उत्तर प्रदेश में लेखपाल भर्ती में आरक्षण विवाद का मामला, योगी ने दिए निर्देश

योगी आदित्यनाथ की सरकार ने सभी सरकारी भर्तियों में आरक्षण नियमों का सख्ती से पालन करने का निर्देश जारी किया। इसका मकसद न केवल विपक्ष के आरोपों का जवाब देना था, बल्कि चुनावी साल में पिछड़े, दलित और अन्य आरक्षित वर्ग के असंतोष को कम करना भी था।

cm yogi (27)
योगी आदित्यनाथ 1
locationभारत
userयोगेन्द्र नाथ झा
calendar31 Dec 2025 06:21 PM
bookmark

UP News : उत्तर प्रदेश में हाल ही में लेखपाल भर्ती में आरक्षण के नियमों के पालन को लेकर विवाद खड़ा हुआ। शिकायत थी कि ओबीसी वर्ग को उनके तय प्रतिशत से कम पद दिए गए, जबकि नियम के अनुसार उन्हें अधिक हिस्सेदारी मिलनी चाहिए थी। यह मामला पंचायत चुनाव 2025 के पहले राजनीतिक रूप से संवेदनशील बन गया। योगी आदित्यनाथ की सरकार ने सभी सरकारी भर्तियों में आरक्षण नियमों का सख्ती से पालन करने का निर्देश जारी किया। इसका मकसद न केवल विपक्ष के आरोपों का जवाब देना था, बल्कि चुनावी साल में पिछड़े, दलित और अन्य आरक्षित वर्ग के असंतोष को कम करना भी था। मुख्य सचिव (नियुक्ति एवं कार्मिक) ने सभी विभागों और भर्ती एजेंसियों को निर्देश दिए कि वर्टिकल आरक्षण (एससी, एसटी, ओबीसी) और हॉरिजॉन्टल आरक्षण (महिला, दिव्यांग, पूर्व सैनिक आदि) का पूरा पालन सुनिश्चित किया जाए।

आरक्षण और पदों का विवरण

सरकारी नौकरियों में कुल 60% आरक्षण लागू है। लेखपाल भर्ती में ओबीसी को शुरू में केवल 18% पद दिए गए थे, जबकि नियम के मुताबिक उन्हें 27% पद मिलना चाहिए था। विरोध और समीक्षा के बाद ओबीसी के पद बढ़ाए गए और सामान्य वर्ग के पद घटाए गए।

समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने इसे आरक्षित वर्ग विरोधी और अन्यायपूर्ण कदम बताया। जैसे ही यह सरकार के संज्ञान में आया इस पूरी तरह से सुधार लिया गया।

सामान्य वर्ग के वोटरों को खुश करने के लिए नियमों की अनदेखी

उनका आरोप था कि सरकार सामान्य वर्ग के वोटरों को खुश करने के लिए जानबूझकर नियमों की अनदेखी कर रही थी। सरकार ने इस विवाद के बाद स्पष्ट किया कि भविष्य में सभी भर्तियों में आरक्षण का पूर्ण और पारदर्शी पालन किया जाएगा। लेखपाल भर्ती विवाद ने यह दिखाया कि राजनीतिक दबाव और चुनावी संवेदनशीलता के समय में आरक्षण एक अहम मुद्दा बन जाता है। योगी सरकार ने इसे शांत करने और भर्ती प्रक्रिया में पारदर्शिता बनाए रखने के लिए कड़े कदम उठाए।

संबंधित खबरें

अगली खबर पढ़ें

उत्तर प्रदेश की सबसे बड़ी खबर, निकली पुलिस की बम्पर भर्ती

उत्तर प्रदेश पुलिस में भर्ती की घोषणा करके उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रदेश के युवा वर्ग को न्यू ईयर-2026 का सुनहरा गिफ्ट दे दिया है। उत्तर प्रदेश सरकार ने हजार दो हजार नहीं बल्कि 33 हजार युवाओं को पुलिस में भर्ती करने की विज्ञप्ति जारी कर दी है।

उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती
उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती 2026
locationभारत
userआरपी रघुवंशी
calendar31 Dec 2025 06:57 PM
bookmark

UP News : उत्तर प्रदेश की सबसे बड़ी खबर वर्ष-2025 के आखिरी दिन आई है। उत्तर प्रदेश की सबसे बड़ी खबर यह है कि उत्तर प्रदेश सरकार ने उत्तर प्रदेश पुलिस में बम्पर भर्ती निकाली है। उत्तर प्रदेश पुलिस में भर्ती की घोषणा करके उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रदेश के युवा वर्ग को न्यू ईयर-2026 का सुनहरा गिफ्ट दे दिया है। उत्तर प्रदेश सरकार ने हजार दो हजार नहीं बल्कि 33 हजार युवाओं को पुलिस में भर्ती करने की विज्ञप्ति जारी कर दी है।

