Wednesday, 19 March 2025

नोएडा में रोका जाएगा जमीन का फर्जीवाड़ा, टीएम के नियम बदले

Noida News : नोएडा प्राधिकरण ने शहर में जमीन का फर्जीवाड़ा रोकने का अभियान शुरू कर दिया है। जमीन का…

नोएडा में रोका जाएगा जमीन का फर्जीवाड़ा, टीएम के नियम बदले

Noida News : नोएडा प्राधिकरण ने शहर में जमीन का फर्जीवाड़ा रोकने का अभियान शुरू कर दिया है। जमीन का फर्जीवाड़ा रोकने के लिए नोएडा प्राधिकरण अनेक कदम उठा रहा है। सबसे बड़ा बदलाव नोएडा प्राधिकरण (Noida Authority) से आवंटित प्रोपर्टी का ट्रांसफर करने के लिए अपनाई जाने वाली ट्रांसफर ऑफ मैमोरेंडम (TM) की प्रक्रिया को बदलना है। टीएम की प्रक्रिया को बदलकर फुलप्रूफ बनाने की दिशा में नोएडा प्राधिकरण आगे बढ़ रहा है।

क्या है नोएडा प्राधिकरण की टीएम की प्रक्रिया?

आपको बता दें कि नोएडा प्राधिकरण में काफी पुरानी टीएम प्रक्रिया चल रही है। नोएडा प्राधिकरण से किसी व्यक्ति अथवा कंपनी को आवंटित भूखंड को बेचने के लिए टीएम की प्रक्रिया अपनाई जाती है। नोएडा प्राधिकरण से आवंटित किसी भी प्रोपर्टी को बेचने के लिए प्राधिकरण से अनुमति लेना आवश्यक है। इस अनुमति लेने की प्रक्रिया को ट्रांसफर ऑफ मैमोरेंडम यानि टीएम कहा जाता है। इस प्रक्रिया में आवंटित जमीन का मालिक नोएडा प्राधिकरण में आवेदन करता है। उस आवेदन की जांच करके नोएडा प्राधिकरण के अधिकारी टीएम जारी कर देते हैं। टीएम की इस प्रक्रिया में मौजूद खामी का लाभ उठाकर अनेक ठग जमीन का फर्जीवाड़ा कर लेते हैं। नोएडा की जमीन का फर्जीवाड़ा यहां तक भी होता है कि किसी मरे हुए व्यक्ति की प्रोपर्टी को भी बेच दिया जाता है। इस फर्जीवाड़े से बचने के लिए नोएडा प्राधिकरण ने टीएम की प्रक्रिया में बदलाव करने का फैसला किया है।

टीएम की प्रक्रिया में नए बदलाव कर रहा है नोएडा प्राधिकरण

नोएडा प्राधिकरण के अधिकारियों ने बताया कि, भविष्य में टीएम जारी करने से पहले यह जांच की जाएगी कि प्रोपर्टी के आवंटन के समय दिया गया आवंटी का फोन नंबर सही है अथवा नहीं। नोएडा प्राधिकरण से आवंटित की गई जमीन के आवंटन के समय दर्ज कराए गए फोन नंबर पर फोन करके अथवा ओटीपी भेजकर आवंटी के असली तथा नकली होने का पता लगाया जाएगा। इसी कड़ी में एक ऐसा सॉफ्टवेयर भी तैयार किया जाएगा जिसके द्वारा नोएडा प्राधिकरण के असली आवंटी के पास एसएमएस (SMS) भेजकर टीएम वाले आवेदन की जांच की जाएगी। इसी प्रकार के कुछ दूसरे बदलाव भी करने की योजना नोएडा प्राधिकरण ने बनाई है।

मरने के बाद बेच दी अधिकारी की करोड़ों की जमीन

हाल ही में नोएडा में जमीन के फर्जीवाड़े का एक बड़ा मामला सामने आया है। इस मामले में नोएडा शहर में रहने वाले एक रिटायर्ड अधिकारी की करोड़ों रुपये की प्रोपर्टी फर्जी टीएम के द्वारा बेच दी गई। इस मामले में नोएडा के सेवानिवृत्त प्रशासनिक अधिकारी की मौत के बाद जालसाजों ने सेक्टर-40 के डी ब्लॉक स्थित उनके 450 वर्गमीटर के प्लॉट को करीब 6.50 करोड़ रुपये में बेच दिया। यही नहीं, नोएडा प्राधिकरण से ट्रांसफर मैमोरेंडम (टीएम) भी करवा लिया। बेटी ने सेक्टर-39 थाना पुलिस और प्राधिकरण में शिकायत दी है। प्राधिकरण में टीएम को लेकर जांच शुरू हो गई है। प्लॉट खरीदने वाला मौके पर बने घर में रहना शुरू कर दिया है। उसने कोर्ट से कब्जे को न हटाने की मांग की है।

जानकारी के मुताबिक, सेक्टर-39 थाना पुलिस इस फर्जीवाड़े में चार आरोपियों को गिरफ्तार कर चुकी है। जालसाजों ने आठ साल पहले मर चुके प्लॉट आवंटी का फर्जी आधार कार्ड बनवाया। दिल्ली से एक टेलर को लाकर प्लॉट का मालिक बनाया, फिर एक ब्रोकर के नाम एग्रीमेंट किया। इसके बाद यह भूखंड दिल्ली निवासी एक व्यक्ति को बेच दिया गया। इस पूरे फर्जीवाड़े को प्रमाणिक करने की शुरुआत नोएडा प्राधिकरण के आवासीय भूखंड विभाग से हुई। यहां भूखंड की एनओसी फर्जी दस्तावेजों से किए गए आवेदन के आधार पर दी गई। ऐसे में आशंका है कि इस मामले में प्राधिकरण के आवासीय भूखंड के कर्मचारियों की भी मिलीभगत होगी।

नोएडा प्राधिकरण के एसीईओ सतीश पाल ने बताया कि पता लगवाया जा रहा है कि फर्जी दस्तावेज से संपत्ति का ट्रांसफर ऑफ मैमोरेंडम कैसे कर दिया गया। अभी तक जांच में सामने आया है कि सिर्फ प्राधिकरण में ही फर्जी दस्तावेज जमा नहीं किए गए, बल्कि संपत्ति ट्रांसफर के लिए जरूरी बैंक में हस्ताक्षर का सत्यापन भी कराया गया था। इसके लिए जालसाज बैंक भी गया होगा। Noida News

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