World Thalassemia Day : हर साल 8 मई को विश्व थैलेसीमिया दिवस के रूप में मनाया जाता है। थैलेसीमिया असल में एक प्रकार का रक्त विकार है जो कि बच्चों में होता है। ये आनुवांशिक होता है यानी बच्चे इसे अपने माता- पिता से प्राप्त करते हैं। जब बच्चे का जन्म होता है, उसके कुछ महीने के बाद ही इस बीमारी के लक्षण बच्चे के अंदर नज़र आने लगते हैं। इसमें बच्चे की शरीर की जो रेड ब्लड सेल्स होती हैं वो तेज़ी से कम होने लगती हैं।
आमतौर पर रेड ब्लड सेल्स का जो जीवनकाल होता है वो 120 दिन का होता है लेकिन जिन्हें थैलेसीमिया रोग होता है, उनमें इनका जीवनकाल महज़ 20 दिन का होता है। ऐसे में थैलेसीमिया के मरीज़ को बाहर से ब्लड उपलब्ध करवाना पड़ता है और 20 से 25 दिन में उन्हें बाहरी ब्लड की ज़रूरत होने लगती है। ये बहुत ही खतरनाक बीमारी है। यही कारण है कि हर साल लोगों को इसके प्रति जागरूक करने के लिए 8 मई को थैलेसीमिया दिवस मनाया जाता है।
वर्ल्ड थैलेसीमिया दिवस (World Thalassemia Day) का इतिहास-
पहली बार विश्व में थैलेसीमिया दिवस वर्ष 1994 में मनाया गया था। इस दिन की शुरुआत थैलेसीमिया इंटरनेशनल फेडरेशन के अध्यक्ष और संस्थापक जॉर्ज एंगेल्सॉस के द्वारा की गई थी। इसकी शुरुआत इस रोग से पीड़ित सभी रोगियों और उनके माता- पिता को सम्मानित करने के रूप में की गई थी। इस दिन को मनाने का जो मुख्य उद्देश्य था, वो इस बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक करने का था।
World Thalassemia Day 2023 Theme: वर्ल्ड थैलेसीमिया दिवस 2023 थीम-
हर साल इस दिन की एक थीम निर्धारित की जाती है ताकि लोगों तक एक संदेश पहुंचाया जा सके। इस वर्ष 2023 थैलेसीमिया दिवस की थीम ‘जागरूक रहें, साझा करें, देखभाल करें’ निर्धारित की गई है।