Exclusive : नोएडा/नई दिल्ली। चेतना मंच की एक और मुहिम सार्थक हो गई है। ‘सारी नैतिकता को ताक पर रखकर किए जा रहे मां के दूध के व्यापार’ को भारत सरकार ने बंद करा दिया है। चेतना मंच द्वारा प्रकाशित व चैनल पर प्रसारित खबरों का संज्ञान लेते हुए सरकार ने अनैतिक कारोबार करने वाली कंपनी का लाइसेंस रद्द कर दिया है।
Exclusive: नियोलैक्टा कंपनी का लाइसेंस रद्द करने की मांग, मां के दूध का अवैध व्यापार करती है कंपनी
Exclusive :
पाठकों को याद ही होगा कि चेतना मंच ने अपने यूट्यूब चैनल पर प्रसारित होने वाले ‘मंथन’ कार्यक्रम के 8 जुलाई-2022 के एपिसोड में बैंगलुरू की एक कंपनी ‘नियोलैक्टा लाइफ साइंसेज प्रा. लि.’ द्वारा घटियापन की हद पार करते हुए मां के दूध का व्यापार करने का खुलासा किया था। साथ ही चेतना मंच अखबार के 27 जुलाई 2022 के अंक में इस समाचार को प्रमुखता से प्रकाशित किया गया था। इस समाचार में ‘ब्रेस्ट फीडिंग नेटवर्क ऑफ इंडिया’ नामक प्रतिष्ठित सामाजिक संगठन के अध्यक्ष डा. अरुण गुप्ता के द्वारा भारत सरकार को इस संबंध में लिखे गए पत्र को भी उद्धृत (कोट) किया गया था। लगातार समाचार प्रकाशित होने के बावजूद बेहद घटिया ढंग से व्यापार कर रही इस कंपनी के विरूद्ध कोई कार्रवाई नहीं हुई। तब चेतना मंच ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को एक विस्तृत पत्र लिखकर इस घिनौने कारोबार को बंद कराने की मांग की थी। एक अगस्त 2022 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को लिखे गए पत्र संख्या सीएम/08/2022 में चेतना मंच ने तमाम तथ्यों को उजागर किया है। चेतना मंच की इस मुहिम का सार्थक नतीजा सामने आया है।
Exclusive :
भारत सरकार के आयुष मंत्रालय ने चेतना मंच को पत्र भेजकर सूचित किया है कि मां के दूध का अवैध व्यापार करने वाली कंपनी नियोलैक्टा लाइफ सांइसेज को नारी क्षीर बेचने वाला लाइसेंस रद्द कर दिया गया है। इस समाचार में आप भारत सरकार के आयुष मंत्रालय के अवर सचिव मदन लाल मीणा का चेतना मंच को भेजा गया पूरा पत्र (छाया पत्र) साफ-साफ पढ़ सकते हैं। पाठकों के प्यार, पत्रकारिता के प्रति ईमानदार समर्पण व समाज के सतत सहयोग से देश में चलने वाले बेहद घटिया कारोबार का लाइसेंस रद्द होना वाकई भारतीय समाज के लिए एक बड़ी खुशखबरी है।