उत्तर प्रदेश पुलिस में होगी 32679 सिपाहियों की भर्ती

उत्तर प्रदेश में पुलिस की भर्ती करने के लिए उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड स्थापित है। बुधवार 31 दिसंबर 2025 को उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड ने कांस्टेबल के पदों पर नई भर्ती का नोटिस जारी किया है। यूपी पुलिस में आरक्षी नागरिक पुलिस एवं समकक्ष पदों पर सीधी भर्ती- 2025 के अंतर्गत कुल 32679 पदों पर भर्ती के लिए नोटिस जारी हो चुका है। इच्छुक उम्मीदवार 30 जनवरी तक आवेदन कर सकते हैं। उत्तर प्रदेश के लाखों युवा इस भर्ती का इंतजार कर रहे थे, जोकि अब समाप्त हो चुका है। इच्छुक उम्मीदवार यूपीपीआरपीबी की आधिकारिक वेबसाइट uppbpb.gov.in पर जाकर आवेदन कर सकते हैं। आवेदन करने से पहले उम्मीदवारों को ओटीआर करना होगा, जोकि upprpb.in पोर्टल पर करना होगा।

उत्तर प्रदेश पुलिस में बड़ी भर्ती की घोषणा

उत्तर प्रदेश पुलिस में 32679 सिपाहियों की भर्ती की यह घोषणा बडी भर्ती की घोषणा है। इस भर्ती अभियान के तहत आरक्षी नागरिक पुलिस, रक्षी पीएसीसी/सशस्त्र पुलिस, रक्षी विशेष सुरक्षा बल, महिला बटालियन और जेल वार्डर के कुल 32,679 पदों को भरा जाएगा। रिक्तियों का विवरण इस प्रकार है:

 

उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती के लिए जरूरी विवरण यहां पढ़ें

विवरण प्रारंभ तिथि अंतिम तिथि

ऑनलाइन आवेदन करने की तिथि 31-12-2025 30-01-2026

आवेदन शुल्क जमा करने की तिथि 31-12-2025 30-01-2026

जमा किए गए शुल्क के समायोजन की तिथि 31-12-2025 02-02-2026

आवेदन शुल्क

  1. इस भर्ती प्रक्रिया के लिए आवेदन शुल्क इस प्रकार है:
  2. सामान्य/ईडब्लूएस/अन्य पिछड़ा वर्ग - 500 रुपये
  3. अनुसूचित जाति/अनुसूचित जन जाति - 400 रुपये

उत्तर प्रदेश पुलिस की भर्ती के लिए योग्यता

उत्तर प्रदेश पुलिस में भर्ती के लिए आवेदन करने के लिए आवेदक का किसी भी बोर्ड से 12वीं कक्षा की परीक्षा पास होना अनिवार्य है। आवेदन करते समय अभ्यर्थी के पास आवश्यक शैक्षिक योग्यता होनी चाहिए। इसके साथ ही अ​तिरिक्त योग्यता यानि कि अधमानी भी हो सकती है। अधिमानी योग्यता में 

  1. DOEACC/NIELIT संस्था से कंप्यूटर में "O" लेवल या उससे उच्च स्तर का प्रमाण-पत्र
  2. प्रादेशिक सेना में कम से कम दो वर्ष की सेवा
  3. NCC का "B" प्रमाण-पत्र

अधिमानी योग्यता का मतलब अतिरिक्त योग्यता से है, जिसके आधार पर कुछ अभ्यर्थियों को समान अंक होने की स्थिति में प्राथमिकता दी जाती है। इसमें कोई अतिरिक्त अंक नहीं दिए जाएंगे, बल्कि बराबर अंक प्राप्त करने वाले उम्मीदवारों में चयन के समय प्राथमिकता तय की जाएगी।

उत्तर प्रदेश पुलिस की भर्ती के लिए आयु सीमा

उत्तर प्रदेश पुलिस में भर्ती के लिए पुरुष अभ्यर्थियों के लिए यह आवश्यक है कि उन्होंने 1 जुलाई 2025 तक न्यूनतम 18 वर्ष की आयु पूरी कर ली हो और अधिकतम 22 वर्ष की आयु से अधिक न हो। इसका अर्थ है कि अभ्यर्थी का जन्म 2 जुलाई 2003 से पहले और 1 जुलाई 2007 के बाद नहीं होना चाहिए। महिला अभ्यर्थियों के लिए न्यूनतम आयु 18 वर्ष और अधिकतम आयु 25 वर्ष निर्धारित की गई है। यानी महिला अभ्यर्थी का जन्म 2 जुलाई 2000 से पहले और 1 जुलाई 2007 के बाद नहीं होना चाहिए। आरक्षित वर्गों, स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों और अन्य विशेष श्रेणियों के अभ्यर्थियों को शासन द्वारा निर्धारित नियमों के अनुसार आयु सीमा में छूट दी जाएगी। UP News

