Wednesday, 1 May 2024

Assembly Speaker Narvekar’s decision, शिंदे गुट के 16 विधायकों की मान्यता को सही ठहराया

Assembly Speaker Narvekar’s decision: उद्धव ठाकरे गुट को महाराष्ट्र के विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर ने तगड़ा झटका दिया है। विधानसभा…

Assembly Speaker Narvekar’s decision, शिंदे गुट के 16 विधायकों की मान्यता को सही ठहराया

Assembly Speaker Narvekar’s decision: उद्धव ठाकरे गुट को महाराष्ट्र के विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर ने तगड़ा झटका दिया है। विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर ने शिवसेना के शिंदे गुट के 16 विधायकों की अयोग्यता पर आज अपना फैसला सुना दिया। उन्होंने इस विधायकों की सदस्यता को सही बताया और उनकी मान्यता को बरकरार रखा।

उनके इस फैसले के बाद राज्य की शिंदे सरकार पर मंडरा रहे संकट के बादल छंट गए हैं और वो सुरक्षित नजर आ रही है। विधानसभा अध्यक्ष के इस फैसले के खिलाफ उद्धव गुट ने तय किया है कि वो सुप्रीम कोर्ट का रुख करेगा।

क्या कहा अपने फैसले में विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर ने?

राहुल नार्वेकर ने 1215 पन्नों के फैसले के चुनिंदा अंश पढ़कर सुनाए। उन्होंने वे बातें बताईं जिनके आधार पर यह फैसला लिया गया है। अपने फैसले में महाराष्ट्र विधानसभा के अध्यक्ष नार्वेकर ने कहा, “याचिकाकर्ता (उद्धव गुट) के इस तर्क को स्वीकार नहीं कर सकते कि 2018 के पार्टी संविधान पर निर्भर किया जाना चाहिए। क्योंकि चुनाव आयोग द्वारा प्रदत्त शिव सेना का संविधान वास्तविक संविधान है, जिसे शिवसेना का संविधान कहा जाएगा। ऐसे में शिवसेना के 2018 के संविधान पर विचार करने की उद्धव ठाकरे गुट की दलील स्वीकार नहीं की जा सकती।”

Assembly Speaker Narvekar’s decision

विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर ने कहा है कि, “जून 2018 को हुई राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक के प्रस्तावों पर विचार नहीं किया जा सकता, क्योंकि इस बैठक में मौजूद सांसद राहुल शेवाले, सांसद विनायक राऊत और अरविंद सावंत राष्ट्रीय कार्यकारिणी के सदस्य नहीं हैं। अतः यह साफ है कि वर्ष 2018 में पार्टी प्रमुख के रूप में उद्धव ठाकरे का चुना जाना पार्टी संविधान के अनुरूप नहीं है।”

Assembly Speaker Narvekar’s decision: आगे राहुल नार्वेकर ने कहा “उद्धव ठाकरे गुट की ओर से चुनाव आयोग को सौंपे गए दावे में भी विसंगति है, क्योंकि ‘एक तरफ कहते हैं कि पार्टी की बैठक सेना भवन में हुई, दूसरी तरफ वो कहते हैं कि बैठक ऑनलाइन हुई, इसलिए उनके दस्तावेज भ्रमित करने वाले हैं’।”

एकनाथ शिंदे ने की थी उद्धव ठाकरे से बगावत

महाराष्ट्र में करीब डेढ़ साल पहले जून 2022 में शिवसेना में बगावत हुई थी, जब एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में शिव सेना के एक गुट ने अलग होकर असली शिव सेना होने का दावा किया था। शिंदे ने उद्धव पर बाला साहेब के सिद्धांतों से समझौता करने के आरोप लगाते हुए बीजेपी से हाथ मिलाकर सरकार बनाई थी। जिसके बाद शिवसेना के उद्धव गुट ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे सहित उनके गुट के 16 बागी विधायकों को अयोग्य ठहराने के लिए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था।

Assembly Speaker Narvekar’s decision

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