त्योहारों पर रहें सावधान, कोरोना की है आप पर नजर
नोएडा। कोरोना के कहर से लोग अभी पूरी तरह उबर नहीं पाए हैं। कोरोना के दंश से भारत के लाखों…
Sonia Khanna | October 13, 2021 5:32 AM
नोएडा। कोरोना के कहर से लोग अभी पूरी तरह उबर नहीं पाए हैं। कोरोना के दंश से भारत के लाखों लोगों ने जहां अपनों को खोया वहीं बड़ी संख्या में आज भी लोग इसकी गिरफ्त से बाहर निकल नहीं पाए हैं। सरकार की मानें तो भारत में इस समय कोरोना की रफ्तार पर लगभग नियंत्रण पा लिया गया है। भारत में कोरोना संक्रमितों की लगातार तेजी से घटती संख्या के चलते ही केंद्र के साथ राज्य सरकारें भी स्थिति को देखते हुए कोरोना नियमों में ढील दे रही हैं। लेकिन हमारी बेफ्रिक्री और लापरवाही एक बार फिर हमें वहीं लाकर न खड़ा कर दे जिससे बचने के लिए इतने दिनों में हमने न जाने कितने लोगों को खोया न जाने क्या-क्या देखा और क्या-क्या सहा। ज्ञात हो कि केरल में ओणम, महाराष्ट्र में गणेश चतुर्थी और दिल्ली-उत्तर प्रदेश में ईद व रक्षा बंधन के बाद कोरोना के मरीजों में अप्रत्याशित रूप से बढ़ोत्तरी देखने को मिली है। दुर्गा पूजा के साथ ही देश में त्योहारी मास शुरू हो चुका है ऐसे में हमारी जरा सी लापरवाही बड़े खतरे को आमंत्रण दे सकती है।
गुप्ता हॉस्पिटल एंड मैटरनिटी सेंटर के डायरेक्टर डॉ. सतीश गुप्ता ने बताया कि कोरोना का खतरा अभी पूरी तरह से टला नहीं है बल्कि उसकी निगाहें भीड़भाड़ वाली जगहों और हमारी-आपकी लापरवाही पर टिकी हैं। हमारी जरा सी चूक कोरोना की तीसरी लहर का कारण बन सकती है। उन्होंने कहा कि कोरोना अभी भी हमारे आसपास मौजूद है। खुद को जिंदा रखने और संख्या बढ़ाने के लिए उसे नई जीवित कोशिकाओं की जरूरत है और बस वह इसी फिराक में है कि हमसे चूक हो और वह हम पर हावी हो जाए लिहाजा हमें हरहाल में बेफ्रिक्री और लापरवाही से बचना होगा।
डॉ. सतीश गुप्ता ने बताया कि कोरोना संक्रमण संक्रमित व्यक्ति की छींक, खांसी या बोलने से निकले ड्रापलेट्स से किसी अन्य व्यक्ति तक पहुंचता है। दो गज की दूरी तक यदि उसे कोई स्वस्थ्य जीवित कोशिका नहीं मिलती तो जमीन पर गिरकर वह स्वयं ही नष्ट हो जाता है। लेकिन त्योहारों के समय हम इस खतरे को नजरअंदाज करते हुए दो गज की दूरी भूल जाते हैं और बिना मास्क लगाए एक-दूसरे से बात करना शुरू कर देते हैं और यही लापरवाही हमारे लिए भारी पड़ सकती है। डॉ. गुप्ता के अनुसार घटता तापमान कोरोना संक्रमण के लिए अनुकूल समय होता है ऐसे में हमें ज्यादा सावधान रहने की आवश्यकता है। उन्होंने बताया कि गर्मी की अपेक्षा कम तापमान में कोरोना संक्रमण तेजी से बढ़ता और फलता-फूलता है। उन्होंने बताया कि मास्क पहनने में लोग अभी भी लापरवाही बरत रहे हैं यह उनके और आने वाले कल के लिए सही नहीं है। उन्होंने बताया कि लोग मास्क लगाने में शायद शर्म महसूस करते हैं, जोर-जबरजस्ती और शासन-प्रशासन के डर के कारण अगर वह मास्क लगाते भी हैं तो वह भी आधे मुंह के नीचे से पहनकर अपने कर्तव्यों की इतिश्री समझ लेते हैं। लेकिन उनका ऐसा करना समाज के लिए बेहद खतरनाक है। उन्होंने बताया कि मास्क कोरोना सहित तमाम और तरह के संक्रमण से हमारी रक्षा करता है इसलिए लोग इसके महत्व को समझें और इसे बताए गए दिशा-निर्देशों के अनुसार ही पहनें।
डॉ. गुप्ता ने जानकारी देते हुए बताया कि बीमार और बुजुर्गों को यह संक्रमण आसानी से अपनी चपेट में ले लेता है क्योंकि ऐसे लोगों में रोगप्रतिरोधक क्षमता कम हो जाती है। इसलिए बेहतर होगा कि ऐसे लोगों को एक अलग कमरे में रखा जाए उनके खान पान का उचित ध्यान रखा जाए तथा उन्हें बच्चों से दूर ही रखा जाए तो बेहतर होगा। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि वैक्सीन ही कोरोना से बचने का एक मात्र विकल्प है इसे लगवाने में किसी भी तरह की लापरवाही न बरतें। वैसे भी हमारे देश में कई कंपनियों की वैक्सीन उपलब्ध हैं चाहे वह कोविशील्ड हो को-वैक्सीन हो या स्पुतनिक की जो भी वैक्सीन आपके आसपास उपलब्ध हो आप उसे समय पर जरूर लगवाएं। उन्होंने बताया कि कोरोना हमारी एंडीबॉडी पर अटैक करता है और वैक्सीन खोई हुई एंटीबॉडी को फिर से बढ़ाता है। इसलिए आप ये समझ लीजिए कि वैक्सीन हमारे लिए रामबाण है।