संबंधित खबरें

अगली खबर पढ़ें

उत्तर प्रदेश में मरीजों की दलाली, स्वास्थ्य व्यवस्था पर उठे गंभीर सवाल

सोशल मीडिया पर वायरल हुई बातचीत के स्क्रीनशॉट में दावा किया गया है कि कॉलेज से जुड़े लोग दलालों को वेंटिलेटर पर भर्ती मरीज लाने के बदले 50 हजार रुपये और आॅक्सीजन सपोर्ट वाले मरीज पर 35 हजार रुपये देने का प्रस्ताव दे रहे थे।

medical
स्वास्थ्य विभाग में जांच
locationभारत
userयोगेन्द्र नाथ झा
calendar31 Dec 2025 05:32 PM
bookmark

UP News : उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से स्वास्थ्य व्यवस्था को झकझोर देने वाला मामला सामने आया है। गोमतीनगर विस्तार क्षेत्र स्थित एक निजी आयुर्वेद मेडिकल कॉलेज पर आरोप लगा है कि वहां गंभीर मरीजों को सौदे की तरह देखा जा रहा है। सोशल मीडिया पर वायरल हुई बातचीत के स्क्रीनशॉट में दावा किया गया है कि कॉलेज से जुड़े लोग दलालों को वेंटिलेटर पर भर्ती मरीज लाने के बदले 50 हजार रुपये और आॅक्सीजन सपोर्ट वाले मरीज पर 35 हजार रुपये देने का प्रस्ताव दे रहे थे।

केजीएमयू ट्रॉमा सेंटर के आसपास सक्रिय है एजेंटों का नेटवर्क

सूत्रों के अनुसार, केजीएमयू ट्रॉमा सेंटर में निजी अस्पतालों और कॉलेजों से जुड़े एजेंटों का एक संगठित गिरोह सक्रिय है। ये लोग उन मरीजों और उनके परिजनों को निशाना बनाते हैं जिन्हें सरकारी अस्पताल में समय पर बेड नहीं मिल पाता। मजबूरी की स्थिति में फंसे परिजनों को बेहतर इलाज का झांसा देकर निजी संस्थानों में भर्ती कराया जाता है, जहां एजेंटों को मोटा कमीशन मिलता है।

शिकायत के बाद हरकत में आया स्वास्थ्य विभाग

इस पूरे मामले को लेकर सूरज कश्यप नामक व्यक्ति ने मुख्यमंत्री पोर्टल पर औपचारिक शिकायत दर्ज कराई है। साथ ही उपमुख्यमंत्री को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से इसकी जानकारी दी गई। मामला सामने आने के बाद मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) ने जांच के आदेश जारी किए हैं। नर्सिंग होम के नोडल अधिकारी डॉ. ए.पी. सिंह ने बताया कि वायरल चैट की सत्यता की जांच की जा रही है। यदि आरोप प्रमाणित होते हैं, तो संबंधित कॉलेज के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई के लिए पुलिस को पत्र भेजा जाएगा।

एजेंटों पर कड़ी कार्रवाई की चेतावनी

डॉ. एन.बी. सिंह ने स्पष्ट किया कि यदि मरीजों की खरीद-फरोख्त से जुड़े आरोप सही पाए गए, तो न केवल निजी संस्थान पर कार्रवाई की संस्तुति होगी, बल्कि इस पूरे नेटवर्क में शामिल एजेंटों पर शिकंजा कसने के लिए पुलिस को औपचारिक रूप से लिखा जाएगा। 

विवादों में घिरे आयुर्वेद मेडिकल कॉलेज की ओर से सफाई देते हुए प्रबंधन ने सभी आरोपों को खारिज किया है। कॉलेज के मैनेजर इंद्रजीत पाल का कहना है कि जिस व्यक्ति की चैट वायरल हो रही है, वह उनके संस्थान का कर्मचारी नहीं है। उन्होंने दावा किया कि कॉलेज में मरीजों की किसी भी प्रकार की खरीद-फरोख्त नहीं होती और लगाए गए आरोप पूरी तरह बेबुनियाद हैं।

संबंधित खबरें