 11 फ़ीसदी की तेजी आई है। सेटेलाइट कम्युनिकेशन प्रोवाइड करने वाली कंपनी एवेंटल लिमिटेड के शेयरों में 12 फीसदी तेजी आई है। एवेंटल लिमिटेड हाई पावर ब्रॉडबैंड वायरलेस, सेटेलाइट कम्युनिकेशन और ब्रॉडबैंड एक्सेस टेक्नोलॉजीज के डिजाइन और डेवलपमेंट में शामिल है। कंपनी के पास 40 मेंबर की एक इंजीनियरिंग टीम है जिससे भारत सरकार के डिपार्टमेंट ऑफ साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च से मान्यता मिली हुई है। हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड ने लेंडर मॉड्यूल विक्रम बनाया था, इसके शेयरों में काफी तेजी दर्ज की जा रही है। भारत के स्पेस मिशन में काम काज करने वाली लार्सन एंड टूब्रो टेक्नोलॉजी सर्विसेज के शेयरों में भी बुधवार और गुरुवार को तेजी दर्ज की गई है। chandrayaan-3 स्पेसक्राफ्ट के कामकाज से जुड़ी नेल्को के शेयरों में 8 फीसदी की तेजी आई है। इसके साथ ही l&t, वालचंदनगर इंडस्ट्रीज, भारत फोर्ज, एस्ट्रा माइक्रोवेव प्रोडक्ट्स और एम टार टेक्नोलॉजी भी भारत के एयरोस्पेस एवं डिफेंस सेक्टर में कामकाज करती है। चंद्रमा की छत पर chandrayaan-3 की सफल लैंडिंग का असर भारत की सभी ऐरोस्पेस कंपनियों के शेयर पर देखा जा रहा है। भारत के चंद्रयान मिशन की सफलता के बाद दुनिया के कई दिग्गज ब्रोकरेज हाउस ने भारत के सैटेलाइट लॉन्च मार्केट की सूची में भारत की रैंकिंग सुधार दी है। इससे मेक इन इंडिया इनीशिएटिव को बल मिलने की उम्मीद है और दुनिया के एयरोस्पेस बाजार में भारत की दावेदारी मजबूत हुई है।

Sugar Export Ban: सरकार ले सकती है बड़ा फैसला, एक अक्टूबर से चीनी के निर्यात पर लग सकता है प्रतिबंध

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Stock Market: शुरुआत में बढ़त से निवेशक हुए मालामाल, सेंसेक्स में 250 अंक की हुई बढ़त

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locationभारत
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calendar28 Nov 2025 02:43 PM
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Stock Market: गुरुवार को शेयर बाजार के कामकाज की शुरुआत तेजी पर हुई है। और शुरुआती कारोबार में BSE शेयर बाजार 250 अंक की तेजी के साथ खुल गया है. बीएसई सेंसेक्स 250 अंक की तेजी पर कामकाज जारी था जबकि निफ्टी 19500 के ऊपर खुल गया था. Stock Market के शुरुआती कारोबार में पारस डिफेंस के शेयरों में 12 फ़ीसदी की तेजी दर्ज की गई और अडानी पावर के शेयर 4 फ़ीसदी तक पहुंच गया। शेयर बाजार (Stock Market) के शुरुआती कारोबार में डिफेंस और एयरोस्पेस से जुड़े कंपनियों में काफी तेजी दर्ज की जा रही थी. बुधवार शाम को भारत के चंद्रयान 3 की सफलता की वजह से एयरोस्पेस सेक्टर की कंपनियों के शेयरों में तेजी देखने को मिली थी। चंद्रयान-3 की सफलता पर पाकिस्तानी सीमा हैदर ने परिवार के साथ फोड़े पटाखे, हिंदुस्तान जिंदाबाद के लगाए नारे, देखें वीडियो गुरुवार के शुरुआती कारोबार में संधार टेक्नोलॉजीज के शेयरों में करीब 5 फ़ीसदी की तेजी देखी गई। जबकि जियो फाइनेंसियल सर्विसेज के शेयरों में 5 फीसदी की कमजोरी थी और यह ₹213 के लेवल पर कामकाज कर जारी था। शेयर बाजार के शुरुआती कारोबार के दौरान तेजी दिखाने वाले शेयरों की बात करें तो इसमें हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड, भारत डायनॉमिक्स लिमिटेड, भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड, पारस डिफेंस, लार्सन एंड टूब्रो, एम टार टेक्नोलॉजी, मिश्र धातु निगम लिमिटेड और वालचंदनगर इंडस्ट्रीज लिमिटेड के शेयर शामिल हो गया था। भारत के चंद्रयान मिशन की सफलता के बाद दुनिया के कई दिग्गज ब्रोकरेज हाउस ने भारत के सैटेलाइट लॉन्च मार्केट की सूची में भारत की रैंकिंग में सुधार आया है। इससे मेक इन इंडिया इनीशिएटिव को बल मिलने की उम्मीद है और दुनिया के एयरोस्पेस बाजार में भारत की दावेदारी मजबूत होना शुरू हुई है। अगर भारत के स्पेस सेक्टर को खोलने की बात करें तो हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड और एल&टी इस कारोबार में विजेता कंपनियां बनकर उभरना शुरू हुई है। ग्लोबल रॉकेट और सेटेलाइट मार्केट 29 अरब डॉलर का है और आने वाले समय में भारत में इसकी हिस्सेदारी बढ़ जाती है।
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Sugar Export Ban: सरकार ले सकती है बड़ा फैसला, एक अक्टूबर से चीनी के निर्यात पर लग सकता है प्रतिबंध

