Friday, 3 May 2024

Srilanka News: मालदीव भागे गोटबाया, जंग के मैदान में तब्दील कोलंबो की सड़कें

    Colombo: कोलंबो। आर्थिक रूप से दिवालिया हो चुके श्रीलंका में राष्ट्रपति के मालदीव भागने की खबर जंगल में…

Srilanka News: मालदीव भागे गोटबाया, जंग के मैदान में तब्दील कोलंबो की सड़कें

 

 

Colombo: कोलंबो। आर्थिक रूप से दिवालिया हो चुके श्रीलंका में राष्ट्रपति के मालदीव भागने की खबर जंगल में आग की तरह फैल गई। इससे गुस्साए लोगों का गुस्सा भड़क गया। राजधानी कोलंबो की सड़कें जंग के मैदान में तब्दील हो गईं। प्रदर्शनकारी जमकर उत्पात कर रहे हैं। उग्र विरोध प्रदर्शन को देखते हुए प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे ने एक बार फिर आपातकाल का ऐलान कर दिया है। इस बीच, राष्ट्रपति राजपक्षे ने विरोध के 139 दिन बाद अपना इस्तीफा दे दिया है।

रिपोर्ट के मुताबिक हजारों लोग संसद भवन की तरफ मार्च कर रह रहे हैं। कई जगहों पर पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच हिंसक झड़पें हुईं। कई जगह पुलिस को बल प्रयोग करना पड़ा है। इस बीच, दो गुटों के आपसी टकराव में 12 लोग घायल हो गए। दूसरी ओर, सेना अपने नागरिकों के सामने हथियार नीचे कर दिए हैं।

श्रीलंकाई एयरफोर्स मीडिया डायरेक्टर ने कहा कि राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे, फर्स्ट लेडी और दो बॉडीगार्ड्स को मालदीव जाने के लिए रक्षा मंत्रालय से इमीग्रेशन, कस्टम और बाकी कानूनों को लेकर पूरी अनुमति दी गई थी। 13 जुलाई की सुबह उन्हें एयरफोर्स का एक एयरक्राफ्ट उपलब्ध कराया गया था।

गोटाबाया बीती आठ जुलाई के बाद से कोलंबो में नहीं दिख रहे थे। वे 12 जुलाई को नौसेना के जहाज से भागने की फिराक में थे, लेकिन पोर्ट पर इमिग्रेशन अधिकारियों ने पासपोर्ट पर सील लगाने के लिए वीआईपी सुईट में जाने से इनकार कर दिया था। राजपक्षे ने जोर दिया था कि देशभर में चल रहे विरोध की वजह से दूसरी सार्वजनिक सुविधाओं का इस्तेमाल नहीं कर सकते हैं, लेकिन अफसर नहीं माने थे।

एक रिपोर्ट में कहा गया है कि गोटबाया राजपक्षे ने इस्तीफा देने से पहले शर्त रखी थी कि उन्हें देश से बाहर जाने दिया जाए। इसके कुछ घंटे बाद ही उनके देश छोड़ने की खबरें सामने आई। ऐसे में अब सवाल उठता है कि गोटबाया भागे या भगाए गए। राजपक्षे ने 12 जुलाई को अपने इस्तीफे पर हस्ताक्षर कर सीनियर अधिकारी को सौंप दिया था। यह लेटर 13 जुलाई को संसद स्पीकर महिंदा यापा अभयवर्धने को सौंपा जाना था। बताया जाता है कि गोटबाया राजपक्षे श्रीलंका छोड़कर अमेरिका भागना चाहते थे, लेकिन अमेरिका ने उन्हें वीजा नहीं दिया। राजपक्षे के पास श्रीलंका और अमेरिका की दोहरी नागरिकता थी, लेकिन 2019 में राष्ट्रपति चुनाव से पहले उन्होंने अपनी अमेरिका की नागरिकता छोड़ दी थी। दरअसल, श्रीलंका के संविधान में सिंगल सिटीजनशिप का प्रवाधान है। ऐसे में उन्हें राष्ट्रपति चुनाव लड़ने के लिए सिर्फ श्रीलंका का नागरिक होना जरूरी था।

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