Saturday, 30 November 2024

पंचक के साथ आरंभ हो रही माघ गुप्त नवरात्रि, जानें घटस्थापना मुहूर्त काल समय

Magh Gupt Navratri 2024: इस वर्ष माघ माह में आने वाले गुप्त नवरात्रि का आरंभ पंचक के साथ होने वाला…

पंचक के साथ आरंभ हो रही माघ गुप्त नवरात्रि, जानें घटस्थापना मुहूर्त काल समय

Magh Gupt Navratri 2024: इस वर्ष माघ माह में आने वाले गुप्त नवरात्रि का आरंभ पंचक के साथ होने वाला है। पंचक और नवरात्रि का योग विशेष माना गया है। साधना हेतु यह समय अनुकूल होता है. इस बार 10 फरवरी 2024 को शनिवार के दिन से गुप्त नवरात्रि का आरंभ होगा. माघ माह की इस नवरात्रि के दिन ही पंचक भी आरंभ हो रहे हैं. ऎसे में इस समय पर की जाने वाली माता की पूजा अकाल मृत्यु के भय की समाप्ति का संकेत बनती है.

माघ गुप्त नवरात्रि घट स्थापना मुहूर्त 2024  

माघ घटस्थापना के लिए 10 फरवरी 2024 का समय होगा. इस दिन शनिवार को प्रात:काल समय घट स्थापना की जाएगी. घटस्थापना मुहूर्त के लिए सुबह 08:45 से 10:10 तक का समय अत्यंत ही शुभ रहने वाला है. इसके अलावा घट स्थापना के लिए अभिजित मुहूर्त का उपयोग भी बहुत शुभ माना गया है. 10 फरवरी 2024 को शनिवार के दिन अभिजित मुहूर्त का समय 12:13 से आरंभ होकर 12:58 तक व्याप्त रहने वाला होगा.

घटस्थापना मुहूर्त को प्रतिपदा तिथि के दौरान किया जाने का विधान रहा है. माघ गुप्त नवरात्रि के लिए प्रतिपदा तिथि प्रारम्भ 10 फरवरी 2024 को प्रात:काल 04:28 पर होगा और माघ गुप्त नवरात्रि के लिए प्रतिपदा तिथि की समाप्ति का समय 11 फरवरी, 2024 को 12:47 पर होगा. घटस्थापना मुहूर्त के लिए द्वि-स्वभाव लग्न बहुत शुभ होता है अत: इस के लिए मीन लग्न के दौरान घट स्थापना का समय रहने वाला है. 10 फरवरी के दिन मीन लग्न का प्रारम्भ 08:45 से होगा और मीन लग्न की समाप्ति 10 फरवरी 2024 को 10:10 पर होगी.

Magh Gupt Navratri 2024

माघ गुप्त नवरात्रि में पंचक काल महत्व 

गुप्त नवरात्रि का समय देवी के नव रुपों के पूजन के साथ दस महाविद्याओं के पूजन के लिए विशेष होता है.

हर साल चार नवरात्रि मनाते हैं जिसमें से दो नवरात्रि गुप्त नवरात्रि होते हैं. 

गुप्त नवरात्रि व्रत का विशेष महत्व है. इस बार पंचक काल में इस का आरंभ भक्ति को प्रदान करने के साथ साथ किसी भी प्रकार के कष्ट से मुक्ति प्रदान करने वाला रहेगा. ज्योतिष शास्त्र अनुसार कहा गया है कि चंद्र के गोचर का नक्षत्रों से संबंध पंचक को निर्मित करता है. ऎसे में यह तब घटित होता है जब चंद्रमा कुछ विशेष नक्षत्रों में भ्रमण करता है जिसमें से धनिष्ठा नक्षत्र के तीसरे चरण,  शतभिषा नक्षत्र, पूर्वाभाद्रपद नक्षत्र, उत्तरा भाद्रपद नक्षत्र के साथ रेवती नक्षत्र में चंद्रमा का प्रभाव ही पंचक का समय बन जाता है.

इस वर्ष Magh Gupt Navratri 2024 में आने वाले पंचक का समय इस दिन की साधना पद्धिति के लिए विशेष रहेगा ।
आचार्या राजरानी

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