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Sugar Export Ban
locationभारत
userचेतना मंच
calendar29 Nov 2025 04:13 PM
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Sugar Export Ban: मीना कौशिक। अगले सीजन में एकअक्टूबर से दुनिया के कई देश हमारी चीनी की मिठास के लिए तरस सकते हैं क्योंकि जानकार सूत्रों का मानना है की आने वाले सीजन में भारत, कई देशों में चीनी के निर्यात पर प्रतिबंध लगा सकता है। क्योंकि इस वर्ष चीनी के उत्पादन में कमी का आकलन बताया जा रहा है और सरकार की प्राथमिकता पहले अपने देश में चीनी की मांग पूरी करने की ,है बाद में निर्यात की.... Sugar Export Ban

कम उत्पादन की आशंका

दरअसल चीनी की कीमतों को लेकर कुछ समय से बढ़ोतरी देखी गई है अगर चीनी का निर्यात भारत रोक देता है तो दुनिया के कई देशों में चीनी के दाम तेजी से बढ़ने की आशंका होगी।जानकार सूत्रों के मुताबिक बीते 7 सालों में पहली बार सरकार महत्वपूर्ण फैसला लेने की तैयारी में है क्योंकि हमारे पास निर्यात कोटे के लिए पर्याप्त चीनी उपलब्ध नहीं होगी। जानकार सूत्रों का मानना है कि इस वर्ष निर्यात कोटे में सरकार की तरफ से कोटे की मात्रा पिछले साल के मुताबिक बहुत कम रखी गई।

 सात सालों में सरकार पहली बार कुछ देशों में चीनी के निर्यात पर प्रतिबंध लगा सकती है 

जानकार सूत्रों से पता चला है कि सात सालों में सरकार पहली बार बाहर के कुछ देशों में चीनी के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने का महत्वपूर्ण फैसला लेने वाली है जिसे 1 अक्टूबर से लागू किया जा सकता है। इस फैसले के तहत चीनी मिल बाहर के देशों में निर्यात नहीं कर सकेंगे। सरकार की मंशा पहले भारत के घरेलू बाजार की मांग को पूरा करना है। चीनी निर्यात पर प्रतिबंध का असर न्यूयॉर्क और लंदन के बाजारों में पड़ सकता है और वहां चीनी के दाम में उतार चढ़ाव देखने को मिल सकता है। Sugar Export Ban

चीनी मिल, बाहर के देशों में निर्यात नहीं कर सकेंगे

इससे ग्लोबल मार्केट पर चीनी के दाम प्रभावित होंगे। जानकार सूत्रों का कहना है अगले सीजन में हमारे पास निर्यात कोटे के लिए आवंटन के वास्ते पर्याप्त चीनी नहीं होगी। इस सीजन में सरकार ने चीनी मिलों को सिर्फ 61 लाख टन चीनी एक्सपोर्ट करने की इजाजत दी थी। पिछले साल सरकार ने 1.11 करोड़ टन निर्यात की इजाजत दी । पिछले साल की तुलना में 61 लाख टन का एक्सपोर्ट काफी कम है। उल्लेखनीय है कि सरकार ने वर्ष 2016 में भी चीनी के निर्यात पर 20 फीसदी टैक्स लगाया था। तब देश में चीनी की उपलब्धता बढ़ाने के लिए ऐसा किया गया था। इस बार भी सरकार का फोकस पहले घरेलू बाजार की मांग को पूरा करना है। यानी इस बार न्यूजीलैंड और इंग्लैंड जैसे कई देश भारतीय चीनी को तरस सकते हैं।

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