Lok Sabha Election 2024 : लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस पार्टी अपना कुनबा बढ़ाने में कामयाब हो रही है। कांग्रेस ने दो दिन में दो जाट सांसदों को अपने खेमे में जोड़ा है। रविवार को हरियाणा के जाट समाज से आने वाले भाजपा के सांसद को कांग्रेस पार्टी में शामिल किया गया था। सोमवार को राजस्थान प्रदेश के भाजपा सांसद को कांग्रेस में शामिल किया गया है। सोमवार को कांग्रेस में शामिल होने वाला सांसद भी जाट नेता है। कांग्रेस लगातार जाट सांसदों को अपने साथ जोड़ रही है। यह महज एक इत्तेफाक है या कोई प्रयोग इस विषय पर विश्लेषक अपना-अपना विश्लेषण कर रहे हैं।
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जाट समाज से आने वाला सांसद अब कांग्रेस में
राजस्थान प्रदेश की चूरू लोकसभा सीट से सांसद राहुल कस्वां ने बीजेपी का साथ छोड़ दिया है। भाजपा की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देने के बाद उन्होंने दिल्ली में कांग्रेस का ‘हाथ’ थाम लिया। राहुल कस्वां 2 बार बीजेपी सांसद रहे हैं और उनके पिता रामसिंह कस्वां 3 बार बीजेपी सांसद रहे थे। राहुल कस्वां जाट समाज से आते हैं। दरअसल, भारतीय जनता पार्टी ने हाल ही में लोकसभा चुनाव के लिए अपनी पहली लिस्ट जारी की थी, इसमें कुछ मौजूदा सांसदों के टिकट काट दिए गए। जिन सांसदों के टिकट कटे, उनमें से अधिकांश ने पार्टी के फैसले को स्वीकार कर लिया, लेकिन राहुल कस्वां ने टिकट कटने पर बगावती तेवर अपना लिए।
राजस्थान के बड़े जाट नेता तथा चुरू के सांसद के कांग्रेस में शामिल होने पर पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खडग़े ने कहा कि कांग्रेस में शामिल होने पर मैं राहुल कस्वां जी का हार्दिक अभिनंदन करता हूं। मुझे खुशी है कि सामंतवादी लोगों के खिलाफ लडऩे वाले राहुल कस्वां जी ने कांग्रेस पार्टी ज्वाइन की है। अगर ऐसी विचारधारा के लोग कांग्रेस पार्टी से जुड़ते गए तो बीजेपी कहीं की नहीं रहेगी।
रविवार को हरियाणा के जाट नेता ने छोड़ी थी भाजपा
आपको बता दे की एक दिन पहले ही हरियाणा के बड़े जाट नेता के रूप में विख्यात चौधरी वीरेंद्र सिंह के पुत्र बृजेंद्र सिंह ने भाजपा छोड़कर कांग्रेस का थाम लिया था इस खबर को हम आपको पहले ही बता चुके हैं हमने बताया था कि हिसार लोकसभा सीट से भाजपा सांसद बृजेन्द्र सिंह ने भाजपा छोड़ दी है। भाजपा से त्यागपत्र की घोषणा सांसद बृजेन्द्र सिंह ने खुद अपने सोशल मीडिया पर पोस्ट करके दी है। भाजपा से इस्तीफा देेते समय सांसद बृजेन्द्र सिंह ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह तथा भाजपा अध्यक्ष जेपी नडडा को धन्यवाद भी कहा है। बृजेन्द्र सिंह के त्याग-पत्र को राजनीतिक विश्लेषक कांग्रेस पार्टी का बड़ा खेला बता रहे हैं। सबको पता है कि पूर्व केन्द्रीय मंत्री वीरेन्द्र सिंह बड़े जाट नेता माने जाते हैं। एक समय था जब चौधरी वीरेन्द्र सिंह हरियाणा की राजनीति के केन्द्र में रहा करते थे। वीरेन्द्र सिंह लम्बे अर्से तक कांग्रेस के नेता रहे उनका पूरा परिवार खासतौर से बृजेन्द्र सिंह भी मूलरूप से कांग्रेसी ही रहे हैं। यह अलग बात है कि सांसद बृजेंद्र सिंह राजनीति के मैदान में उतरने से पहले एक आईएएस अधिकारी के तौर पर काम कर रहे थे। वर्ष 2019 के लोकसभा के चुनाव में भाजपा ने बृजेंद्र सिंह को सरकारी नौकरी से त्यागपत्र दिलवाकर लोकसभा का चुनाव लड़ाया था। lok sabha election 2024
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